उत्तराखंड विधानसभा में बुधवार (7 फरवरी 2024) को समान नागरिक संहिता (UCC) ध्वनिमत के साथ पास हो गया। इसके नोटिफाई करते ही यह विधेयक कानून का रूप ले लेगा। इसके साथ ही उत्तराखंड आजाद भारत का पहला राज्य बन जाएगा, जहाँ समान नागरिक संहिता लागू किया जाएगा।
बता दें कि मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने स्वयं इस बिल को 6 फरवरी 2024 को सदन में पेश किया था। उत्तराखंड के मुख्यमंत्री धामी के विधानसभा में UCC बिल पेश करते ही यहाँ मौजूद विधायकों ने वन्दे मातरम और जय श्रीराम के नारे लगाए थे। इसके बाद सदन में इस पर चर्चा हुई और आखिरकार यह बिल पारित हो गया।
The Uniform Civil Code Uttarakhand 2024 Bill, introduced by Chief Minister Pushkar Singh Dhami-led state government, passed in the House.
— ANI (@ANI) February 7, 2024
After passing the UCC Bill in the Assembly, Uttarakhand has become the first state in the country to implement the Uniform Civil Code. pic.twitter.com/7KGYYm3XLJ
इस विधेयक का मसौदा एक पाँच सदस्यीय पैनल ने किया है, जिसकी अध्यक्षता सुप्रीम कोर्ट की रिटायर जज रंजना देसाई ने की थी। समिति ने 2 फरवरी को अपनी रिपोर्ट उत्तराखंड सरकार को सौंप दी थी। यह पाँच सदस्यीय पैनल इस विधेयक की बारीकियों को समझने और उसे मूर्त रूप देने के लिए बनाया गया था।
इसके लेकर उत्तराखंड के मुख्यमंत्री धामी ने सोशल मीडिया साइट एक्स (पूर्व में ट्विटर) पर खुशी जाहिर है। उन्होंने इतिहास रचने वाली उत्तराखण्ड की विधायिका के सभी सदस्यों, UCC का ड्राफ्ट बनाने वाली कमेटी के सभी सदस्यगणों एवं राज्य की जनता का आभार व्यक्त किया है।
अपने पोस्ट में सीएम धामी ने लिखा, “ऐतिहासिक समान नागरिक संहिता विधेयक-2024 विधानसभा में पारित.. माँ गंगा व यमुना की उद्गम स्थली देवभूमि उत्तराखण्ड से निकली UCC के रूप में समानता और समरूपता की यह अविरल धारा संपूर्ण देश का पथ प्रदर्शित करेगी। यह विधेयक मातृशक्ति के सम्मान एवं उनकी सुरक्षा के प्रति हमारी सरकार की प्रतिबद्धता को भी परिलक्षित करता है।”
ऐतिहासिक समान नागरिक संहिता विधेयक-2024 विधानसभा में पारित..
— Pushkar Singh Dhami (@pushkardhami) February 7, 2024
माँ गंगा व यमुना की उद्गम स्थली देवभूमि उत्तराखण्ड से निकली UCC के रूप में समानता और समरूपता की यह अविरल धारा संपूर्ण देश का पथ प्रदर्शित करेगी। यह विधेयक मातृशक्ति के सम्मान एवं उनकी सुरक्षा के प्रति हमारी सरकार की… pic.twitter.com/0nfGBA3L3C
पीएम मोदी को आभार व्यक्त करते हुए उन्होंने आगे लिखा, “आज पुनः आदरणीय प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी जी के मुखारबिंद से निकली वह शिववाणी याद आती है कि ’21वीं सदी का तीसरा दशक उत्तराखण्ड का दशक है’ प्रधानमंत्री जी के विजन ‘एक भारत-श्रेष्ठ भारत’ एवं प्रदेशवासियों की आकांक्षाओं के अनुरूप हमारी सरकार ने चुनाव से पूर्व देवतुल्य जनता से किए गए अपने वादे को पूर्ण किया है।”
मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने अपने X पोस्ट में आगे लिखा, “आज 24 साल के सशक्त, स्वाभिमानी एवं ऊर्जावान उत्तराखण्ड को देखकर हमारे राज्य आंदोलनकारियों का मस्तक गर्व से ऊँचा हो गया होगा। हमारे शहीदों के प्रति यह एक सच्ची श्रद्धांजलि है जब हमारा प्रदेश विश्व पटल पर एक नई पहचान बना रहा है।”
समान नागरिक संहिता बिल में विवाह, तलाक, संपत्ति में हिस्सेदारी, गोद लेने की प्रक्रिया और लिव-इन रिलेशनशिप से जुड़े अहम बिंदु भी शामिल किए गए हैं। इसमें उत्तराधिकार के महत्वपूर्ण मामले पर भी जोर दिया गया है। हालाँकि, इस बिल को लेकर मुस्लिम समाज विरोध कर रहा है।