यूरोपीय देश नीदरलैंड के चुनाव नतीजों ने बीजेपी की पूर्व प्रवक्ता नूपुर शर्मा (Nupur Sharma) को चर्चा में ला दिया है। वजह हैं गीर्ट वाइल्डर्स (Geert Wilders)। वाइल्डर्स की पहचान एक ऐसे नेता के तौर पर है जो इस्लामी कट्टरपंथ के खिलाफ मुखर हैं।
बीते साल जब ‘ऑल्ट न्यूज’ के सह-संस्थापक मोहम्मद जुबैर ने नूपुर शर्मा को टारगेट किया था, तब वाइल्डर्स ने बीजेपी की इस पूर्व नेता का समर्थन किया था। जुबैर के उकसावे के बाद से नूपुर शर्मा को जिहादी हत्या की धमकी दे रहे हैं। वे सार्वजनिक जीवन से दूर रहने को मजबूर हैं।
हालिया चुनावों के बाद गीर्ट वाइल्डर्स के नीदरलैंड के प्रधानमंत्री बनने के आसार हैं। दक्षिणपंथी वाइल्डर्स की पार्टी को एग्जिट पोल में सर्वाधिक सीट मिलती दिख रही है। 22 नवम्बर 2023 को नीदरलैंड के आम चुनावों के लिए सामने आए एग्जिट पोल में यह स्पष्ट हो गया है कि वाइल्डर्स की कंजर्वेटिव पार्टी फॉर फ्रीडम (PVV) सर्वाधिक 35 सीटें जीतने की ओर है। उनकी पार्टी नीदरलैंड में इस्लाम के प्रसार के विरुद्ध रही है। ऐसे में इन नतीजों का पूरे यूरोप पर प्रभाव पड़ने की संभावना है।
35!!!!!!
— Geert Wilders (@geertwilderspvv) November 22, 2023
PVV GROOTSTE PARTIJ ❤️ pic.twitter.com/oMANVYvGjy
PVV नीदरलैंड में मस्जिदों, कुरान और हिजाब पर प्रतिबंध लगाने की माँग करती रही है। अब 150 सीटों वाली नीदरलैंड की संसद में यह सबसे अधिक सीटों वाला दल बनने की और अग्रसर है। उनकी पार्टी को यूरोप के अन्य दक्षिणपंथी नेताओं और पार्टियों की तरफ से बधाई मिल रही है।
माना जा रहा है कि PVV सरकार बनाने में सबसे आगे होगी। सबसे बड़ी पार्टी बनकर उभरेगी। उसे 35 सीटें मिल सकती हैं। यह 2021 के मुकाबले दोगुनी है। हालाँकि, स्पष्ट बहुमत ना होने के कारण उसे अन्य पार्टियों के साथ गठबंधन करना होगा। लेकिन इस बात की पूरी संभावना है कि गठबंधन का नेतृत्व करते हुए गीर्ट वाइल्डर्स प्रधानमंत्री बनेंगे। इस पूरी प्रक्रिया में अभी 8-10 महीने का समय लगने की संभावना है।
कौन हैं गीर्ट वाइल्डर्स?
गीर्ट वाइल्डर्स एक दक्षिणपंथी डच नेता हैं। वह अपने इस्लाम विरोधी रुख के लिए जाने जाते हैं। वह वर्ष 2004 के बाद से लगातार पुलिस सुरक्षा में रहते हैं। उनके एक बार मोरक्को के लोगों को कूड़ा बोलने पर काफी विवाद हुआ था।
वाइल्डर्स पिछले ढाई दशकों से नीदरलैंड की राजनीति में सक्रिय हैं, वह 1998 के बाद से डच संसद में हैं। उनका ताल्लुक एक सामान्य माध्यम वर्गीय परिवार से है। वह 1981 से 1983 के बीच इजरायल में भी रहे हैं। इस दौरान उन्होंने मध्य एशियाई देशों की यात्रा की, जिस दौरान उनके इस्लाम विरोधी विचार बने।
वाइल्डर्स को अवैध प्रवासियों के प्रति उनके कठोर रवैए और डच हितों को सबसे आगे रखने के लिए जाना जाता है। उन्होंने जुलाई 2022 में भाजपा की पूर्व प्रवक्ता नूपुर शर्मा और बांग्लादेशी हिंदुओं का मुद्दा भी डच संसद में उठाया था। उन्होंने अक्टूबर 2022 में भी नूपुर शर्मा के समर्थन में ट्वीट किया था।
Nupur Sharma is a hero who spoke nothing but the truth. The whole world should be proud of her. She deserves the Nobel Prize. And India is a Hindu nation, the Indian government is obliged to strongly defend Hindus against Islamic hate and violence.
— Geert Wilders (@geertwilderspvv) October 9, 2022
#NupurSharma #India #Islam pic.twitter.com/kVkQjEr3RN
गीर्ट वाइल्डर्स ने हिन्दुओं से सहिष्णुता छोड़ने का अपील भी की थी।
Hindus in #India stand up for yourselves, for your security, values and culture, for #NupurSharma!
— Geert Wilders (@geertwilderspvv) July 14, 2022
You are worth it.
If you give in to Islam, to cultural relativism, to corrupt judges and weak politicians, you’ll lose everything.
Be courageous!
I love and support you ❤️ pic.twitter.com/TSB2saP9kW
डच सांसद ने भारत में हिंदुओं पर हमले की घटनाओं का भी जिक्र किया था। उन्होंने नूपुर शर्मा का समर्थन करने पर इस्लामी कट्टरपंथियों द्वारा एक हिंदू दर्जी (कन्हैया लाल) का सिर कलम करने की घटना पर भी प्रकाश डाला था।
My Parliamentary Questions from today about the Muslim violence against #Hindus in #Bangladesh and #India, the lack of support for #NupurSharma and more international attention and support for Hindu safety and security. #HindusUnderAttack #HindusLivesMatter #Wilders pic.twitter.com/ovYoR11Upo
— Geert Wilders (@geertwilderspvv) July 19, 2022
बांग्लादेश में अल्पसंख्यकों के खिलाफ बढ़ती हिंसा पर भी वे सवाल उठा चुके हैं। उन्होंने विदेश मंत्रालय से बांग्लादेश में हिंदू घरों, पूजा स्थलों और दुकानों में आग लगानी वाली घटना पर विचार करने को कहा था। मालूम हो कि 15 जुलाई 2022 को बांग्लादेश में लोहागारा के सहपारा इलाके में कट्टरपंथी मुस्लिमों की भीड़ ने हिन्दुओं के एक मंदिर, किराने की दुकान और कई घरों को तोड़ दिया था।