Monday, October 14, 2024
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जैसे नुपूर शर्मा को इस्लामी जिहादियों के आगे झोंका, अब वही ट्रिक काजल हिंदुस्तानी पर कर रहे ट्राई: जुबैर ऐंड गैंग बना रहा माहौल

काजल हिंदुस्तानी के भाषण को विवादास्पद बता पहले मुस्लिमों ने उना में दो दिन उग्र प्रदर्शन किए। 'सर तन से जुदा' के नारे लगाए। अब सोशल मीडिया में इस्लामवादी उन पर हमलावर हैं। ठीक वैसे ही जैसे नुपूर शर्मा के मामले में हुआ था, जिसके बाद कन्हैया लाल जैसों की कट्टरपंथियों ने हत्या कर दी थी।

30 मार्च 2023 को गुजरात के गिर-सोमनाथ जिले के उना में रामनवमी के अवसर पर शोभायात्रा निकाली गई। शोभायात्रा के बाद एक धर्म सभा का भी आयोजन हुआ। इस सभा को सामाजिक कार्यकर्ता काजल सिंगला (काजल हिंदुस्तानी) ने संबोधित किया। उनके भाषण को विवादास्पद बताकर स्थानीय मुस्लिमों ने पूरे शहर में हिंसक प्रदर्शन किए। जगह-जगह पथराव और आगजनी की। दो दिनों तक उना में उत्पात जारी रहा।

अब काजल सिंगला पर तथाकथित फैक्ट चेकर मोहम्मद जुबैर समेत कई इस्लामवादी हमलावर हैं। इस्लामवादी गुजरात समेत देश के कई शहरों में रामनवमी शोभा यात्रा पर हमलों के बाद हुई हिंसा का दोष हिंदुओं पर मढ़ने की कोशिश कर रहे हैं। इसी सिलसिले में काजल हिंदुस्तानी को भी निशाना बनाया जा रहा है, ताकि उना में हुई हिंसा का दोष उनके सिर पर मढ़ा जा सके। सोशल मीडिया पर हिंदुत्व वॉच और मोहम्मद जुबैर जैसे लोग काजल हिंदुस्तानी का नाम उछाल रहे हैं।

खबरों के मुताबिक उना में हुई रामजी की शोभायात्रा में 30 हजार से ज्यादा लोग शामिल हुए। जुलूस के बाद त्रिकोण बाग के पास रावणवाड़ी में धार्मिक सभा का आयोजन किया गया। इसमें काजल हिंदुस्तानी ने भाषण दिया। काजल हिंदुस्तानी ने अपने भाषण में लव जिहाद और लैंड जिहाद समेत कई मुद्दों पर बात की।

इसके बाद शुक्रवार (31 मार्च, 2023) को बड़ी संख्या में मुस्लिम सड़कों पर उतरे और रामनवमी के अवसर पर दिए गए भाषण को विवादास्पद कहते हुए उग्र प्रदर्शन शुरू कर दिया। गौरतलब है कि यह जुमे का दिन था। मुस्लिम भीड़ ने एक पुलिस थाने के आगे ‘सर तन से जुदा’ के नारे लगाए गए। इससे संबंधित एक वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल है।

जुमे के दिन मुस्लिमों द्वारा प्रदर्शन और नारेबाजी के बाद सांप्रदायिक तनाव फैलने लगा। जिसे देखते हुए उना पुलिस ने हिंदू और मुस्लिम पक्ष के नेताओं को बुलाया। अगले दिन बैठक के बीच दोनों पक्षों के बीच विवाद हो गया और स्थिति तनावपूर्ण होने पर मुस्लिम नेता बैठक छोड़कर चले गए। शहर में इसकी भनक लगते ही पूरा बाजार बंद हो गया। गिर-सोमनाथ एसपी ने सर्किट हाउस में दोनों समुदाय के पाँच-पाँच नेताओं को बुलाकर समझौता कराया। इस दौरान शहर में पुलिस ने गश्ती बढ़ा दी।

