पुलिस ने इस मामले में घटना की जगह की सीसीटीवी फुटेज भी खंगाला और शुरुआती जाँच के बारे में बताते हुए रोहिणी के डीसीपी एस डी मिश्रा ने कहा कि उन्होंने इस बारे में घटना के समय मौजूद चश्मदीद गवाह से बात की, जिसने उन्हें इस घटनाक्रम के पूरे सीक्वेंस को बताया। इससे मोमिन के आरोप साबित नहीं होते हैं।
वीडियो में दिख रहा है कि टेम्पो चालक तलवार निकाल कर पुलिस वालों को धमकी भरे अंदाज में कुछ कह रहा है और फिर एक पुलिस वाले पर तलवार से वार भी करता है। वीडियो में सभी पुलिस वाले उसके तलवार से बचते दिख रहे हैं और उसे पकड़ने की कोशिश कर रहे हैं।
पुलिस ने बताया कि 21 फ़रवरी 2018 को जामा मस्जिद इलाक़े में मोहम्मद इक़बाल ने अपने दो साथियों नौशाद और रिज़वान के साथ मिलकर मक्की नाम के शख़्स पर गोली चलाई थी। हालाँकि मक्की इस हमले में अपनी जान बचाने में क़ामयाब रहा।
नमाज़ बहुत पहले ही ख़त्म हो चुकी थी और लोग वहाँ से जा चुके थे। फिर भी समुदाय विशेष के लोगों ने सार्वजनिक वाहन पर तोड़फोड़ की और हंगामा किया। कमाल की बात यह है कि जहाँ ज़्यादातर इंग्लिश मीडिया ने 17 नमाजियों के घायल होने की झूठी ख़बर चलाई
"जो मीडिया समूह या मीडिया पोर्टल मेरे नाम से यह स्टेटमेंट जारी कर रहे हैं कि 17 लोग घायल हुए हैं, वह गलत है। वहाँ कोई भी घायल नहीं है। उन्होंने आगे जोड़ा कि तीन लोग बाद में पुलिस स्टेशन आए थे कि वह घायल हैं लेकिन उन्हें देखकर यह साफ था कि कोई भी घायल नहीं था।"
घमंड वाली बात से ही अरविन्द केजरीवाल 'ट्रिगर' हो गए और उनके हारे हुए प्रत्याशियों ने उनके इशारे पर अलका लाम्बा को ग्रुप से बाहर कर दिया। इसके बाद आज अलका लाम्बा ने कुछ और बेहद करुणामय और मार्मिक ट्वीट के माध्यम से अपनी बात सामने रखते हुए लिखा है कि बार-बार व्हाट्सएप्प ग्रुप में जोड़ने-निकालने से बेहतर होता इससे ऊपर उठकर कुछ सोचते, बुलाते, बात करते, गलतियों और कमियों पर चर्चा करते, सुधार कर के आगे बढ़ते।
पकड़े गए संदिग्ध शख्स को पूछताछ के लिए CISF के सुरक्षा कक्ष में ले जाया गया, जहाँ उसने कोई संतोषजनक जवाब नहीं दिया और ना ही उसके पास से CRPF का कोई आईडी कार्ड या फिर फोर्स से जुड़ा कोई सबूत मिला।
पुलिस से हुई पूछताछ के दौरान इसरार ने बताया कि वो मध्यप्रदेश के बुरहानपुर के किसी जीत नाम के व्यक्ति से अवैध हथियार खरीदता था और फिर अपने आदमियों के जरिए दिल्ली और यूपी में इसका सप्लाई किया करता था।
आरोपितों ने इस कुकृत्य का वीडियो भी रिकॉर्ड किया था। इसके बाद उन्होंने छात्रा को ब्लैकमेल करना शुरू कर दिया। वो गैंगरेप वाला वीडियो वायरल करने की धमकी देने लगे। वीडियो सार्वजनकि करने की धमकी देकर आरोपितों ने नोएडा में छात्रा का फिर से रेप किया।