पश्चिम बंगाल में सत्ताधारी पार्टी के नेता की हत्या का बदला लेने के लिए TMC समर्थकों ने रामपुरहाट के घरों में आग लगाकर 8 लोगों को जिंदा जला दिया। सामने आए विजुअल्स बेहद परेशान करने वाले हैं जिसमें पुलिस घर के अंदर से मृतकों के कंकाल निकाल रही है। लोग इतना डरे हैं कि उन्होंने अपने घरों को छोड़कर दूसरी जगह जाना शुरू कर दिया है। स्थानीयों का कहना है कि वो भय से अपने घरों को छोड़ रहे हैं। पुलिस ने उन्हें किसी तरह की सुरक्षा नहीं दी। अगर दी होती तो ये सब नहीं होता।
WB | After the fire incident in Birbhum, local people leave their homes and move to other places
— ANI (@ANI) March 23, 2022
“We are leaving the houses, in view of security. My brother-in-law died in the incident. Had there been security by the Police, this incident wouldn’t have happened.” said a villager pic.twitter.com/SkyurCsqvT
जानकारी के मुताबिक, इस वीभत्स घटना के बाद सीआईडी ने मौके पर पहुँचकर अपनी जाँच शुरू कर दी है। इस बीच गृह मंत्रालय ने पूरी घटना पर जहाँ बंगाल सरकार से रिपोर्ट माँगी। वहीं राष्ट्रीय बाल अधिकार संरक्षण आयोग ने बंगाल के पुलिस अधीक्षक से केस में जाँच करने और 3 दिन के भीतर उन्हें रिपोर्ट तलब करने को कहा है। राज्य में हुई बर्रबरता को देखते हुए जगदीप धनखड़ ने भी सीएम ममता पर निशाना साधते हुए कहा है कि बंगाल हिंसा और जंगलराज के हवाले है।
राज्यपाल ने साधा CM ममता बनर्जी पर निशान
एक वीडियो ट्वीट करते हुए बंगाल राज्यपाल जगदीप धनखड़ ने कहा, “भयानक हिंसा और आगजनी की घटना से संकेत मिलता है कि राज्य हिंसा की संस्कृति और जंगलराज के हवाले है। अब तक 8 लोगों की जान जा चुकी है। इस बारे में चीफ सेक्रेटरी से मैंने रिपोर्ट तलब करने को कहा है। मेरी संवेदनाएँ पीड़ितों के परिवारों के साथ हैं।”
Horrifying violence and arson orgy #Rampurhat #Birbhum indicates state is in grip of violence culture and lawlessness. Already eight lives lost.
— Governor West Bengal Jagdeep Dhankhar (@jdhankhar1) March 22, 2022
Have sought urgent update on the incident from Chief Secretary.
My thoughts are with the families of the bereaved. pic.twitter.com/vtI6tRJcBX
रामपुरहाट घटना पर MHA से लेकर NCPCR ने माँगी रिपोर्ट
बता दें कि बंगाल की घटना पर केंद्र ने उनसे 72 घंटे में जवाब माँगा है। NCPCR ने भी रिपोर्ट देने के लिए 3 दिन का समय दिया है। ऐसे में ममता सरकार ने घटना की जाँच के लिए अपनी ओर से SIT गठित की है। बंगाल पुलिस इसे लगातार राजनैतिक हिंसा मानने से मना कर रही है। TMC ने मंत्री फिरहाद हकीम के नेतृत्व में अपने तीन विधायकों की टीम बनाकर उन्हें घटनास्थल का मुआएना करने भेजा है। वहीं भाजपा ने भी 5 सदस्यों की फैक्ट फाइंडिंग कमेटी बनाई है जो इस मामले में रिपोर्ट दाखिल करेंगे।
राज्यपाल धनखड़ के बयान से नाराज हुईं ममता बनर्जी
राज्यपाल का बयान आने के बाद ममता बनर्जी भी नाराज दिखाई दीं। उन्होंने राज्यपाल को पत्र लिखकर कहा आग्रह किया कि इस समय किसी भी अनुचित बयान को देने से बचा जाए। राज्यपाल की टिप्पणियों को अत्यंत दुर्भाग्यपूर्ण बताते हुए उन्होंने कहा कि प्रतिष्ठित संवैधानिक पद पर आसीन व्यक्ति के लिए अशोभनीय है। गवर्नर को संबोधित पत्र में सीएम ममता बनर्जी ने लिखा है, “आपकी बातों और बयानों का राजनीतिक स्वर होता है, जो सरकार को धमकाने के लिए अन्य राजनीतिक दलों को समर्थन देता है।”
बंगाल में 1 हफ्ते में 26 राजनैतिक हत्याएँ
उल्लेखनीय है कि पश्चिम बंगाल के बीरभूम के रामपुरहाट में टीएमसी नेता भादू शेख की बम हमले मौत के बाद हिंसा मचाई गई। उपद्रवियों ने टीएमसी नेता की मौत का बदला लेने के लिए इलाके के कई घरों को आग में झोंका जिसमें दावा है कि कुल 12 लोग जलकर मर गए। वहीं पुलिस मृतकों की संख्या 8 बताने में लगी है।
पत्रकार अभिजीत मजूमदार का दावा है कि बंगाल मे एक हफ्ते में 26 राजनैतिक हत्याएँ हुई हैं। अब नई घटना में 12 लोगों को जिंदा जला दिया गया है। इनमें महिला और बच्चे भी शामिल हैं। इसकी वजह राष्ट्रीय बाल अधिकार संरक्षण आयोग ने बंगाल पुलिस से रिपोर्ट माँगी है। अभिजीत दावा करते हैं कि बंगाल अब जिहादी आतंक और कम्युनिस्ट युग के अपराधियों का अड्डा बन गया है जहाँ हिंदुओं पर अत्याचार बढ़ता जा रहा है।
West Bengal has seen 26 political murders in one week.
— Abhijit Majumder (@abhijitmajumder) March 22, 2022
Visuals are from Birbhum massacre in which 12 women and kids were burnt alive.
WB is now the rink of jihadi terror and Communist-era criminals, with growing pockets of Hindutva backlash.
[Warning: Disturbing visuals] pic.twitter.com/fcoPOEQfQp