सुलह के कुछ ही घंटों बाद शाम को फिर से माहौल बिगड़ गया और शहर में पथराव की घटना हो गई। देर शाम उना के कुंभरवाड़ा, कोलीवाड़ और चंद्रकिरण समाज क्षेत्र में असामाजिक तत्वों ने पथराव किया गया और सोडा की बोतलें भी फेंकी गईं। पुलिस ने किसी तरह सड़क पर उतरी भीड़ को नियंत्रित किया। शुक्रवार (31 मार्च, 2023) को मुस्लिम युवकों ने चक्का जाम कर ‘सर तन से जुदा’ के नारे लगाए। इसके बाद शनिवार की शाम पथराव हुआ। पुलिस ने कार्रवाई करते हुए 70 पत्थरबाजों को हिरासत में लिया।

उना में पुलिस को पत्थरबाजों व दंगाइयों की धर-पकड़ के दौरान भारी मात्रा में हथियार मिले, जो एक पूर्व नियोजित साजिश की ओर इशारा कर रहे हैं। पुलिस को मिले हथियारों में तलवार, कुल्हाड़ी, चाकू, उस्तरा, लोहे का पाइप, लकड़ी और काँच की बड़ी बोतलें मिली हैं। पुलिस हथियारों को जब्त कर आगे की कार्रवाई कर रही है।

2 अप्रैल को काजल हिंदुस्तानी ने इंडिया टीवी को इंटरव्यू दिया। तब तक जिहादियों ने काजल हिंदुस्तानी को ‘सर तन से जुदा’ की धमकी देनी शुरू कर दी थी। ऐसे में लोगों को उम्मीद थी कि काजल हिंदुस्तानी अपने उना वाले भाषण पर सफाई दे सकती हैं। इंडिया टीवी के शो ‘सवाल तो बनता है’ में काजल सिंगला ने हेट स्पीच पर पूछे गए सवाल के जवाब में कहा कि आज अगर देश में कोई हिंदू साँस लेता है तो कुछ लोग इसे हेट स्पीच समझते हैं।

काजल ने लगभग 40 मिनट के साक्षात्कार के दौरान कई मुद्दों पर खुलकर अपने विचार प्रकट किए। उन्होंने कहा कि मैंने आज तक कभी किसी जाति, धर्म या भगवान के बारे में बुरा नहीं बोला। मैंने सच कहा है और अगर इसमें भी किसी को बुरा लगता है तो मैं जिम्मेदार नहीं हूँ। उन्होंने कहा कि पीएफआई की साजिश के तहत देश में लव जिहाद, जमीन जिहाद और धर्मांतरण की घटनाएँ हो रही हैं। पीएफआई भारत के लिए एक खतरनाक संगठन है जो मुस्लिम नौजवानों को कट्टरवाद, आतंकवाद और अलगाववाद सिखाता है।

काजल हिंदुस्तानी ने आगे कहा, “मैं उनकी लव जिहाद, लैंड जिहाद जैसे मंसूबों के खिलाफ बोल रही हूँ, इसलिए मुझे नहीं लगता कि मैं कुछ गलत कह रही हूँ या हेट स्पीच दे रही हूँ।” सोशल एक्टिविस्ट ने कहा कि जब मैं मुस्लिम समाज में महिलाओं के फायदे के लिए यूनिफॉर्म सिविल कोड की बात करती हूँ तो लोगों को बुरा लगता है। बता दें इन दिनों गुजरात में लव जिहाद और लैंड जिहाद के कई मामले सामने आए हैं।

रामनवमी के अवसर पर आयोजित सभा में लव जिहाद और लैंड जिहाद के खिलाफ आवाज उठाने वाले भाषण के बाद कई मुस्लिम नेताओं ने काजल के खिलाफ पुलिस में शिकायत दी। उनपर एफआईआर दर्ज कर लिया गया। उन पर भड़काऊ भाषण देने का आरोप लगाया गया। इस बीच अलग-अलग सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर इस्लामवादी यूजर सक्रिय हुए और काजल हिंदुस्तानी को निशाना बनाना शुरू किया। हमेशा की तरह यह दिखाने की कोशिश हुई कि दंगों के पीछे हिंदुओं का ही हाथ है।

