केरल में ‘काफिर’ वाला एक स्क्रीनशॉट खासा चर्चा का विषय बन रहा है। अब राज्य के जनरल एजुकेशन डिपार्टमेंट ने शुक्रवार (30 अगस्त, 2024) को CPM नेता रिबेश रामाकृष्णन के खिलाफ विभागीय जाँच का आदेश दिया है। वो एक प्राथमिक विद्यालय का शिक्षक है। साथ ही वो कोझीकोड के वटकरा तालुका में DYFI (डेमोक्रेटिक यूथ फेडरेशन ऑफ इंडिया) का प्रखंड अध्यक्ष भी है। बता दें कि DYFI वामपंथी संगठन CPM की ही युवा यूनिट है। केरल के नेता AA रहीम इसके अध्यक्ष हैं।
अरंगोट MLP स्कूल का शिक्षा रिबेश रामाकृष्णन CPM से संबद्ध शिक्षक संगठन का भी नेता है। अब थोडनूर के ‘असिस्टेंट एजुकेशनल ऑफिसर’ (AEO) को जनरल एजुकेशन विभाग के डायरेक्टर ने जाँच कर विस्तृत रिपोर्ट सौंपने को कहा है। इसके बाद रिबेश रामाकृष्णन के खिलाफ ज़रूरी कार्रवाई की जाएगी। यूथ कॉन्ग्रेस के स्टेट जनरल सेक्रेटरी VP डुल्किफल ने इसकी शिकायत की थी। 25 अप्रैल को लोकसभा चुनाव के मतदान की पूर्व संध्या पर वटकरा के WhatsApp व अन्य मैसेजिंग एप्स पर ‘काफिर’ वाले स्क्रीनशॉट्स वायरल हुए थे।
इसमें CPM नेता व LDP की उम्मीदवार KK शैलजा को ‘काफिर’ बताया गया था। साथ ही कॉन्ग्रेस के शफी परम्बिल को वोट देने की अपील की गई थी, वो जीत कर सांसद भी बन गए। इस मामले में MSF का एक नेता मुहम्मद कासिम भी आरोपित है। रिबेश रामाकृष्णन के बारे में बताया जा रहा है कि सबसे पहले उसने ही स्क्रीनशॉट डाला था। कासिम ने पुलिस पर रिबेश को बचाने का आरोप लगाया है। पुलिस ने हाईकोर्ट को बताया है कि ‘रेड एनकाउंटर्स’ नामक व्हाट्सएप्प ग्रुप से ये स्क्रीनशॉट वायरल हुआ था और रिबेश ने वहीं डाला था।
കാഫിര് സ്ക്രീന് ഷോട്ട്: റിബേഷ് രാമകൃഷ്ണനെതിരേ വകുപ്പ് തല അന്വേഷണംhttps://t.co/5HFpwVvcuy#kafirscreenshot #Ribesh
— Newstaglive (@newstaglive) August 30, 2024
वो इस स्क्रीनशॉट के स्रोत के बारे में कुछ नहीं बता पाया, जिस कारण उसका फोन जाँच के लिए जब्त कर लिया गया है। वायरल पोस्ट में लिखा था– “शफी एक मुस्लिम है जो दिन में 5 बार नमाज पढ़ता है और दूसरी महिला काफिर है। वोट देने से पहले ज़रूर सोचना कि किसे वोट देना चाहिए। वोट हमारे अपनों के लिए करिए।” रिबेश ने इस स्क्रीनशॉट को डालते हुए दिखाया कि मजहब के नाम पर वोट माँगा जा रहा है। कॉन्ग्रेस ने आरोप लगाया कि सीपीएम ने खुद ध्रुवीकरण के लिए ऐसा किया था।