Saturday, November 16, 2024
Homeरिपोर्टराष्ट्रीय सुरक्षाUP में रोहिंग्या और उनके मददगारों की हो रही तलाश: रिपोर्ट में बताया- नकली...

UP में रोहिंग्या और उनके मददगारों की हो रही तलाश: रिपोर्ट में बताया- नकली दस्तावेजों से बने भारत के वोटर, ATS की पड़ताल से सामने आया फर्जीवाड़ा

PFI की संलिप्तता हाल ही में बिहार से भी सामने आई है। पटना पुलिस की जाँच में रोहिंग्या मुस्लिमों और बांग्लादेशी घुसपैठियों का आधार कार्ड बनवाने की बात सामने आई थी।

बिहार की पटना पुलिस के बाद अब उत्तर प्रदेश ATS की लखनऊ यूनिट ने घुसपैठियों को लेकर अहम खुलासा किया है। एटीएस जाँच में रोहिंग्या मुस्लिमों का फर्जी मतदाता पहचान-पत्र बनवाने की बात सामने आई है। 

हिंदुस्तान की रिपोर्ट के मुताबिक रोहिंग्या मुस्लिमों ने फर्जी डॉक्यूमेंट्स के आधार पर वोटर कार्ड बनवा लिया है। इससे यह भारत के मतदाता बन गए हैं। इससे इनकी पहचान काफी मुश्किल हो गई है। इसका खुलासा तकरीबन एक साल पहले पकड़े गए रोहिंग्या से पूछताछ के दौरान हुआ। लखनऊ एटीएस ने इन घुसपैठियों के पास से भारत का फर्जी वोटर कार्ड बरामद किया था। इसके बाद अब प्रदेश भर में अवैध रूप से रह रहे रोहिंग्या की तलाश की जा रही है। उनका रिकॉर्ड निकाला जा रहा है, ताकि इन घुसपैठियों और उनके मददगारों की पहचान की जा सके।

उल्लेखनीय है कि जून 2021 में रोहिंग्या मुस्लिमों को भारत लाने वाले गिरोह के मास्टरमाइंड नूर आलम को यूपी एटीएस ने साथी समेत गाजियाबाद के डासना से गिरफ्तार किया था। नूर आलम फर्जी दस्तावेजों पर रोहिंग्या को भारत लाता था। एटीएस ने आरोपितों के कब्जे से आधार कार्ड, पैन कार्ड, मोबाइल और 70 हजार रुपए बरामद किया था।

नूर आलम से पहले 6 जनवरी 2021 को एटीएस ने उसके साले अजीजुल्लाह को पकड़ा था। अजीज फर्जी दस्तावेजों के सहारे बीते 20 साल से भारत में रह रहा था। वहीं 28 फरवरी 2021 को मोहम्मद फारूक और हसन को अलीगढ़ से गिरफ्तार करने के बाद फारूक के भाई को 1 मार्च को उन्नाव से गिरफ्तार किया गया था। शाहिद को फर्जी भारतीय दस्तावेजों और 5 लाख रुपए के साथ पकड़ा गया था। मीडिया रिपोर्ट में बताया गया था कि इन घुसपैठियों को प्रतिबंधित सिमी समर्थित पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया (PFI) का संरक्षण प्राप्त है।

PFI की संलिप्तता हाल ही में बिहार से भी सामने आई है। पटना पुलिस की जाँच में पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया द्वारा अपने संगठन में भर्ती करने के लिए रोहिंग्या मुस्लिमों और बांग्लादेशी घुसपैठियों का आधार कार्ड बनवाने की बात सामने आई थी। पटना पुलिस ने इस बात की भी आशंका जताई थी कि पीएफआई आधार कार्ड बनवाने के लिए फर्जी कागजात तैयार करवाने के साथ ही ऐसे तरीके अपना रहा है, जिससे घुसपैठियों की पहचान बेहद मुश्किल होगा। न्यूज़ 18 की रिपोर्ट में इस कड़ी में बिहार के सीमांचल क्षेत्र खासतौर से किशनगंज, दरभंगा, कटिहार, मधुबनी, सुपौल और पूर्णिया जिलों को टारगेट करने की बात कही गई थी।

Join OpIndia's official WhatsApp channel

  सहयोग करें  

एनडीटीवी हो या 'द वायर', इन्हें कभी पैसों की कमी नहीं होती। देश-विदेश से क्रांति के नाम पर ख़ूब फ़ंडिग मिलती है इन्हें। इनसे लड़ने के लिए हमारे हाथ मज़बूत करें। जितना बन सके, सहयोग करें

ऑपइंडिया स्टाफ़
ऑपइंडिया स्टाफ़http://www.opindia.in
कार्यालय संवाददाता, ऑपइंडिया

संबंधित ख़बरें

ख़ास ख़बरें

जिनके पति का हुआ निधन, उनको कहा – मुस्लिम से निकाह करो, धर्मांतरण के लिए प्रोफेसर ने ही दी रेप की धमकी: जामिया में...

'कॉल फॉर जस्टिस' की रिपोर्ट में भेदभाव से जुड़े इन 27 मामलों में कई घटनाएँ गैर मुस्लिमों के धर्मांतरण या धर्मांतरण के लिए डाले गए दबाव से ही जुड़े हैं।

‘गालीबाज’ देवदत्त पटनायक का संस्कृति मंत्रालय वाला सेमिनार कैंसिल: पहले बनाया गया था मेहमान, विरोध के बाद पलटा फैसला

साहित्य अकादमी ने देवदत्त पटनायक को भारतीय पुराणों पर सेमिनार के उद्घाटन भाषण के लिए आमंत्रित किया था, जिसका महिलाओं को गालियाँ देने का लंबा अतीत रहा है।

प्रचलित ख़बरें

- विज्ञापन -