Sunday, November 17, 2024
Homeराजनीतिमोदी सरकार ने बदला नेहरू मेमोरियल म्यूजियम का नाम, कॉन्ग्रेस भड़की: BJP ने कहा-...

मोदी सरकार ने बदला नेहरू मेमोरियल म्यूजियम का नाम, कॉन्ग्रेस भड़की: BJP ने कहा- इससे सभी प्रधानमंत्रियों को सम्मान मिलेगा

भाजपा सांसद नीरज शेखर ने ट्वीट कर कहा, "मेरे पिता पूर्व पीएम चंद्रशेखर जी ने हमेशा राष्ट्रहित के लिए काम किया। उन्होंने कॉन्ग्रेस के साथ भी काम किया, लेकिन इन लोगों ने कभी एक वंश से परे नहीं देखा। अब जब पीएम मोदी ने सभी दलों के प्रधानमंत्रियों को सम्मानित किया तो कॉन्ग्रेस उत्तेजित हो रही है। यह भयानक रवैया है।"

दिल्ली स्थित नेहरू मेमोरियल म्यूजियम एंड लाइब्रेरी (NMML) का नाम बदल दिया गया है। अब इसे प्रधानमंत्री संग्रहालय और पुस्तकालय (Prime Minister Museum and Library- PMML) के नाम से जाना जाएगा। नेहरू के नाम को हटाने के बाद कॉन्ग्रेस (Congress) सत्ताधारी भाजपा (BJP) पर हमलावर हो गई है।

कॉन्ग्रेस नेता जयराम रमेश ने कहा कि ‘संकीर्णता और प्रतिशोध का दूसरा नाम मोदी’ है। वहीं, कॉन्ग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने भी भाजपा पर निशाना साधा और कहा कि देश के पहले प्रधानमंत्री के योगदान को कमतर करने की कोशिश की जा रही है। वहीं, भाजपा ने निर्णय का बचाव किया और कॉन्ग्रेस पर राजनीति करने का आरोप लगाया।

दरअसल, नेहरू मेमोरियल म्यूजियम एंड लाइब्रेरी का नाम बदलकर प्राइम मिनिस्टर म्यूजियम एंड लाइब्रेरी करने का निर्णय एक विशेष बैठक में लिया गया। इस विशेष बैठक की अध्यक्षता सोसायटी के उपाध्यक्ष एवं रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह की अध्यक्षता मे हुई। अब इस संग्रहालय में सारे प्रधानमंत्रियों के योगदान को चित्रित किया जाएगा। 

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने साल 2016 में तीन मूर्ति परिसर में भारत के सभी प्रधानमंत्रियों को समर्पित एक संग्रहालय स्थापित करने का विचार रखा था। इसके बाद NMML की कार्यकारी परिषद ने 25 नवंबर 2016 को अपनी बैठक में इसे मंजूरी दे दी थी। अब प्रधानमंत्री संग्रहालय को 21 अप्रैल 2022 से जनता के लिए खोल दिया गया है।

इस के इस निर्णय पर जयराम ट्वीट किया, “संकीर्णता और प्रतिशोध का दूसरा नाम मोदी है। 59 वर्षों से अधिक समय से नेहरू स्मारक संग्रहालय और पुस्तकालय एक वैश्विक बौद्धिक ऐतिहासिक स्थल और पुस्तकों एवं अभिलेखों का खजाना घर रहा है। अब से इसे प्रधानमंत्री म्यूजियम कहा जाएगा।”

पीएम मोदी पर निशना साधते हुए उन्होंने आगे कहा, “पीएम मोदी भारतीय राष्ट्र के शिल्पकार के नाम और विरासत को विकृत करने, नीचा दिखाने और नष्ट करने के लिए क्या नहीं करेंगे। अपनी असुरक्षा के बोझ तले दबा एक तुच्छ व्यक्ति स्वघोषित विश्वगुरु बना फिर रहा है।” 

बता दें कि जयराम रमेश वही शख्स हैं, जिन्होंने साल 2015 में देश में बहस का मुद्दा बने गोमांस को लेकर भाजपा को असहिष्णु बताया था। गोमांस के समर्थन में उन्होंने यहाँ तक कह दिया था कि खुद उनके परिवार के कई गोमांस खाते हैं। उन्होंने खान-पान को निजी मुद्दा बताया था।

वहीं, मल्लिकार्जुन खड़गे ने ट्वीट कर कहा, “जिनका कोई इतिहास ही नहीं है, वो दूसरों के इतिहास को मिटाने चले हैं! Nehru Memorial Museum & Library का नाम बदलने के कुत्सित प्रयास से आधुनिक भारत के शिल्पकार व लोकतंत्र के निर्भीक प्रहरी, पंडित जवाहरलाल नेहरू जी की शख़्सियत को कम नहीं किया जा सकता।”

कॉन्ग्रेस अध्यक्ष ने अपने ट्वीट में आगे लिखा, “इससे केवल BJP-RSS की ओछी मानसिकता और तानाशाही रवैये का परिचय मिलता है। मोदी सरकार की बौनी सोच, ‘हिन्द के जवाहर’ का भारत के प्रति विशालकाय योगदान कम नहीं कर सकती!”

