मान लीजिए किसी किसान पर 31 मार्च 2018 की स्थिति में 2 लाख रुपए का ऋण है। अगर क़र्ज़माफ़ी योजना के तहत सरकार ने मार्च 2019 में वो ऋण अगर चुका भी दिया तो किसानों को 7% की दर से 14,000 रुपए अतिरिक्त देने पड़ेंगे।
पिछले साल जब कंप्यूटर बाबाजी को मार्च में शिवराज सरकार ने राज्यमंत्री का दर्जा दिया था, उस समय वह और योगेन्द्र महंतजी 15-दिवसीय नर्मदा स्कैम यात्रा निकालने की तैयारी कर रहे थे।
चुनाव पूर्व घोषणापत्र में कॉन्ग्रेस ने प्रत्येक परिवार के एक बेरोज़गार युवा सदस्य को 3 वर्ष के लिए ₹10,000 मासिक बेरोज़गारी भत्ते के रूप में देने का वादा किया था। लेकिन, अब घोषणा के उलट 3 वर्ष की जगह 3 महीने के लिए और ₹10,000 की जगह ₹4,000 ही मिलेंगे।
विधायक अधिकारियों के तबादले को लेकर नाराज़ हैं। उनका कहना है कि सरकार बिना उन्हें भरोसे में लिए उनके क्षेत्र के अधिकारियों का तबादला कर रही है। इसके अलावा भूमिपूजन व शिलान्यास कार्यक्रमों में भी विधायकों की उपेक्षा की जा रही है।
कॉन्ग्रेस सरकार की सुस्ती की वजह से 115 नई एंबुलेंस को उपयोग में नहीं लाया जा सका है। यही वजह है कि लोग अपने परिवार के बीमार मरीज को ठेले पर या गोद में लेकर अस्पताल पहुँच रहे हैं।
घर खाली करने की बात सामने आने के बाद बच्ची के पिता ने कहा कि उन्हें डर है कि अगले शैक्षणिक सत्र में उनके बच्चों को स्कूल से निकाल दिया जाएगा। उन्होंने कहा, "मैं ₹4.5 लाख की फीस नहीं दे सकता हूँ।"