मध्य प्रदेश (Madhya Pradesh) के बैतूल में ईसाई मिशनरियों द्वारा गरीब हिंदू परिवारों को लालच देकर उनका धर्मान्तरण (Conversion) कराने की कोशिश करने का मामला प्रकाश में आय़ा है। हालाँकि, इससे पहले कि ये मिशनरी भोल-भाले लोगों को अपने जाल में फँसा पाते, पुलिस ने लोगों की शिकायत पर धर्मान्तरण के लिए दबाव बनाने के मामले में 4 आरोपितों को गिरफ्तार कर लिया। इस सभी के खिलाफ लोगों की धार्मिक भावनाओं को आहत करने का भी आरोप है।
रिपोर्ट के मुताबिक, घटना बैतूल के भैंसदेही इलाके के उदामा गाँव की है। शनिवार (19 फरवरी, 2022) को सायबू इवने नाम के एक व्यक्ति के खेत पर आमंत्रित किया गया। इस दौरान सायबू इवने, विजय जाधव (निवासी कोठारा अमरावती), रूथबाई जाधव (निवासी कोठारा अमरावती) और डेनी माउल (निवासी सदर बैतूल) मिलकर लोगों को बहलाकर-फुसलाकर उन्हें दूसरे धर्मों के बारे में गलत चीजें बता रहे थे। इसके साथ ही ये चारों आरोपितों लोगों को उनका मूल धर्म छोड़कर ईसाई धर्म अपनाने के लिए प्रेरित कर रहे थे। जिन लोगों को बहकाने की कोशिशें की जा रही थीं, वो सभी आदिवासी समुदाय से ताल्लुक रखने वाले थे।
इसी दौरान कुछ जागरुक लोगों ने ईसाई मिशनरियों के इस कृत्य की सूचना पुलिस को दे दी। सूचना मिलते ही मौके पर पहुँची पुलिस की टीम ने चारों को गिरफ्तार कर लिया। इन आरोपितों के पास से ईसाई धर्म के प्रचार की पुस्तकें बाइबल और दूसरे साहित्यों को जब्त कर लिया।
रिपोर्ट में कहा गया है कि गिरफ्तार किए गए दो आरोपित पति-पत्नी हैं, जो कित महाराष्ट्र के कोठारा के रहने वाले हैं, जबकि दो अन्य आरोपित बैतूल के ही रहने वाले हैं, जो कि मिशनरियों से जुड़े हुए हैं। खास बात ये है कि ये ईसाई मिशनरी बैतूल में बड़े पैमाने पर सक्रिय हो रहे है।
इन सभी पर इंडियन पीनल कोड की धारा 295A, 34 और धारा 3 (1)T एसटी/एसटी एक्ट के तहत केस दर्ज किया गया है। पुलिस के साथ पूछताछ में चारों ने अपने आरोपों को कबूल कर लिया है।