कॉन्ग्रेस जहाँ इस फैसले का विरोध कर ही है, वहीं भाजपा इसका बचाव कर रही है। पार्टी अध्यक्ष जेपी नड्डा ने कहा, “… एक साधारण तथ्य को स्वीकार करने में असमर्थ हैं कि एक वंश से परे ऐसे नेता भी हैं, जिन्होंने अपने देश की सेवा की और इसका निर्माण किया है। पीएम संग्रहालय राजनीति से परे एक प्रयास है और कॉन्ग्रेस के पास इसे महसूस करने के लिए दृष्टि नहीं है।”

वहीं, भाजपा सांसद नीरज शेखर ने भी इस पर प्रतिक्रिया दी है। उन्होंने ट्‌वीट किया, “मेरे पिता पूर्व पीएम चंद्रशेखर जी ने हमेशा राष्ट्रहित के लिए काम किया। उन्होंने कॉन्ग्रेस के साथ भी काम किया, लेकिन इन लोगों ने कभी एक वंश से परे नहीं देखा। अब जब पीएम मोदी ने सभी दलों के प्रधानमंत्रियों को सम्मानित किया तो कॉन्ग्रेस उत्तेजित हो रही है। यह भयानक रवैया है।”

उन्होंने आगे कहा, “प्रधानमंत्रियों का सम्मान करना तो भूल जाइए, कॉन्ग्रेस और उनके शाही खानदान ने उन प्रधानमंत्रियों का अपमान किया है, जो उनके वंश के नहीं हैं। नरसिम्हा राव जी के प्रति व्यवहार हमारे राजनीतिक इतिहास के सबसे शर्मनाक अध्यायों में से एक के रूप में जाना जाएगा।”

भाजपा ने आरोप लगाया कि कॉन्ग्रेस अपने ही उन नेताओं का भी अपमान करने से नहीं हिचकिचाती है, जिन्होंने प्रधानमंत्री के रूप में कार्य किया। भाजपा का कहना है कि नीरज शेखर ने कहा कि सोनिया गाँधी हों या राहुल गाँधी या कॉन्ग्रेस का कोई अन्य नेता, आजतक इन लोगों ने संग्रहालय का दौरा नहीं किया।

Join OpIndia's official WhatsApp channel

  सहयोग करें  

एनडीटीवी हो या 'द वायर', इन्हें कभी पैसों की कमी नहीं होती। देश-विदेश से क्रांति के नाम पर ख़ूब फ़ंडिग मिलती है इन्हें। इनसे लड़ने के लिए हमारे हाथ मज़बूत करें। जितना बन सके, सहयोग करें

ऑपइंडिया स्टाफ़
ऑपइंडिया स्टाफ़http://www.opindia.in
कार्यालय संवाददाता, ऑपइंडिया

संबंधित ख़बरें

ख़ास ख़बरें

मुस्लिम घुसपैठियों और ईसाई मिशनरियों के दोहरे कुचक्र में उलझा है झारखंड, सरना कोड से नहीं बचेगी जनजातीय समाज की ‘रोटी-बेटी-माटी’

झारखंड का चुनाव 'रोटी-बेटी-माटी' केंद्रित है। क्या इससे जनजातीय समाज को घुसपैठियों और ईसाई मिशनरियों के दोहरे कुचक्र से निकलने में मिलेगी मदद?

दिल्ली सरकार के मंत्री कैलाश गहलोत का AAP से इस्तीफा: कहा- ‘शीशमहल’ से पार्टी की छवि हुई खराब, जनता का काम करने की जगह...

दिल्ली सरकार में मंत्री कैलाश गहलोत ने अरविंद केजरीवाल एवं AAP पर भ्रष्टाचार का आरोप लगाकार पार्टी की प्राथमिक सदस्यता से इस्तीफा दे दिया है।

प्रचलित ख़बरें

- विज्ञापन -