Saturday, November 23, 2024

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वामपंथी

सीताराम! नक्सली आतंकियों के नाजायज बापों को राम से इतनी एलर्जी क्यों है…

न्याय तलाशते वामपंथी बहुत पीछे जाते हैं तो 1528 में पहुँचते हैं जहाँ रहमदिल, आलमपनाह बाबर, जिसके माता और पिता पक्ष पर करोड़ों हत्याओं का रक्त है, कंधे पर पत्थर उठा कर एक जंगल-झाड़ में, छेनी-हथौड़ा से कूटते हुए मस्जिद बनाता दिखता है।

इसके मज़े लो: JNU में महिला पत्रकार के साथ बदसलूकी, गूँजा ‘हिन्दी मीडिया मुर्दाबाद’ का नारा

इसके पहले, JNU के छात्र विश्वविद्यालय प्रशासन पर फीस बढ़ाने का आरोप लगा कर विरोध प्रदर्शन भी किया था। इस दौरान छात्रों ने न सिर्फ़ पुलिस के साथ झड़प की, बल्कि महिला प्रोफेसर के साथ भी बदतमीजी की। महिला प्रोफेसर के कपड़े फाड़ने की कोशिश की गई थी।

माओवादी कैसे मारे गए, इसकी जाँच हो लेकिन रिपोर्ट आने तक हम कोई सवाल नहीं खड़े कर रहे: केरल HC

इस की जाँच हो कि एनकाउंटर में शामिल अफसरों के हाथों इस घटना के दौरान कोई आपराधिक कृत्य तो नहीं घटित हुआ है। लेकिन इसे एनकाउंटर की सत्यता, उसकी परिस्थितियों या माओवाद के आरोपितों की मृत्यु पर सवाल के रूप में न देखा जाए।

मंदिर की जगह स्कूल एक वामपंथी प्रपंच: अजीत भारती के विचार | Ajeet Bharti on School Over Ram Mandir

कुछ लोग कह रहे हैं कि सामाजिक सौहार्द के लिए मंदिरों की जगह स्कूल और अस्पताल ही बनवा देना चाहिए। कुछ कह रहे कि 6 दिसम्बर को...

अरुंधति रॉय, प्रपंच कब तक चलाओगी: अजीत भारती का सवाल | Ajeet Bharti on Arundhati Roy Propaganda

अरुंधति रॉय जैसे लोग भारत को टुकड़ों में बाँटने की मंशा रखते हैं। अंतरराष्ट्रीय मंचों पर जाकर भारतीय सेना को तानाशाह के रूप में दिखाते हैं।

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