Sunday, June 15, 2025

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मराठा

धर्म, शासन और सेवा का दुर्लभ संगम लोकमाता अहल्याबाई होल्कर: काशी से केदारनाथ तक जिनकी छाप, आत्ममंथन माँगती है 300वीं जयंती

आज के युग में क्यों प्रासंगिक हैं अहिल्याबाई होल्कर? आज जब राजनीति, प्रशासन और धर्म - तीनों में नैतिक मूल्यों का क्षरण हो रहा है, तब अहिल्याबाई जैसी विभूतियाँ प्रेरणा देती हैं कि ईमानदारी, त्याग और सेवा भाव से भी शासन चलाया जा सकता है।

अंग्रेजों ने 208 साल पहले चुराई थी मराठा योद्धा की सोना जड़ित तलवार, अब उसे लंदन से वापस भारत ला रही BJP सरकार: महाराष्ट्र...

हाल ही में महाराष्ट्र की बीजेपी सरकार ने रघुजी तलवार को 47.15 लाख रुपये में नीलामी में खरीद लिया है। सीएम देवेंद्र फडणवीस ने एक्स पर इसकी जानकारी दी। ये तलवार मराठा विरासत का खजाना है।

महाराष्ट्र में मराठा को 10% आरक्षण: विधानसभा में सर्व-सम्मति से बिल पास, सपा के MLA बोले – मुस्लिमों को भी 5% कोटा दो

महाराष्ट्र विधानसभा मराठा आरक्षण बिल एकमत से पारित हो गया। इसके अंतर्गत मराठों को शिक्षा और नौकरियों में 10% का आरक्षण दिया जा सकेगा।

‘गढ़ी माज़ी लड़की’ और ‘गनीमी कावा’: वो 2 रणनीति जिससे अटक (अब पाकिस्तान में) से तमिलनाडु तक फैला छत्रपति शिवाजी महाराज का हिंदवी स्वराज्य

शिवाजी महाराज ने 'हिंदवी स्वराज्य' की स्थापना की। सभी हिंदुओं की एकता को प्रोत्साहित किया और 'सनातन धर्म' का प्रचार किया।

पेशावर में फहराया केसरी झंडा, अफगानिस्तान भाग गया दुर्रानी: वो युद्ध जिसके बाद अटक से कटक तक फैला मराठा साम्राज्य

दुर्रानी साम्राज्य की ईंट से ईंट बजाकर मराठाओं ने उन्हें अफगानिस्तान खदेड़ा था। पेशावर का यह युद्ध 8 मई 1758 में लड़ा गया था जिसमें मराठा विजयी हुए थे।

जम्मू कश्मीर में भारत-पाकिस्तान सीमा पर छत्रपति शिवाजी महाराज की प्रतिमा, महाराष्ट्र से LOC जाएगी उनके पदचिह्नों वाली मिट्टी: जवानों को मिलेगी प्रेरणा

जम्मू कश्मीर की किरेण और तंगधार-टिटवाल घाटियों में दो स्थानों पर नियंत्रण रेखा के पास छत्रपति शिवाजी महाराज की प्रतिमा स्थापित की जाएगी।

बैटल ऑफ भोपाल: जब निजाम-मुगल-नवाब-जय सिंह पर अकेले भारी पड़े मराठा, 70 हजार की फौज को धूल चटाई; 5 लाख रुपए दे निजाम और...

285 साल पहले हैदराबाद के निजाम के सामने मराठा ऐसी दीवार बनकर खड़े हुए कि इतिहास में शौर्य का एक नया अध्याय जुड़ गया। इसे बैटल ऑफ भोपाल के नाम से जानते हैं।

वो मुगल मर्दिनी रानी, जिन्होंने छत्रपति शिवाजी के बाद मराठा साम्राज्य को सँभाला; औरंगजेब को बार-बार चटाई धूलः पर्दे पर आएगी ताराबाई की कहानी

ताराबाई ने अपने गढ़ के बचाने के साथ-साथ औरंगजेब की फ़ौज को खदेड़ कर मराठा भूमि से भगा दिया था। मुगलों ने भी माना - उनके कारण बढ़ी मराठा शक्ति।

संस्कृत वाली मुहरें, जाति/परिवारवाद खत्म… किसानों के लिए सब्सिडी: छत्रपति शिवाजी महाराज की शासन प्रणाली आज भी प्रासंगिक

भारत एक सनातन देश, यह हिंदुस्थान, यहाँ पर अपना राज होना चाहिए… अपने धर्म का विकास होना चाहिए... शिवाजी महाराज का जीवनसंघर्ष था यह सोच।

वो मराठा जो काशी के ज्ञानवापी मस्जिद को ध्वस्त कर बनाना चाहते थे शिव मंदिर, महिलाओं को दिए अधिकार: चरवाहा परिवार से मालवा के...

मल्हार राव होल्कर रानी अहिल्याबाई के ससुर थे और उन्होंने अपनी बहू का मार्गदर्शन किया। मराठा साम्राज्य के लिए लड़ते रहे। मालवा के सूबेदार बने।

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