कुख्यात ट्विटर अकाउंट हिंदुत्व वाच(@HindutvaWatchIn) ने काजल हिंदुस्तानी के एक वीडियो को पोस्ट करते हुए लिखा, “एक हिंदू जागृति सम्मेलन में काजल शिंगला उर्फ ​​काजल हिंदुस्तानी ने मुस्लिमों को निशाना बनाते हुए घृणास्पद भाषण दिया। वो बार-बार यह अपराध करती हैं। उन्होंने हिंदुओं से आह्वान किया कि अपनी रक्षा के लिए जाग जाएँ और हथियार उठा लें।”

जैसा कि इस वीडियो में सुना जा सकता है कि काजल हिंदुओं से खतरे का सामना करने के लिए शस्त्र उठाने की बात कर रही हैं न कि किसी पर हमला करने के लिए। काजल आत्मरक्षा की बात कर रही हैं। हालाँकि इसके तुरंत बाद प्रोपेगेंडा पोर्टल ऑल्ट न्यूज के सह-संस्थापक और तथाकथित फैक्ट चेकर मोहम्मद जुबैर ने हिंदुत्ववाच के वीडियो को शेयर किया। उसने दिल्ली पुलिस को टैग करते हुए लिखा, “काजल सिंगला (काजल हिंदुस्तानी) कहती हैं- उठो हिंदुओं, खड़े हो जाओ, अपनी रक्षा के लिए शस्त्र उठा लो। क्या यह हथियार उठाने के लिए उकसाना नहीं है?”

यहाँ भी यह फ़ैक्टचेकर ज़ुबैर आत्मरक्षा में हथियार उठाने के आह्वान को भड़काऊ बता रहा है। गौरतलब है कि यह वही फैक्ट चेकर है जिसने बीजेपी की पूर्व प्रवक्ता नूपुर शर्मा को सोशल मीडिया पर इसी तरह निशाना बनाया था और इसके परिणामस्वरूप इस्लामवादियों से उन्हें ‘सर तन से जुदा’ की धमकी मिली थी। जुबैर के भड़काने के बाद ही कट्टरपंथियों ने उदयपुर में कन्हैया लाल नाम के एक व्यक्ति की सिर्फ इसलिए हत्या कर दी थी, क्योंकि उसने सोशल मीडिया पर नूपुर शर्मा के समर्थन में एक पोस्ट लिखा था।

उसके बाद नूपुर शर्मा के समर्थन में पोस्ट लिखने पर महाराष्ट्र के अमरावती में उमेश कोल्हे की भी इस्लामवादियों ने बेरहमी से हत्या कर दी थी। इन इस्लामवादियों खासकर मोहम्मद जुबैर जैसे लोगों ने नूपुर शर्मा के जीवन को खतरे में डाल दिया है। उसी तरह का माहौल अब वे काजल हिंदुस्तानी के लिए बनाने की कोशिश कर रहे हैं।

गौरतलब है कि 2 अप्रैल के बाद से काजल हिंदुस्तानी के किसी भी सोशल मीडिया हैंडल पर कोई पोस्ट या स्टेटस नहीं देखा गया है। ऑपइंडिया की टीम ने उनसे संपर्क करने की कोशिश की है, लेकिन उनसे संपर्क नहीं हो पा रहा है। अब यह देखना होगा कि काजल हिंदुस्तानी की आगे की जिंदगी क्या नूपुर शर्मा की तरह ही जिहादियों से डरकर छिपने में गुजरेगी। या इस बार स्थिति बिगड़ने से पहले ही सरकार और सिस्टम द्वारा कुछ कदम उठाए जाएँगे।

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ऑपइंडिया स्टाफ़
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कार्यालय संवाददाता, ऑपइंडिया

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