केरल में एक मदरसे के मौलवी को अपनी बेटी के साथ रेप के मामले में तीन उम्रकैद की सजा सुनाई गई है। मल्लपुरम की फास्ट ट्रैक कोर्ट ने बलात्कारी अब्बा पर 6.6 लाख रुपए का जुर्माना भी लगाया है। बार-बार रेप के बाद लड़की गर्भवती हो गई थी। बाद में उसने गर्भपात करवा लिया था। मामले का खुलासा 2022 में हुआ, जब लड़की के गर्भवती होने का पता चला।
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक पहली बार मार्च 2021 में मदरसे के मौलवी ने बेटी से रेप किया था। उस समय कोरोना की वजह से 15 वर्षीया पीड़िता अपने कमरे से ऑनलाइन पढ़ाई कर रही थी। इसी दौरान उसका अब्बा कमरे में घुसा और छेड़छाड़ करने लगा। बेटी ने विरोध किया तो मौलवी उसे जबरन खींचकर अपने बेडरूम में ले गया और उसके साथ दरिंदगी की।
विरोध किए जाने पर मौलवी ने अपनी बीवी को भी जान से मार डालने की धमकी दी। मार्च 2021 से अक्टूबर 2021 के बीच उसने कई बार बेटी को हवस का शिकार बनाया। नवंबर 2021 से स्कूल खुलने पर पीड़िता स्कूल जाने लगी। जनवरी 2022 में एक दिन अचानक उसके पेट में दर्द उठा। स्कूल स्टाफ पीड़िता को अस्पताल ले गए जहाँ उसके गर्भवती होने का खुलासा हुआ।
अभियोजन पक्ष के वकील ने कोर्ट को बताया कि अस्पताल में लड़की ने स्कूल के स्टाफ से अपने अब्बा की करतूत बता दी थी। इसके बाद पुलिस को मामले की जानकारी दी गई। पुलिस ने FIR दर्ज कर के लड़की के अब्बा को गिरफ्तार कर लिया। मदरसा टीचर पर पॉक्सो एक्ट के तहत FIR दर्ज हुई थी। कुछ समय बाद मेडिकल परीक्षण कर लड़की के गर्भ को भी गिरा दिया गया। इस दौरान पुलिस ने जाँच के लिए पीड़िता के गर्भ से निकले भ्रूण के सैम्पल लिए थे।
भ्रूण के सैम्पल का मिलान लड़की के अब्बा से करवाया गया तो वह मैच कर गया। इस मामले की जाँच पुलिस अधिकारी अब्दुल बशीर कर रहे थे। पुलिस ने लड़की के साथ उसकी अम्मी के भी बयान दर्ज किए। इस मामले को फ़ास्ट ट्रैक कोर्ट में चलाया गया। आखिरकार अदालत ने अभियोजन पक्ष द्वारा पेश किए गए सबूतों को सही माना और मौलवी की हरकत को घृणित बताते हुए उसे 3 आजीवन कारावास की सजा सुनाई। आदेश के मुताबिक रेपिस्ट को अंतिम साँस तक जेल में ही रहना होगा।