यह बात चौंकाने वाली है कि भविष्य में देश का नेतृत्व करने की इच्छा रखने वाले राहुल गाँधी को ऐसी राष्ट्रीय आपात स्थितियों के दौरान आतंकी समूहों के साथ होने वाली जटिल वार्ताओं के बारे में पूरी और सही जानकारी अब तक नहीं है।
सुरक्षा अधिकारियों ने बताया कि आत्मघाती हमलावर आदिल अहमद डार, जिसने 14 फ़रवरी को CRPF के क़ाफ़िले में एक बस के आगे अपने विस्फोटक से भरे वाहन को उड़ा दिया था, वो आतंकवादी ख़ान के साथ लगातार संपर्क में था।
दिसंबर 8, 1989 को रुबैया सईद के अपहरण के बाद पंद्रह दिनों तक ड्रामा चला था जिसके बाद वी पी सिंह सरकार द्वारा अब्दुल हमीद शेख़, शेर खान, नूर मोहम्मद कलवल, अल्ताफ अहमद और जावेद अहमद जरगर नामक आतंकियों को जेल से छोड़ा गया था।
गालिब ने कहा कि वह भारतीय होने में गर्व कैसे कर सकता है? भारत की सरकार ने न केवल उसके पिता की हत्या की बल्कि कश्मीर के साथ भी अन्याय भी किया। गालिब ने स्पष्ट किया कि उसने पासपोर्ट प्राप्त करने के लिए प्रोपेगेंडा के तहत टाइम्स ऑफ इंडिया को बाइट दिया।
साल 2014-17 के बीच पकड़े गए जैश-ए-मुहम्मद के आतंकियों में से 4 आतंकियों को प्रशिक्षण बालाकोट के उसी कैंप में मिला है जहाँ पर वायु सेना द्वारा हाल ही में हमला किया गया।
बड़ी खबर यह है कि आतंकी संगठन जैश-ए-मुहम्मद का सरगना मसूद अजहर की मौत हो गई है। मीडिया रिपोर्ट से मिली जानकारी के अनुसार उसकी 2 मार्च 2019 को ही मौत हो गई थी।
दीपक ने एलआईसी हाउसिंग से होम लोन लिया था। वो इकलौते बेटे थे। ऐसे में माँ-पिता के लिए लोन चुकाना एक बड़ा सवाल था। मंत्री सतीश महाना ने तुरंत संज्ञान लेते हुए कहा कि वो खुद इसे चुकाएँगे।
पूरी दुनिया के मान और जान लेने के बाद भी वहाँ की सरकार सेना और ISI की कठपुतली होने का सबूत दे रही है, सिर्फ़ लफ्फबाजी से ख़ुद को शांति दूत का तमगा देना चाहती है, पर अब उसकी एक भी चाल क़ामयाब नहीं होने वाली, अब आने वाले समय में सबूतों और बतकही के खेल से भरोसा उठ चुका है।