मध्य प्रदेश के खरगोन जिले के एक गाँव का वीडियो हाल में सोशल मीडिया में वायरल हुआ था। इस गाँव में जिन 22 लोगों को धर्मांतरित कर ईसाई बना दिया गया था, उनकी घर वापसी हो गई है। पुलिस ने दो आरोपितों को गिरफ्तार किया है। एक अन्य फरार। फरार आरोपित मारसन लाय अरुणाचल प्रदेश का रहने वाला है।
धर्मान्तरण का वीडियो वायरल होने के बाद इस मामले में स्थानीय भाजपा सांसद गजेंद्र सिंह पटेल ने कार्रवाई की माँग की थी। इस संबंध में खरगोन के एसपी को लिखा गया उनका पत्र आप नीचे पढ़ सकते हैं। खरगोन पुलिस ने 24 नवम्बर 2021 (बुधवार) को इन गिरफ्तारियों की पुष्टि की है।
खरगोन के सांसद पटेल ने ऑप इंडिया को बताया कि जनजातीय ग्रामीणों का धर्मांतरण करवाया गया था। उन्होंने DGP और SP से कार्रवाई की माँग की थी। इस मामले में अब तक धर्मांतरण विरोधी कानून के तहत 2 आरोपितों को गिरफ्तार कर जेल भेजा जा चुका है।
धर्मान्तरण की यह घटना 3 नवम्बर 2021 की बताई जा रही है। थाना ऊन पुलिस को रुखड़िया द्वारा दी गई शिकायत के मुताबिक उसके गाँव रसगाँव मालपुरा में ग्रामीण विजय बडोले, उसकी बुआ मंजुला बडोले के सहयोग से अरुणाचल प्रदेश से आए ईसाई मिशनरी के मारसन लाय ने लोगों का धर्मांतरण करवाया। वे बच्चों की फ्री पढाई आदि का लालच दे रहे थे। लोगों पर पानी छिड़ककर क्रॉस पहनाया।
मध्यप्रदेश, जिला खरगोन, तह. सेगांव के पास रसगांव नाम का एक गांव है वहाँ पर 22 लोगो को एक साथ खुले आम धर्म परिवर्तन करवाया गया और विडियो भी वायरल किया गया है।@ChouhanShivraj @bjp4mp @ippatel @SureshChavhanke @vdsharmabjp #हिन्दू_ह्रदय_सम्राट_योगी#हिन्दू_ह्रदय_सम्राट_योगी pic.twitter.com/Sa0mcLnnA8
— Ashuji (@1289_Ashish) November 23, 2021
खरगोन के पुलिस अधीक्षक सिद्धार्थ चौधरी ने बताया कि दो आरोपितों विजय बडोले और उसकी बुआ मंजुला को गिरफ्तार कर लिया गया है। तीसरे आरोपित मारसन लाय की गिरफ्तारी के प्रयास जारी हैं। वायरल हुए वीडियो की SP ने भी पुष्टि की है। उनके अनुसार इसमें एक व्यक्ति गाँव के 22 लोगों को बपतिस्मा कराते दिखा है। केरल में रह कर पढ़ने वाली उसी गाँव की एक महिला की भी बात उन्होंने बताई। मारसन लाय से वही जुड़ी हुई थी। लाय इससे पहले भी तीन बार इस गाँव में आ चुका था। वीडियो में मारसन लाय, ‘अरुणाचल के लोगों, रसगाँव के लिए प्रार्थना करो’ बोलता दिख रहा है।
मीडिया रिपोर्ट के अनुसार मारसन लाय द्वारा धर्मान्तरित किए गए सभी लोगों की फिर से हिन्दू धर्म में घर वापसी करवा दी गई है। बुधवार (24 नवम्बर 2021) को शिवसेना पदाधिकारियों ने पैर धुलवाकर इन लोगों को हिंदू धर्म में लौटाया।