Friday, November 15, 2024
Homeराजनीतिममता बनर्जी की 'ना' से बंगाल के किसानों को हुआ भारी नुकसान, बाकी सभी...

ममता बनर्जी की ‘ना’ से बंगाल के किसानों को हुआ भारी नुकसान, बाकी सभी राज्यों की सरकारें पीएम सम्मान निधि का हिस्सा: कृषि मंत्री

"अब तक 96 हजार करोड़ रुपए किसानों को भेजे जा चुके हैं। यह योजना पश्चिम बंगाल में 70 लाख किसानों को फायदा पहुँचाएगी।" तोमर ने बताया कि उन्होंने बंगाल को इस योजना में शामिल होने के लिए ममता बनर्जी को पत्र भी लिखा है।

पश्चिम बंगाल के किसान ‘प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि’ से अभी तक वंचित हैं। इस संबंध में कल भी केंद्रीय कृषि मंत्री ने पत्र लिखकर पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी से योजना में जल्दी शामिल होने की अपील की है।

समाचार एजेंसी एएनआई ने कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर के हवाले से कहा, “पश्चिम बंगाल सरकार के अलावा सभी राज्यों की सरकारें पीएम सम्मान निधि योजना का हिस्सा बन चुकी हैं।”

उन्होंने बताया, “अब तक 96 हजार करोड़ रुपए किसानों को भेजे जा चुके हैं। यह योजना पश्चिम बंगाल में 70 लाख किसानों को फायदा पहुँचाएगी।” तोमर ने बताया कि उन्होंने बंगाल को इस योजना में शामिल होने के लिए ममता बनर्जी को पत्र भी लिखा है।

इसके अलावा किसान आंदोलन की आड़ में अपनी राजनीतिक रोटियाँ सेंकने वाले विपक्षी पार्टियों पर हमला बोलते हुए कृषि मंत्री ने कहा, “जो किसानों के हमदर्द बनकर उन्हें गुमराह कर रहे हैं, उन्हें जनता भविष्य में सबक सिखाएगी।”

गौरतलब है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भी किसानों से बातचीत के दौरान ममता बनर्जी पर निशाना साधते हुए कहा था, “अगर बंगाल आपकी धरती है तो आपने बंगाल में किसानों को केंद्र सरकार की योजना से होने वाले लाभ से क्यों वंचित रखा? अब आप उठ कर पंजाब पहुँच गए? आपको क्या लगता है लोग इसे भूल जाएँगे।”

उन्होंने कहा कि बंगाल के किसानों को केंद्र की योजनाओं के लाभ से वंचित रखा गया। बंगाल एकमात्र ऐसा राज्य है, जो योजनाओं का लाभ किसानों तक नहीं पहुँचने दे रहा। ममता बनर्जी की विचारधारा ने बंगाल को बर्बाद कर दिया है। अपनी बात रखते हुए पीएम ने उस विचारधारा को भी कोसा, जिसके कारण आज बंगाल का विकास रुका हुआ है।

बता दें कि बंगाल में किसान सम्मान निधि न लागू करने पर भाजपा के वरिष्ठ नेता कैलाश विजयवर्गीय ने भी ममता बनर्जी को आड़े हाथों लिया। उन्होंने बताया कि पश्चिम बंगाल की सीएम द्वारा सूची न देने के कारण बंगाल के 72 लाख किसान आज पीएम किसान सम्मान निधि मिलने से वंचित हुए हैं। उन्होंने पूछा, “ममता बनर्जी, आपका झगड़ा पीएम मोदी और भाजपा से है, पर उसका बदला बंगाल के किसानों से क्यों? आखिर पश्चिम बंगाल के किसानों ने आपका क्या बिगाड़ा है”

उल्लेखनीय है कि केंद्रीय कृषि मंत्री ने कल कॉन्ग्रेस आलाकमान के बेटे पर भी हमला बोला था। उन्होंने कहा, “राहुल गाँधी जो कुछ भी कहते हैं, उनकी बातों को खुद कॉन्ग्रेस भी गंभीरता से नहीं लेती। आज जब वे हस्ताक्षरों के साथ अपना विरोध दर्ज कराने के लिए राष्ट्रपति के पास गए, तो इन किसानों ने मुझसे कहा कि कॉन्ग्रेस का कोई भी नेता हमारे हस्ताक्षर लेने के लिए नहीं आया था।”

उन्होंने कहा, “अगर राहुल गाँधी इतने ही चिंतित हैं तो उन्हें किसानों के लिए कुछ करना चाहिए था जब उनकी सरकार सत्ता में थी। कॉन्ग्रेस हमेशा किसान विरोधी रही है।”

Join OpIndia's official WhatsApp channel

  सहयोग करें  

एनडीटीवी हो या 'द वायर', इन्हें कभी पैसों की कमी नहीं होती। देश-विदेश से क्रांति के नाम पर ख़ूब फ़ंडिग मिलती है इन्हें। इनसे लड़ने के लिए हमारे हाथ मज़बूत करें। जितना बन सके, सहयोग करें

ऑपइंडिया स्टाफ़
ऑपइंडिया स्टाफ़http://www.opindia.in
कार्यालय संवाददाता, ऑपइंडिया

संबंधित ख़बरें

ख़ास ख़बरें

जिनके पति का हुआ निधन, उनको कहा – मुस्लिम से निकाह करो, धर्मांतरण के लिए प्रोफेसर ने ही दी रेप की धमकी: जामिया में...

'कॉल फॉर जस्टिस' की रिपोर्ट में भेदभाव से जुड़े इन 27 मामलों में कई घटनाएँ गैर मुस्लिमों के धर्मांतरण या धर्मांतरण के लिए डाले गए दबाव से ही जुड़े हैं।

‘गालीबाज’ देवदत्त पटनायक का संस्कृति मंत्रालय वाला सेमिनार कैंसिल: पहले बनाया गया था मेहमान, विरोध के बाद पलटा फैसला

साहित्य अकादमी ने देवदत्त पटनायक को भारतीय पुराणों पर सेमिनार के उद्घाटन भाषण के लिए आमंत्रित किया था, जिसका महिलाओं को गालियाँ देने का लंबा अतीत रहा है।

प्रचलित ख़बरें

- विज्ञापन -