Tuesday, November 19, 2024

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तृणमूल कांग्रेस

‘एसपी मुखर्जी ने इस्लामिक अध्ययन शुरू करवाया था, आज की BJP को देखकर आत्महत्या कर लेते’

स्वतंत्रता पूर्व भारत में एक राजनीतिक गतिरोध को देखते हुए, मुखर्जी ने दक्षिणपंथी राष्ट्रवादी राजनीतिक संगठन भारतीय जनसंघ को संगठित करने के लिए कॉन्ग्रेस पार्टी को छोड़ दिया था। अंततः 1951 में भारतीय जनता पार्टी के गठन का मार्ग प्रशस्त हुआ।

एक 17 साल के लड़के को पुलिस ने मारी गोली, ऐसा बंगाल में ही हो रहा है: BJP नेता अहलूवालिया

एसएस अहलूवालिया ने कहा कि भाटपारा में हुई हिंसा से केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह काफी दुखी हैं। ऐसी घटनाएँ केवल पश्चिम बंगाल में हो रही हैं। वो इस बारे में संबंधित व्यक्तियों से बात करेंगे और गृह मंत्री को रिपोर्ट सौंपेंगे।

बंगाल में हिंसा जारी, दो गुटों में झड़प, 1 की मौत, धारा 144 लागू

झड़प के दौरान, दोनों गुटों ने एक-दूसरे पर कच्चे बम फेंके और गोलियाँ भी बरसाई। स्थिति पर नियंत्रण के लिए जवाबी कार्रवाई में पुलिस ने आँसू गैस के गोले दागे। फ़िलहाल घायलों को इलाक़े के एक निजी अस्पताल में भर्ती कराया गया है।

डॉक्टरों के आगे झुकीं ममता: कैमरे के सामने मानी हर माँग, हर अस्पताल में पुलिस की होगी तैनात

ममता बनर्जी ने सरकारी अस्पतालों में शिकायत निवारण सेल का निर्माण करने के डॉक्टरों के प्रस्ताव को स्वीकार कर लिया है। ममता ने पश्चिम बंगाल के हर अस्पताल में नोडल पुलिस ऑफिसर तैनात करने का निर्देश दिया है।

TMC विधायक सुनील सिंह समेत 12 पार्षद होंगे BJP में शामिल, दिल्ली के लिए हुए रवाना

टीएमसी विधायक सुनील सिंह ने कहा, “पश्चिम बंगाल की जनता सबका साथ सबका विकास चाहती है। दिल्ली में मोदी जी की सरकार है और हम चाहते हैं कि यही सरकार प्रदेश में भी बने। ताकि हम पश्चिम बंगाल का विकास कर सकें।”

घमंडी, फासीवादी, सांप्रदायिक, स्वेच्छाचारी, हिंसक, असंवैधानिक, तानाशाह, भ्रष्ट, अलगाववादी: यही हैं ममता

यह इकोसिस्टम कुतर्क में उस्ताद है। बंगाल की हर हिंसा में तृणमूल के साथ बराबर का भागीदार भाजपा को बना देता है। सांप्रदायिकता में भी यही रवैया अपनाता है।

TMC कार्यकर्ता के घर पर बमबारी, मृतक के बेटे ने लगाया कॉन्ग्रेस पर आरोप

इससे पहले राज्य के उत्तर 24 परगना में गुरूवार (13 जून) की रात को एक महिला बीजेपी नेता सरस्वती दास की गोली मारकर हत्या कर दी गई थी।

बंगाल में एक साथ 69 डॉक्टरों ने सौंपा इस्तीफा, ममता से बिना शर्त माफ़ी की माँग

जब कोई व्यक्ति अपने बूढ़े अब्बू की हॉस्पिटल में हुई मौत पर 200 लोगों की भीड़ ले आता है, तो पता चलता है कि प्रशासन को समाज का एक हिस्सा कैसे देखता है। उसके बाद ममता का यह कहना कि ‘पुलिस वाले भी तो मरते हैं ड्यूटी पर लेकिन उनके सहकर्मी हड़ताल नहीं करते’, एक मूर्खतापूर्ण बयान है।

बशीरहाट में महिला BJP कार्यकर्ता की निर्मम हत्या, लोगों का गुस्सा अब BJP पर फूटा

"बशीरहाट में तृणमूल के गुंडों ने सरस्वती दास की निर्मम हत्या कर दी। बंगाल में कानून व्यवस्था पूरी तरह ढह चुकी है, यहाँ कोई भी सुरक्षित नहीं हैं।"

सरकारी डॉक्टर की जान बनाम मुस्लिम वोटबैंक को निहारती निर्मम ममता जो दंगे पीती, खाती और सोती है

ये भीड़ इतनी जल्दी कैसे आती है, कहाँ हमला करती है और किधर गायब हो जाती है? क्या पुलिस ने नहीं देखा इन्हें? क्या हॉस्पिटल में सुरक्षा के लिए पुलिस आदि नहीं होती या फिर इस पहचानहीन भीड़ का सामूहिक चेहरा ममता की पुलिस ने पहचान लिया और उन्हें वो करने दिया जो वो कर गए?

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