ऑक्सफ़ोर्ड लैंग्वेजेज़ ने ‘आत्मनिर्भरता’ शब्द को वर्ष 2020 के लिए ऑक्सफ़ोर्ड हिंदी शब्द चुना है। कोरोना वायरस महामारी के बीच प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा ‘आत्मानिर्भर भारत’ अभियान के लिए की गई महत्वपूर्ण पहल के बाद यह शब्द, ‘आत्मनिर्भरता’ (Aatmanirbharta) प्रमुखता से इस्तेमाल किया जाता रहा है।
'Aatmanirbharta' goes global!!#AatmanirbharBharat – Where the head is held high…https://t.co/b61U4Rd1lH
— Prakash Javadekar (@PrakashJavdekar) February 2, 2021
ऑक्सफ़ोर्ड लैंग्वेजेज़ के अनुसार, “साल का शब्द किसी ऐसे शब्द को चुना जाता है, जिससे बीते साल का मूड और लोगों की व्यवस्तता झलकती हो और जिसका आने वाले दौर में भी सांस्कृतिक महत्व होता है। आत्मनिर्भरता शब्द का अर्थ और सोच बीते साल अधिकतर भारतीयों की भावना का हिस्सा रहा है।”
ऑक्सफोर्ड ने वर्ष 2020 के हिंदी शब्द (Hindi word of the year 2020) के चुनाव के लिए समिति का गठन किया था। ‘हिंदी वर्ड ऑफ़ द ईयर’ की सलाहकार समिति की विशेषज्ञ कृतिका अग्रवाल ने कहा कि उन्हें चयन के लिए कई शब्द मिले थे, लेकिन ‘आत्मनिर्भरता’ शब्द को इसलिए चुना गया क्योंकि यह शब्द असंख्य भारतीयों की रोजाना के संघर्ष और कोरोना वायरस महामारी के विरुद्ध उनकी लड़ाई को दर्शाता है।
एक प्रेस रिलीज में ‘ऑक्सफ़ोर्ड लैंग्वेजेज़’ ने कहा, “विगत वर्ष भारत के लिए मुश्किलों से भरा था। कोरोना वायरस महामारी के कारण देशव्यापी कठोर लॉकडाउन लगाया गया। लोगों की आवाजाही को लेकर लगाई गई पाबंदियों का सीधा असर देश की अर्थव्यवस्था पर पड़ा, जिससे लाखों लोग प्रभावित हुए। इस मुश्किल दौर में लोगों ने अपनी कोशिशें जारी रखीं और आत्मनिर्भरता का प्रमाण दिया।”
उल्लेखनीय है कि कोरोना वायरस महामारी की शुरुआत में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कोविड-19 पैकेज की घोषणा करते हुए ‘आत्मनिर्भरता’ पर विशेष जोर दिया था। आत्मनिर्भर अभियान के तहत ही भारत ने कोविड-19 वैक्सीन निर्माण में बड़ी सफलता हासिल की। एक ओर जहाँ देश में बड़े पैमाने पर कोरोना वैक्सीन का निर्माण हो रहा है, वहीं भारत कई देशों को भी वैक्सीन सप्लाय कर रहा है।
इससे पहले, वर्ष 2017 में ‘आधार’ को ऑक्सफ़ोर्ड द्वारा हिंदी शब्द चुना गया था। वर्ष 2018 में ‘नारी शक्ति’ और वर्ष 2019 में ‘संविधान’ को चुना गया था।