प्रोपेगैंडा वेबसाइट दी क्विंट लगातार भ्रामक और गुमराह करने वाली खबरें चलाकर देश में CAA (नागरिकता संशोधन कानून) के विरोध में माहौल बनाने की कोशिशें करते हुए स्पष्ट रूप से पकड़ा जा चुका है। ‘द क्विंट’ ने 13 जनवरी को एक वीडियो जारी करते हुए दावा किया था कि इसमें दिखने वाला शख्स एक ड्राइवर है जो उबर (UBER) के लिए काम करता है। इसमें वो काफ़ी नाटकीय ढंग से रोते हुए कहता दिख रहा था कि वो मुस्लिम है और एनआरसी के बारे में सोचते ही उसकी रूह काँप उठती है।
इस स्क्रिप्टेड वीडियो की पोल खुलने के बाद दी क्विंट ने यह वीडियो अपनी वेबसाइट से डिलीट कर दिया है और साथ में कुछ फर्जी स्पष्टीकरण ट्वीट करते हुए बताया है कि उस मुस्लिम कैब चालाक को ऑनलाइन ट्रोलिंग का शिकार होना पड़ा जिस वजह से यह वीडियो डिलीट करना पड़ रहा है। हालाँकि, प्रोपेगैंडा वेबसाइट द क्विंट अभी भी अपनी इस वीडियो को स्क्रिप्टेड बताने से साफ़ इंकार कर रहा है।
द क्विंट द्वारा ढूँढकर लाए गए इरशाद अहमद नाम के व्यक्ति के इस वीडियो में एक कैब चालाक बताता है कि न उसके पास ज़मीन-जायदाद है और न ही कोई कागज़, तो उसे चिंता हो रही है कि वो अपनी नागरिकता कैसे साबित करेगा? इसका नाम इरशाद अहमद बताया गया है। ‘द क्विंट’ से बातचीत में उक्त इरशाद ने बताया कि नागरिकता साबित न करने पर उसके साथ क्या होगा, ये सोच कर उसे डर लग रहा है।
दी क्विंट के इस वीडियो में गड़बड़ी की आशंका को देखते हुए फ़िल्म निर्देशक विवेक अग्निहोत्री ने ‘द क्विंट’ के इस वीडियो की पोल खोल कर रख दी। उन्होंने तुरंत जानकारी देते हुए बताया कि ये व्यक्ति इरशाद अहमद बॉलीवुड में बतौर जूनियर एक्टर काम करता है। ‘द ताशकंद फाइल्स’ और ‘बुद्धा इन अ ट्रैफिक जाम’ जैसी फ़िल्मों का निर्देशन कर चुके अग्निहोत्री ने बताया कि ‘द क्विंट’ ने इस पूरे ड्रामे की साज़िश पहले ही रच ली थी। अर्थात, एक स्क्रिप्ट तैयार कर के उस ड्राइवर को पीड़ित दिखा कर उससे अभिनय करवाया गया और दर्शकों को इसे सच बता कर परोस दिया गया। जबकि सब कुछ एक ड्रामा है।
फिल्म निर्देशक विवेक अग्निहोत्री ने दी क्विंट के इस प्रोपेगैंडा को ध्वस्त करते हुए वेबसाइट को चैलेंज भी किया था कि वह साबित करें कि यह एक फेक और सोची समझी घृणा फैलाने के मकसद से जारी किया गया स्क्रिप्टेड वीडियो नहीं है या फिर इसे डिलीट कर दे। इसके कुछ घंटों बाद ही दी क्विंट ने कुछ स्पष्टीकरण देते हुए ड्राइवर का वह वीडियो डिलीट कर दिया।
अपनी सफाई में दी क्विंट ने स्पष्टीकरण देते हुए कहा है –
- ड्राइवर को बहुत ज्यादा सोशल मीडिया ट्रोलिंग का शिकार होना पड़ा है, जैसा कि फिल्म निर्देशक विवेक अग्निहोत्री ने ड्राइवर पर बॉलीवुड से जुड़े होने के आरोप लगाए।
- द क्विंट स्पष्ट करता है कि यह ड्राइवर कभी भी बॉलीवुड में कलाकार नहीं रहा।
- ओरिजिनल वीडियो म्युज़िशियन सुमित रॉय द्वारा बनाया गया था, जिसने स्पष्ट किया है कि यह वीडियो स्क्रिप्टेड नहीं था।
- सुमित रॉय ने ड्राइवर की अनुमति से वीडियो इंस्टाग्राम पर अपलोड किया, जहाँ हमारी (दी क्विंट) इस वीडियो पर नजर पड़ी।
- दी क्विंट ने ड्राइवर को रुपए नहीं दिए।
- ड्राइवर ने दी क्विंट को यह वीडियो सार्वजानिक करने की इजाजत दी थी लेकिन सोशल मीडिया पर ट्रोल किए जाने के भय, अपने और परिवार की सुरक्षा के भय से हमने वीडियो डिलीट कर के ड्राइवर की पहचान छुपा दी है।
EDITOR’S NOTE: On 13 January, The Quint published a video titled ”How to Prove I’m Indian?’ Muslim Driver Breaks Down Over NRC Fear’, in which a cab driver is seen speaking about his fears about a prospective nationwide NRC exercise.
— The Quint (@TheQuint) January 15, 2020
(1/6)https://t.co/zRaJ2suWGP pic.twitter.com/0Elbaw5KsX
दी क्विंट के इस स्पष्टीकरण पर निर्देशक विवेक अग्निहोत्री ने दी क्विंट को एकबार फिर लताड़ लगाते हुए ट्वीट किया- “झूठे और तीसरे दर्जे के दी क्विंट ने मुझे टैग नहीं किया क्योंकि मैंने उन्हें चैलेंज किया था कि क्विंट को यह वीडियो डिलीट करना पड़ेगा अगर यह दुर्भावना से बनाया गया वीडियो फेक साबित हो जाए। यह वीडियो क्विंट ने अपने घृणा का एजेंडा चलाने के लिए बनाया था।”
Bloody liars and 3rd rate Quint don’t have the guts to tag me. Because of my challenge they had to delete the maliciously enacted and fake video. The video was done to push their hate -agenda. https://t.co/5uT9uIq6br
— Vivek Ranjan Agnihotri (@vivekagnihotri) January 15, 2020