गिरफ़्तार डॉक्टर पर आतंकवादियों को वित्तीय मदद देने में शामिल होने का संदेह है। उसके सुरक्षा बलों को धोखे से भोजन और पानी में ज़हर देने की साज़िश में शामिल होने की भी बात सामने आई है।
अतीत में शिवसेना की बात को गंभीरता से न लेने का दावा करने वाले कुछ तथाकथित पत्रकारों व विश्लेषकों ने सामना में छपने वाले लेखों का शब्दशः भावार्थ कर इसे भगवद् गीता की तरह बाँचना शुरू कर दिया था।
एंकर अमन ने जब मनसे नेता संदीप से पूछा कि क्या सवाल पूछना मॉब लिंचिंग है? इस सवाल से घबराकर संदीप देशपांडे ने कॉन्ग्रेस नेता के साथ मिलकर कार्यक्रम के दौरान चिल्लाते हुए वहाँ मौजूद सवाल पूछ रहे युवाओं को मॉब लिंचर कह दिया।
अगर एक हाइमन के ब्रेक हो जाने से उसके चरित्र पर ही उँगलियाँ उठें और शर्मसार हो जाना पड़े तो जरूरी है कि न केवल महाराष्ट्र की सरकार बल्कि पूरे देश में इस ‘वर्जिनिटी टेस्ट’ को अपराध घोषित कर दिया जाए।
भाजपा में एक ऐसे नए संकटमोचक का उदय हुआ है, जो ढोल पीटना नहीं जानता, अपने गुणगानों का बखान करना नहीं जानता, तेज़ आवाज में नहीं बोलता, लेकिन फिर भी जनता उसकी भाषा समझती है और वो जनता की।