Thursday, April 25, 2024
Homeरिपोर्टअंतरराष्ट्रीयमसूद अजहर वैश्विक आतंकवादी घोषित: भारत की बड़ी कूटनीतिक जीत, पाक-चीन की फजीहत

मसूद अजहर वैश्विक आतंकवादी घोषित: भारत की बड़ी कूटनीतिक जीत, पाक-चीन की फजीहत

पुलवामा में हुए सीआरपीएफ के काफिले पर हुए आतंकी हमले की जिम्मेदारी जैश-ए-मोहम्मद ने ली थी। इससे पहले 2016 में पठानकोट एयरबेस पर हुए हमले का भी जिम्मेदार भी यही आतंकी संगठन है।

संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद ने पाकिस्तान स्थित जैश-ए-मोहम्मद के सरगना मसूद अजहर को वैश्विक आतंकवादी घोषित कर दिया है। कूटनीतिक स्तर पर यह भारत के लिए बहुत बड़ी जीत है। जबकि पाकिस्तान और चीन के लिए शर्म की बात। UNSC के इस एक फैसले से यह साबित (जो पहले से तय था लेकिन अब अंतरराष्ट्रीय मुहर लग गई) हो गया कि पाकिस्तान आतंकियों और आतंकी गतिविधियों को पनाह देने वाला देश है। चीन की फजीहत इसलिए क्योंकि अपने साथी देश पाकिस्तान को वह वीटो के नाम पर कई सालों से बचाता आ रहा था।

ऑपइंडिया ने कल (30 अप्रैल, 2019) ही यह खबर प्रकाशित की थी कि अंतरराष्ट्रीय दबाव और भारतीय कूटनीति के कारण मसूद अजहर को 1 मई को वैश्विक आतंकवादी घोषित किया जा सकता है।

14 फरवरी को पुलवामा में हुए सीआरपीएफ के काफिले पर हुए आतंकी हमले की जिम्मेदारी जैश-ए-मोहम्मद ने ली थी। इससे पहले 2016 में पठानकोट एयरबेस पर हुए हमले का भी जिम्मेदार भी यही आतंकी संगठन है। पुलवामा हमले के बाद संयुक्त राष्ट्र में अमेरिका, फ्रांस और यूके के नेतृत्व में मसूद को ग्लोबल टेररिस्ट घोषित करने की माँग की गई थी, लेकिन चीन ने उसका बचाव किया था। अमेरिका, ब्रिटेन और फ्राँस द्वारा 13 मार्च को रखे गए प्रस्ताव पर चीन के अलावा सुरक्षा परिषद के सभी अन्य सदस्यों ने पहले ही मंजूरी दे दी थी। आज चीन की मंजूरी भी मिल ही गई।

Special coverage by OpIndia on Ram Mandir in Ayodhya

  सहयोग करें  

एनडीटीवी हो या 'द वायर', इन्हें कभी पैसों की कमी नहीं होती। देश-विदेश से क्रांति के नाम पर ख़ूब फ़ंडिग मिलती है इन्हें। इनसे लड़ने के लिए हमारे हाथ मज़बूत करें। जितना बन सके, सहयोग करें

ऑपइंडिया स्टाफ़
ऑपइंडिया स्टाफ़http://www.opindia.in
कार्यालय संवाददाता, ऑपइंडिया

संबंधित ख़बरें

ख़ास ख़बरें

जिस जज ने सुनाया ज्ञानवापी में सर्वे करने का फैसला, उन्हें फिर से धमकियाँ आनी शुरू: इस बार विदेशी नंबरों से आ रही कॉल,...

ज्ञानवापी पर फैसला देने वाले जज को कुछ समय से विदेशों से कॉलें आ रही हैं। उन्होंने इस संबंध में एसएसपी को पत्र लिखकर कंप्लेन की है।

माली और नाई के बेटे जीत रहे पदक, दिहाड़ी मजदूर की बेटी कर रही ओलम्पिक की तैयारी: गोल्ड मेडल जीतने वाले UP के बच्चों...

10 साल से छोटी एक गोल्ड-मेडलिस्ट बच्ची के पिता परचून की दुकान चलाते हैं। वहीं एक अन्य जिम्नास्ट बच्ची के पिता प्राइवेट कम्पनी में काम करते हैं।

प्रचलित ख़बरें

- विज्ञापन -

हमसे जुड़ें

295,307FansLike
282,677FollowersFollow
417,000SubscribersSubscribe