महाराष्ट्र के नागपुर में हुई एक घटना के लिए पत्रकार साक्षी जोशी सहित कुछ लोगों ने मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान जिम्मेदार ठहराया। पोल खुलने के बाद उन्होंने ट्वीट को चुपके से डिलीट भी कर लिया। ये मामला RSS स्वयंसेवक नारायण भाऊराव दाभाडकर से जुड़ा है, जिन्होंने कोरोना वायरस से संक्रमित होने के बावजूद अस्पताल में अपना बेड एक अन्य मरीज को दे दिया। इसके 3 दिन बाद 85 वर्षीय नारायण का निधन हो गया।
इस घटना को लेकर मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने उनकी सराहना की। चौहान ने उस बात को शेयर किया, जो नारायण भाऊराव दाभाडकर ने अपने बेड दूसरे मरीज को देते समय कही थी। उन्होंने कहा था, “मैंने अपनी ज़िंदगी जी ली है। मेरी उम्र अब 85 साल है। इस महिला का पति युवा है। उस पर परिवार की जिम्मेदारी है, इसलिए मेरा बेड उसे दे दिया जाए।”
ऐसा आग्रह कर के वयोवृद्ध RSS कार्यकर्ता अपने घर लौट गए थे। इसके 3 दिन बाद उनका निधन हो गया। उनका ऑक्सीजन लेवल 60 पर पहुँच गया था। इससे पहले बेटी-दामाद उन्हें इंदिरा गाँधी शासकीय अस्पताल ले गए थे, जहाँ बड़ी मुश्किल से बेड मिला था। वहीं इलाज की प्रक्रिया के दौरान एक 40 वर्षीय महिला अपने पति को लेकर आई थी। अस्पताल में बेड खाली न होने पर उसे भर्ती से मना कर दिया गया।
वो महिला फफक-फफक कर रोने लगी, जिसके बाद नागपुर के नारायण भाऊराव दाभाडकर ने आग्रह किया कि उनका बेड इस महिला के पति को दे दिया जाए, वरना उसके बच्चे अनाथ हो जाएँगे। अस्पताल प्रशासन ने उनसे कागज़ पर लिखवाया भी कि वे स्वेच्छा से दूसरे मरीज के लिए अपना बेड दे रहे हैं। स्वीकृति पत्र भर कर वो घर लौट गए थे। सीएम शिवराज ने उन्हें श्रद्धांजलि देते हुए लिखा, “समाज और राष्ट्र के सच्चे सेवक ही ऐसा त्याग कर सकते हैं, आपके पवित्र सेवा भाव को प्रणाम! आप समाज के लिए प्रेरणास्रोत हैं।”
पत्रकार साक्षी जोशी ने इसी ट्वीट पर प्रतिक्रिया दी। हाल ही में TMC के चुनावी रणनीतिकार प्रशांत किशोर से पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी के शौचालय जाने को लेकर सवाल करने वाली साक्षी ने लिखा, “दिल से सलाम और सम्मान RSS के स्वयंसेवक नारायण जी के लिए, लेकिन आपके लिए नहीं शिवराज जी। वजह तो आप समझ गए होंगे। आप CM हैं। आपके ‘सिस्टम’ के कारण नारायण जी को ऐसा फैसला करना पड़ा।”
Kya aurat hai @sakshijoshii 😭😭😭😂
— Lala 🇮🇳 (@Lala_The_Don) April 28, 2021
Nagpur Maharashtra me ka incident, instead of attacking UT she is asking questions to Shivraj Mama, Dalali ki bhi had hoti hai 😭😭😭😹😂 pic.twitter.com/Ds4GxZ7akC
साक्षी जोशी ने आगे लिखा, “स्वयंसेवक तो आप भी रहे होंगे लेकिन पद मिल गया तो कर्तव्य भूल गए। नारायण जी को मेरा नमन।” जबकि सच्चाई ये है कि नागपुर, मध्य प्रदेश में नहीं बल्कि महाराष्ट्र में है और वहाँ के मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे हैं, जिनसे साक्षी जोशी जैसे पत्रकार सवाल नहीं पूछते। वहाँ भाजपा विरोधी 3 दलों शिवसेना-NCP-कॉन्ग्रेस की ‘महाविकास अघाड़ी’ सरकार चल रही है। लेकिन, दोष पड़ोसी राज्य के CM को ही दिया जाएगा, क्योंकि पत्रकार लिबरल गिरोह की है।