हजारीबाग मेडिकल कॉलेज की छात्रा पूजा भारती पूर्वे के घरवालों ने पुलिस द्वारा कही गई आत्महत्या की बात मानने से साफ़ इनकार कर दिया है। सिर्फ पूजा के परिजन ही नहीं बल्कि अन्य लोग भी पुलिस के दावे को मानने को तैयार नहीं हैं कि आखिर अपने हाथ-पैर बाँधने के बाद आत्महत्या के लिए कोई डैम से कैसे छलाँग लगाएगा?
पूजा भारती की लाश जनवरी 12, 2021 को झारखंड के रामगढ़ स्थित पतरातू डैम में तैरती हुई मिली थी। गोड्डा की रहने वाली पूजा भारती कुछ दिनों पहले ही फर्स्ट सेमेस्टर की परीक्षा देने घर से कॉलेज आई थी और उसके हाथ-पाँव बंधे हुए थे।
हाल ही में इस हत्या के मामले में झारखंड पुलिस ने दावा किया था कि अब तक की जाँच में सामने आया है कि पूजा ने आत्महत्या की थी। प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान पुलिस ने छात्रा के बैग और कमरे से मिले कागजातों के आधार पर दावा किया कि वो काफी अवसाद में थी। हालाँकि, पुलिस ने कहा कि अभी ठोस नतीजों पर पहुँचना बाकी है, क्योंकि कई बिंदुओं पर जाँच अभी भी जारी है।
पुलिस के अनुसार, छात्रा के शरीर पर चोट के कोई निशान नहीं मिले हैं और छात्रा ने खुद ही अलग-अलग रस्सियों का इस्तेमाल कर के अपने हाथ-पाँव बाँध लिए होंगे, इसीलिए उसके लाश के हाथ-पाँव बँधे हुए मिले।
रिपोर्ट के अनुसार, मृतका के पिता अवध बिहारी पूर्वे ने कहा, “अगर पुलिस का मानना है कि वह अपने हाथों और पैरों को बाँधने के बाद खुद डूब गई थी, तो पुलिस ने पहले यह दावा क्यों किया कि वे इस ‘मर्डर मिस्ट्री’ को सुलझाने के बेहद करीब हैं?”
मृतका पूजा के पिता ने पुलिस पर ‘अनप्रोफेशनल’ होने का आरोप लगाया और मामले की सीबीआई जाँच की माँग की है। पूजा के चचेरे भाई विद्यानंद पूर्वे ने कहा, “पुलिस का दावा कि मृतका तनाव में थी, हास्यास्पद है। मौत से कुछ घंटे पहले ही अपनी माँ से बात करते समय वो बेहद अच्छे मूड में थीं।” इस बीच, विभिन्न सामाजिक और राजनीतिक संगठनों ने सोमवार को गोड्डा में विरोध प्रदर्शन करने की घोषणा की है और मौत की सीबीआई जाँच की माँग की है।
गौरतलब है कि परीक्षा देने के लिए घर से बाहर निकली झारखण्ड के हजारीबाग मेडिकल कॉलेज की छात्रा पूजा भारती (Puja Bharti) कुछ दिन से लापता थी और बाद में उसकी लाश पतरातू डैम (Patratu Dam) से मंगलवार (जनवरी 12, 2021) सुबह बरामद हुई। 22 साल की पूजा भारती गोड्डा की रहने वाली थी।