जस्टिस भानुमति की पीठ ने कहा कि राहत पाने के लिए चिदंबरम को निचली अदालत में जाना होगा। दिल्ली हाई कोर्ट से अग्रिम जमानत की अर्जी खारिज होने के बाद 21 अगस्त को सीबीआई ने चिदंबरम को गिरफ्तार कर लिया था। ईडी ने भी चिदंबरम के रिमांड की माँग की है।
तीनों बैंक कर्मचारियों के ख़िलाफ़ PNB की एक शाखा के उप सर्कल प्रमुख ने पांच अप्रैल 2017 को शिकायत दर्ज कराई थी। इसमें कहा गया था कि आरोपियों ने दो बार ग़लत रिकॉर्ड बनाया है, जो डिपॉजिटर द्वारा भरे गए असली वाउचर से मेल नहीं खा रहे थे।
पी चिदंबरम ने CBI की हिरासत में अपनी पहली रात बिना कुछ खाए-पिए बिताई। उन्होंने घर के खाने की माँग की थी, लेकिन बिना कोर्ट की अनुमति के ऐसा नहीं किया जा सका। इसके बाद चिदंबरम ने कैंटिन का खाना खाने से इनकार कर दिया और...
राउज़ एवेन्यू कॉम्प्लेक्स का उद्घाटन इस साल अप्रैल में किया गया था। दिल्ली उच्च न्यायालय द्वारा जारी अधिसूचना में कहा गया है कि दिल्ली में विशेष न्यायाधीश, सीबीआई, भ्रष्टाचार निरोधक शाखा और श्रम अदालत के सभी न्यायालय राउज एवेन्यू कोर्ट परिसर से कार्य करेंगे।
"इतना सन्नाटा क्यों है अरविंद केजरीवाल? इसी चिदंबरम के घर के सामने अन्ना आंदोलन में लोगों ने लाठियाँ खाई थीं। भ्रष्टाचारियों की सूची में चिदंबरम का नाम सबसे ऊपर था। आज लालू, वाड्रा सब शिकंजे में हैं। बधाई तो दे दो मोदी जी को, फेविकोल काहे पीकर बैठे हो?"
INX मीडिया मामले में पी. चिदंबरम को कोर्ट से झटका लगा है। कोर्ट ने पी. चिदंबरम को 5 दिन की CBI रिमांड में भेज दिया है। इसके साथ ही अब 26 अगस्त तक पी. चिदंबरम सीबीआई की हिरासत में रहेंगे। वहीं परिवार के लोग हर रोज आधे घंटे के लिए पी. चिदंबरम से मुलाकात कर सकते हैं।
इंद्राणी और पीटर ने अपने बयान में कहा है कि वे एफआईपीबी की मंजूरी दिलाने के लिए पी. चिदंबरम से उनके नॉर्थ ब्लॉक स्थित ऑफिस में मिले थे। तब चिदंबरम ने उनसे कहा था कि वह उनके बेटे कार्ति की कारोबार में मदद करें।
गिरफ्तारी के बाद पूरी रात पी चिदंबरम ज्यादातर शाँत रहे। बड़ी मुश्किल से उन्होंने सीबीआई अधिकारियों और डॉक्टरों से बात की। उन्हें इस बीच डिनर के लिए भी पूछा गया लेकिन उन्होंने खाना खाने से भी इनकार कर दिया।
8 साल पहले 30 जून 2011 को पी चिदंबरम की मौजूदगी में सीबीआई मुख्यालय का उद्घाटन किया गया था। वह यहाँ मुख्य अथिति के रूप में समारोह में शामिल हुए थे। शायद उस समय उन्हें मालूम नहीं था कि कुछ समय बाद उन्हें यहाँ एक दोषी की तरह लेकर आया जाएगा।
CBI के जाँच दल को एक अनजान नंबर से कॉल आया और उधर से एक बेहद करुण आवाज ये कहते हुए सुनाई दी- "हेलो, मैं अरविन्द केजरीवाल बोल रहा हूँ। फ़ोन मत काटना जी।"