मध्य प्रदेश की महिला एवं बाल विकास मंत्री इमरती देवी ने स्कूली बच्चों के लिए बनाए जाने वाले खाने को लेकर एक विवादित बयान देते हुए कहा कि कहा कि शौचालय में खाना पकाने में कोई दिक्कत नहीं है। दरअसल, राज्य के करैरा जिले के एक आँगनबाड़ी में शौचालय का इस्तेमाल खाना बनाने के लिए किया जा रहा है। आँगनबाड़ी के बच्चों के लिए शौचालय में खाना पकाया जा रहा है। इसकी जानकारी जब प्रदेश की मंत्री इमरती देवी को दी गई तो उन्होंने कहा कि अगर टॉयलेट सीट और स्टोव के बीच विभाजन है तो शौचालय में खाना पकाने में कोई समस्या नहीं है।
No problem in preparing food inside toilet: MP Minister Imarti Devi
— ANI Digital (@ani_digital) July 24, 2019
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इमरती देवी ने कहा कि शौचलय की जिस सीट पर बर्तनों को रखा जा रहा था, उस सीट का इस्तेमाल नहीं किया जा रहा था। उसे बजरी भरकर बंद किया हुआ था। हालाँकि, फिर भी इस मामले की जाँच के आदेश दे दिए गए हैं। उन्होंने शौचालय में खाना बनने को सही ठहराते हुए कहा, “आपको यह समझना चाहिए कि एक विभाजन वहाँ मौजूद है। हमारे घरों में भी तो टॉयलेट-बाथरूम अटैच बन रहे हैं। अगर हमारे रिश्तेदार घर में अटैच टॉयलेट-बाथरूम होने के कारण खाने से मना कर दें तो आप क्या कहेंगे?” बता दें कि शौचालय में बने इस रसोई घर में खाना बनाने के लिए एलपीजी सिलेंडर और मिट्टी के चूल्हे दोनों हैं। यहाँ बर्तन टॉयलेट सीट पर रखे जाते हैं।
वहीं, महिला और बाल विकास कार्यक्रम के जिला अधिकारी देवेंद्र सुंद्रयाल का कहना है कि एक स्वयं सहायता समूह ने शौचालय का नियंत्रण लिया था और इसे अस्थाई रसोई के रूप में इस्तेमाल कर रहा था। इस मामले में आँगनवाड़ी सुपरवाइजर और इसमें शामिल कर्मचारियों के खिलाफ कार्रवाई की जा रही है।
#WATCH Madhya Pradesh Minister Imarti Devi in Gwalior asks the Collector to read out her #RepublicDay speech pic.twitter.com/vEvy1YVjRM
— ANI (@ANI) January 26, 2019
वैसे कमलनाथ की मंत्री इमरती देवी का ये बयान आपको अजीब जरूर लगा होगा, लेकिन अगर इनकी समझ के हिसाब से देखें, तो उन्होंने कुछ भी गलत या अटपटा नहीं बोला है। ये इनका पुराना इतिहास रहा है। ये पहले भी अपनी हरकतों से अपना मजाक बनवा चुकी हैं। गणतंत्र दिवस के अवसर पर मंत्री साहिबा भाषण देने पहँचीं थीं। उन्होंने किसी से भाषण तो लिखवा लिया था, मगर एक लाइन भी सही से बोल नहीं पाईं, बीच में ही अटक गईं और ये कहते हुए माइक से हट गईं कि आगे की स्पीच कलेक्टर साहब पढ़ेंगे। ये सुनकर सभी श्रोता हँसने लगे और कलेक्टर साहब भी खुद को मुस्कुराने से रोक नहीं पाए थे। इसके पीछे का तर्क देते हुए इमरती देवी ने कहा था कि वो पिछले 2 दिन से बीमार थीं, चाहें तो उनके डॉक्टर से पूछ सकते हैं।