‘कायर हिंदुओं’ को सबक सिखाने की बात करते हुए कट्टरपंथी इस्लामी संगठन पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया का 8 पन्नों वाला रोडमैप का दस्तावेज बिहार पुलिस ने बरामद किया है। इसमें भारत को इस्लामी मुल्क बनाने के लिए चरणबद्ध तरीकों के बारे में बताया गया है।
इन्हीं चरणबद्ध तरीकों में एक है ST/SC/OBC को साथ लेकर देश में मुस्लिमों की सरकार बनाना और फिर सेना और कार्यपालिका में न्यायपालिका पर कब्जा करना। इसके बाद हिंदुओं को पूरी तरह सफाया करना उसका उद्देश्य है।
हमें आतंकी संगठन ISIS (इस्लामिक स्टेट) द्वारा इराक में अल्पसंख्यक समुदाय के यजीदियों के साथ किए गए नरसंहार को याद करना चाहिए। PFI का मंसूबा भी हिंदुओं के लिए यही है और उसने अपने डॉक्यूमेंट में इसका उल्लेख भी किया है।
PFI के डॉक्यूमेंट में कहा गया है, “जब हमारे पास पर्याप्त प्रशिक्षित कैडर और हथियारों का भंडार हो जाएगा तो हम इस्लामी सिद्धांतों पर आधारित एक नए संविधान की घोषणा करेंगे। इस समय बाहरी ताकतें भी हमारी मदद के लिए आ जाएँगी। हमारे विरोधियों (यानी हिंदुओं) का व्यवस्थित और व्यापक रूप से सफाया होगा और इस्लामी गौरव की वापसी होगी।”
इस्लामी राष्ट्र की अपनी अवधारणा को अंजाम देने के लिए PFI बड़े पैमाने पर मुस्लिमों को हथियारों और विस्फोटों की ट्रेनिंग दे रहा है। उसके दस्तावेजों से खुलासा हुआ है कि भारत सरकार के फिट इंडिया और ‘स्वस्थ लोग स्वस्थ राष्ट्र’ अभियान का फायदा उठाकर वह जगह-जगह अपने ट्रेनिंग कैंप स्थापित कर रहा है और हथियारों का प्रशिक्षण दे रहा है।
बरामद दस्तावेज में कहा गया है कि भारत का शासक रहा मुस्लिम वर्ग अब दोयम दर्जे का नागरिक बन कर रह गया है। उसमें कहा गया है, “अंग्रेजों के समय में संपत्ति के अधिकार आदि के मामले में पहले मुस्लिमों को प्राप्त विशेषाधिकारों को वापस ले लिया गया था, सरकारी नौकरियों से वंचित कर दिया गया था और व्यापार सुविधाओं को प्रतिबंधित कर दिया गया था।”
उसके दस्तावेज में लिखा है, “दुनिया भारतीय मुस्लिमों को एक मॉडल के रूप में देखती है और भारतीय मुस्लिम समुदाय असहाय होकर किसी चमत्कार का बेसब्री से इंतजार कर रहा है। अभी या बाद में नेतृत्व को समुदाय के भीतर से उभरना होगा।”
दस्तावेज़ में आगे कहा गया है, “हम उस 2047 का सपना देखते हैं, जिसमें राजनीतिक सत्ता मुस्लिम समुदाय के पास लौटकर आती है, जिसे ब्रिटिश राज ने अन्यायपूर्ण तरीके से छीन लिया था।”
दस्तावेज में कहा गया है, “अगर हम इस्लाम के इतिहास में देखें तो मुस्लिम हमेशा अल्पसंख्यक थे और जीत के लिए हमें बहुमत की आवश्यकता नहीं है। पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया (PFI) को विश्वास है कि अगर कुल मुस्लिम आबादी का 10% उसके साथ आता है तो भी PFI कायर बहुसंख्यक समुदाय को उसके घुटनों पर ला देगा और भारत में इस्लाम के वैभव को वापस ला देगा।”
PFI खुले तौर पर हिंदुओं के खिलाफ हिंसा करने की अपील करता है। इसमें कहा गया है कि मुस्लिमों की कष्टों को बार-बार दोहराया और उन्हें याद दिलाया जाना चाहिए। इसके साथ ही हिंसा का इस्तेमाल ‘चुनिंदा विरोधियों’ (हिंदुओं) को आतंकित करने और उनकी सामूहिक ताकत को देखने के लिए किया जाना चाहिए।
पीएफआई ने अपने कैडरों से इस स्तर पर हथियार जमा करने के लिए कहा है। वह अपने डॉक्यूमेंट में कहता है, “PE विभाग (संभवत: हमलावर विभाग) को अपने सदस्यों को यूनीफॉर्म में मार्च करना चाहिए और जहाँ कहीं भी आवश्यक हो समुदाय की रक्षा के लिए उन्हें हमला करके अपनी ताकत का प्रदर्शन करना चाहिए।”
दस्तावेज में आगे कहा गया है, “जिन लोगों को हथियारों का प्रशिक्षण दिया जा रहा था, वे इस बिंदु पर (केंद्र में सत्ता हासिल करने के बाद) और अधिक ‘खुलकर’ सामने आ जाएँगे और जो हमारे हित के खिलाफ हैं उन्हें खत्म किया जाएगा। ये PE कैडर हमारे विरोधियों द्वारा सुरक्षा बलों पर प्रभाव के खिलाफ एक सुरक्षा कवच के रूप में भी काम करेंगे।”
डॉक्यूमेंट में आगे कहा गया है, “जब हमारे पास पर्याप्त प्रशिक्षित कैडर और हथियारों का भंडार हो जाएगा तो हम इस्लामी सिद्धांतों पर आधारित एक नए संविधान की घोषणा करेंगे। इस समय बाहरी ताकतें भी हमारी मदद के लिए आ जाएँगी। हमारे विरोधियों (यानी हिंदुओं) का व्यवस्थित और व्यापक रूप से सफाया होगा और इस्लामी गौरव की वापसी होगी।”
पीएफआई कहता है कि कैडरों को ‘अंतिम शक्ति प्रदर्शन’ यानी सरकार के खिलाफ सशस्त्र विद्रोह से पहले हिंदुओं और हिंदू नेताओं का डिटेल अपने पास रखना चाहिए। PFI के डॉक्यूमेंट में कहा गया है, “अंतिम प्रदर्शन के चरण से पहले हिंदू/आरएसएस नेताओं और उनके कार्यालयों के स्थानों के व्यक्तिगत विवरण के बारे में विस्तृत जानकारी एकत्र करना और तैयार रखना अनिवार्य है।”
उसके डॉक्यूमेंट में आगे कहा गया है, “विभिन्न स्तरों पर सूचना विंगों को अपने डेटा-बेस का फॉलोअप और अपडेट करते रहना चाहिए। हिंदू नेताओं की गतिविधियों पर नज़र रखने से हमें उनके खिलाफ कार्रवाई करने में भी मदद मिलेगी। हमारे अंतिम लक्ष्य के रोडमैप में सूचना विंग के महत्व को ध्यान में रखते हुए सभी स्तरों पर विंग के कामकाज को मजबूत और तेज करने की जरूरत है।”
(बिहार के फुलवारी शरीफ में PFI के ट्रेनिंग सेंटर से बरामद ‘इंडिया विज़न 2047’ के बारे में विस्तार से जानने के लिए इस लिंक को क्लिक करें।)