क्या डॉक्टर मनमोहन सिंह को इस बात का डर था कि आतंकियों पर किए गए किसी भी प्रकार के हमले का पाकिस्तान कड़ा प्रत्युत्तर दे सकता है? जैसा कि पूर्व वायुसेना प्रमुख ने बताया कि उन्हें पूर्ण युद्ध का डर था।
पहला स्कूल बनाने के लिए अहमद अली ने अपनी ही पुस्तैनी जमीन का एक टुकड़ा बेच दिया था और दूसरा हिस्सा स्कूल के लिए दान कर दिया था। स्कूल चलाने के लिए कुछ धन अहमद अली ने अपनी मेहनत, बचत और कुछ चंदे के रूप में जुटाया।
इतने लोग सुबह-सुबह किसी खेत में जाते होंगे, और वहाँ खाद बनाते होंगे, जिससे मिट्टी की उर्वरा शक्ति बढ़ती है।किसानों की बात करने वाले मोदी जी का यही है असली चेहरा। खेतों से लोगों को वापस लौटा कर नीम कोटेड यूरिया बेच रहे हैं, जबकि पूरी दुनिया को पता है कि पेशाब में यूरिया होता है।
उन्होंने कहा कि पहले इस प्रकार की धारणा बनाई गई थी कि सरकारें एक ही समय विकासोन्मुखी तथा गरीबोन्मुखी नहीं हो सकतीं, लेकिन भारत के लोग अब इसे संभव बना रहे हैं।
द वायर पर लिखे अपने रिपोर्ट में स्वाति चतुर्वेदी ने बिना किसी तथ्य और सबूत के आधार पर लिखा कि मुरली मनोहर जोशी इस वीडियो को देखने के बाद गुस्से में हैं, और उन्होंने आरएसएस से भी इस बारे में शिकायत की है।
एंकर अमन ने जब मनसे नेता संदीप से पूछा कि क्या सवाल पूछना मॉब लिंचिंग है? इस सवाल से घबराकर संदीप देशपांडे ने कॉन्ग्रेस नेता के साथ मिलकर कार्यक्रम के दौरान चिल्लाते हुए वहाँ मौजूद सवाल पूछ रहे युवाओं को मॉब लिंचर कह दिया।
लोकसभा में चर्चा हो गई, सवालों का जवाब दे दिया गया, सुप्रीम कोर्ट ने संतुष्टि जता दी, बिंदुवार आँकड़े दे दिए गए, कैग की रिपोर्ट आ गई, लेकिन राहुल का लिप-लॉक टूट ही नहीं रहा!