मुंबई में 32 साल की एक महिला की उसके ही लिव इन पाटर्नर ने निर्मम तरीके से हत्या कर दी। मृतका की पहचान सरस्वती वैद्य के तौर पर हुई है। आरोपित लिव इन पाटर्नर 56 साल का मनोज सहनी है। रिपोर्टों के अनुसार गला दबाकर सरस्वती की हत्या की गई। आरी से उसकी लाश के टुकड़े टुकड़े किए गए। फिर प्रेशर कुकर में उबालकर कुछ टुकड़े कुत्तों को आरोपित ने खिला दिए तो कुछ टॉयलेट में फ्लश कर दिया।
नया नगर पुलिस ने मनोज सहनी को गिरफ्तार कर लिया है। मृतका और आरोपित करीब पाँच साल से मीरा रोड के एक फ्लैट में किराए पर रह रहे थे। रिपोर्ट के अनुसार इस हत्याकांड का खुलासा तब हुआ जब पड़ोसियों ने फ्लैट से बदबू आने की सूचना पुलिस को दी। पुलिस ने आकाशदीप बिल्डिंग के जे विंग स्थित इस फ्लैट का दरवाजा खुलवाया तो सहनी अंदर ही था। पुलिस को एक कमरे में लाश के टुकड़े भी मिले।
#WATCH | Maharashtra | 32-year-old woman killed by 56-year-old live-in partner | As per Police, the accused Manoj Sahni killed Saraswati Vaidya 3-4 days back and after that, he purchased a tree-cutter to chop her into pieces. Police say that the accused boiled pieces of her body… pic.twitter.com/ilFUfWVOLY
— ANI (@ANI) June 8, 2023
न्यूज एजेंसी एएनआई ने पुलिस के हवाले से बताया है कि सरस्वती की हत्या तीन-चार दिन पहले की गई थी। हत्या के बाद मनोज पेड़ काटने वाला आरी खरीद कर लाया। इससे उसने लाश के टुकड़े किए। इन टुकड़ों को प्रेशर कुकर में उबालने के बाद उन्हें ठिकाने लगाने के लिए एक प्लास्टिक की थैलियों में भर लिए। पुलिस ने मौके से महिला के शव के 12-13 टुकड़े बरामद किए हैं।
एनबीटी ने सूत्रों के हवाले से बताया है कि लाश के टुकड़ों को उबालने के बाद सहनी उसे पीसकर टायॅलेट में फ्लश कर देता था। वहीं कुछ लोगों का दावा है कि उबालने के बाद टुकड़े कुत्तों को खिला देता था। पुलिस को लाश के जो टुकड़े मिलने हैं उसे सहनी ने सरस्वती के पैर का हिस्सा बताया है। कहा है कि वह तीन दिन से लाश को टुकड़े कर ठिकाने लगा रहा था। हत्या का कारण फिलहाल स्पष्ट नहीं है। पुलिस ने लाश को टुकड़े करने के लिए इस्तेमाल की गई आरी जब्त कर ली है।
मनोज सहनी राशन ऑफिस में काम करता है। यहीं उसकी करीब 5 साल पहले अहमदनगर की रहने वाली सरस्वती से मुलाकात हुई थी। इसके बाद दोनों कपल की तरह रहने लगे। पुलिस के अनुसार श्रद्धा वाल्कर की हत्या को देखकर ही सहनी ने अनाथ सरस्वती की हत्या का प्लान बनाया था। श्रद्धा की हत्या के बाद उसके लिव इन पाटर्नर आफताब पूनावाला ने लाश के टुकड़े करकर उन्हें दिल्ली के जंगलों में फेंक दिया था।