Thursday, November 14, 2024
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इमामों की सैलरी 50% बढ़ी, 5% का सालाना इंक्रीमेंट: वक्फ बोर्ड ने हरियाणा के CM का किया सम्मान, कहा- भारत में ऐसा पहले कभी नहीं हुआ

हरियाणा वक्फ बोर्ड के प्रशासक जाकिर हुसैन ने कहा कि इमामों को अब 14,000 रुपए से लेकर 16,000 रुपए प्रतिमाह मानदेय के रूप में दिए जाएँगे। उन्होंने कहा, "इमामों के वेतन में 5% वार्षिक वृद्धि का प्रावधान भारत में इससे पहले कहीं नहीं हुआ है।"

हरियाणा वक्फ बोर्ड ने मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर का सम्मान किया है। ऐसा राज्य के इमामों का मानदेय बढ़ाने को लेकर किया गया है। यह समारोह गुरुग्राम यूनिवर्सिटी में गुरुवार (5 जनवरी 2023) को हुआ था। बीते साल ​हरियाणा में इमामों के वेतन में 50 फीसदी की वृद्धि की गई थी। साथ ही हर साल 5 फीसदी इंक्रीमेंट देने की बात भी कही गई थी।

रिपोर्ट के अनुसार गुरुवार को आयोजित सम्मान समारोह पहला मौका था जब हरियाणा के मुख्यमंत्री वक्फ बोर्ड के इमामों से मुखातिब थे। इमामों के एक संगठन ‘तंजीम आइमा-ए-औकाफ’ ने कहा है कि वेतन वृद्धि शानदार है और हरियाणा में विभिन्न मस्जिदों में काम करने वाले कम से कम 800 इमामों को इससे लाभ होगा। इमामों को हरियाणा वक्फ बोर्ड द्वारा वेतन दिया जाता है। वक्फ बोर्ड राज्य सरकार से अनुदान प्राप्त करता है। साथ ही खुद की संपत्तियों से भी उसकी आय होती है।

हरियाणा वक्फ बोर्ड के प्रशासक जाकिर हुसैन ने कहा कि इमामों को अब 14,000 रुपए से लेकर 16,000 रुपए प्रतिमाह मानदेय के रूप में दिए जाएँगे। उन्होंने कहा, “इमामों के वेतन में 5% वार्षिक वृद्धि का प्रावधान भारत में इससे पहले कहीं नहीं हुआ है।” इस अवसर पर सीएम खट्टर ने कहा, “हरियाणा में भाईचारा बढ़ाने के लिए हरसंभव प्रयास किया जा रहा है। इमाम संगठनों की माँगों को देखते हुए हमने मौलानाओं और इमामों के मानदेय में बढ़ोतरी की है। पिछले कई वर्षों से माँगों पर विचार नहीं किया गया था।”

कार्यक्रम के बाद मीडिया को संबोधित करते हुए खट्टर ने कहा, “मेवात जैसे क्षेत्रों में शिक्षा और स्वास्थ्य सुविधाओं में सुधार के लिए इमाम एक महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकते हैं। हम इस क्षेत्र में अधिक बुनियादी ढाँचे और विकास के निर्माण पर भी काम कर रहे हैं। इमामों ने मेवात में ‘बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ’ अभियान के साथ-साथ ‘स्वच्छ भारत’ अभियान की सफलता में भी महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है।”

खट्टर ने कहा कि सरकार यह सुनिश्चित करने का प्रयास कर रही है कि मंदिर के पुजारियों को भी उन संगठनों द्वारा न्यूनतम वेतन दिया जाए जो उन्हें नियुक्त करते हैं। उन्होंने कहा, “इसकी निगरानी के लिए और इस वर्ग के कल्याण के लिए सरकार द्वारा एक बोर्ड का गठन किया गया है।” गौरतलब है कि खट्टर ने दिसंबर 2022 में करनाल में एक कार्यक्रम के दौरान ‘पुजारी पुरोहित कल्याण बोर्ड’ का गठन करने की बात कही थी।

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ऑपइंडिया स्टाफ़
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कार्यालय संवाददाता, ऑपइंडिया

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