Friday, April 18, 2025
Homeदेश-समाज'भीड़ का हिस्सा थे पर मारते हुए किसी ने नहीं देखा': पालघर हत्याकांड के...

‘भीड़ का हिस्सा थे पर मारते हुए किसी ने नहीं देखा’: पालघर हत्याकांड के 10 आरोपितों को बॉम्बे HC ने किया रिहा, 8 की बेल याचिका खारिज

इससे पहले जनवरी, 2021 में विशेष अदालत ने मामले के 89 आरोपितों को जमानत दे दी थी। दोनों संख्याओं को ध्यान रखा जाए तो अब तक करीब 100 आरोपितों को जमानत मिल चुकी हैं।

पालघर नागा साधु मॉब लिचिंग मामले में बॉम्बे हाईकोर्ट ने शुक्रवार (1 अप्रैल, 2022) को 10 और आरोपितों की जमानत अर्जी को मंजूर कर लिया है। साथ ही हाईकोर्ट ने 8 अन्य आरोपितों की जमानत याचिका को खारिज कर दिया है। अप्रैल 2020 में पालघर के अंदर दो नागा साधुओं और उसके ड्राइवर की पीट-पीटकर बेरहमी से हत्या कर दी गई थी। कोर्ट ने अपने आदेश में कहा है कि ये 10 आरोपित 400-500 की भीड़ का हिस्सा थे लेकिन मरते हुए कहीं वीडियो में नहीं दिखे हैं।

बता दें कि मुंबई पुलिस ने इस मामले में करीब 180 आरोपितों को वीडियो फुटेज के आधार पर गिरफ्तार किया था। जिसमें से पिछले 2 साल में बहुत से आरोपितों को अब तक जमानत मिल गई है।

2020 के पालघर मॉब लिंचिंग मामले में इससे पहले जनवरी, 2021 में विशेष अदालत ने मामले के 89 आरोपितों को जमानत दे दी थी। दोनों संख्याओं को ध्यान रखा जाए तो अब तक करीब 100 आरोपितों को जमानत मिल चुकी हैं। लाइव लॉ की रिपोर्ट के अनुसार, जस्टिस भारती डांगरे ने शुक्रवार के आदेश में घटनास्थल पर मौजूद लोगों और वीडियो फुटेज में मृतक साधुओं के साथ मारपीट करने वालों से हमलावरों को उकसाने में शामिल लोगों के बीच अंतर किया।

बॉम्बे हाईकोर्ट ने अपने आदेश में कहा कि सीसीटीवी फुटेज में देखे जाने के बावजूद हिंसा में सीधे शामिल न होने के कारण 10 आदिवासियों को जिम्मेदार नहीं ठहराया गया। उन्होंने कहा, “अब जब जाँच पूरी हो गई है तो उनकी हिरासत का वारंट नहीं है और वे जमानत पर रिहा होने के हकदार हैं।”

वहीं जिन लोगों की जमानत खारिज कर दी गई उनमें से कुछ को मृतक साधुओं को मारते और पत्थर फेंकते देखा गया है। अन्य लोग साधुओं को लाठी-डंडे से मारते हुए दिखाई देते हैं।

गौरतलब है कि पालघर मॉब लिंचिंग की जाँच महाराष्ट्र के स्टेट क्राइम ब्रांच की टीम को सौंपी गई थी। क्राइम ब्रांच ने 126 आरोपितों के खिलाफ चार्जशीट दाखिल की थी। वहीं जस्टिस भारती डांगरे ने इस मामले में 8 आरोपितों को जमानत देने से इनकार कर दिया था।

Join OpIndia's official WhatsApp channel

  सहयोग करें  

एनडीटीवी हो या 'द वायर', इन्हें कभी पैसों की कमी नहीं होती। देश-विदेश से क्रांति के नाम पर ख़ूब फ़ंडिग मिलती है इन्हें। इनसे लड़ने के लिए हमारे हाथ मज़बूत करें। जितना बन सके, सहयोग करें

ऑपइंडिया स्टाफ़
ऑपइंडिया स्टाफ़http://www.opindia.in
कार्यालय संवाददाता, ऑपइंडिया

संबंधित ख़बरें

ख़ास ख़बरें

हिन्दू मृतकों को ठीक से अंतिम संस्कार भी नसीब नहीं, आतंकी के जनाजे में 2 लाख की भीड़: मुर्शिदाबाद के ब्राह्मण-नाई हों या सीलमपुर...

मृत शरीर के भी कुछ अधिकार होते हैं, सम्मानजनक अंतिम संस्कार के। दुर्भाग्य से, भारत देश में ये आतंकियों को तो सहज उपलब्ध है लेकिन बेचारे हिन्दुओं को नहीं।

प्रेमी मोहम्मद साहिल के लिए लड़कियों को फँसाकर लाती थी गुलशन खातून, ब्लैकमेल करके करता था रेप: नाबालिग पीड़िता ने बताया – पॉर्न वीडियो...

बिहार के वैशाली में मोहम्मद साहिल सिद्दीकी अपनी गर्लफ्रेंड के साथ मिलकर दूसरी लड़कियों को ब्लैकमेल करता था और उनका पॉर्न बनाता था।
- विज्ञापन -