Friday, November 15, 2024
Homeदेश-समाजयह राजस्थान की कॉन्ग्रेस सरकार की कंगाली और अमानवीयता: यूपी से बस किराया लेने...

यह राजस्थान की कॉन्ग्रेस सरकार की कंगाली और अमानवीयता: यूपी से बस किराया लेने पर मायावती

"कॉन्ग्रेसी राजस्थान की सरकार एक तरफ कोटा से यूपी के छात्रों को अपनी कुछ बसों से वापस भेजने के लिए मनमाना किराया वसूल रही है, दूसरी तरफ अब प्रवासी मजदूरों को यूपी में उनके घर भेजने के लिए बसों की बात करके जो राजनीतिक खेल खेल कर रही है, यह कितना उचित व कितना मानवीय है?"

प्रवासी मजदूरों को घर पहुँचाने को लेकर राजनीतिक पार्टियों के बीच आरोप-प्रत्यारोप का दौर जारी है। कोटा से छात्रों के लिए बस उपलब्ध कराने को लेकर यूपी सरकार को राजस्थान की कॉन्ग्रेस सरकार द्वारा भेजे गए 36.36 लाख के बिल पर बहुजन समाज पार्टी (बसपा) सुप्रीमो मायावती ने नाराजगी व्यक्त की है।

बसपा सुप्रीमो मायावती ने ट्वीट कर कहा, “राजस्थान की कॉन्ग्रेसी सरकार द्वारा कोटा से करीब 12000 युवा-युवतियों को वापस उनके घर भेजने पर हुए खर्च के रूप में यूपी सरकार से 36.36 लाख रुपए और देने की जो माँग की है, वह उसकी कंगाली व अमानवीयता को प्रदर्शित करता है। दो पड़ोसी राज्यों के बीच ऐसी घिनौनी राजनीति अति-दुखद है।”

आपको बता दें कि कॉन्ग्रेस नेतृत्व वाली राजस्थान सरकार ने कुछ बसों का किराया वसूलने के लिए यूपी सरकार को 36 लाख रुपए का बिल भेजा है। दरअसल कोटा में फँसे छात्रों को लाने के लिए पिछले महीने राजस्थान सरकार ने यूपी सरकार को 70 बसें उपलब्ध कराईं थीं। इसी को लेकर अब राजस्थान सरकार ने यूपी सरकार से 36,36,664 रुपए का भुगतान करने की माँग की है।

राजस्थान कॉन्ग्रेस पर कटाक्ष करते हुए मायावती ने पूछा, “कॉन्ग्रेसी राजस्थान की सरकार एक तरफ कोटा से यूपी के छात्रों को अपनी कुछ बसों से वापस भेजने के लिए मनमाना किराया वसूल रही है, दूसरी तरफ अब प्रवासी मजदूरों को यूपी में उनके घर भेजने के लिए बसों की बात करके जो राजनीतिक खेल खेल कर रही है, यह कितना उचित व कितना मानवीय है?”

प्रवासी मज़दूरों को उनके घरों तक सुरक्षित पहुँचाने के लिए उनके भुगतान को लेकर लंबे-लंबे दावे करने वाली कॉन्ग्रेस की अंतरिम अध्यक्ष सोनिया गाँधी के लिए यह एक बड़ी ही शर्मिंदगी की बात है। इतना ही नहीं इससे पहले राजस्थान में कॉन्ग्रेस नेतृत्व वाली सरकार ने जयपुर-पटना श्रमिक स्पेशल ट्रेन के लिए प्रवासी मज़दूरों से भुगतान लेने की बात कही थी।

टाइम्स नाउ की एक रिपोर्ट के मुताबिक मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने प्रवासियों मजदूरों से अपने घर वापस जाने को लेकर उनसे पैसा लेने की बात स्वाकीर की थी, जबकि अधिकांश राज्य सरकारों ने अपने सरकारी खजाने से प्रवासी मजदूरों की यात्रा का भुगतान किया था। केवल तीन राज्य केरल, राजस्थान, और महाराष्ट्र ऐसे थे, जिन्होंने प्रवासी मजदूरों से उनकी यात्रा का चार्ज वसूल किया था।

Join OpIndia's official WhatsApp channel

  सहयोग करें  

एनडीटीवी हो या 'द वायर', इन्हें कभी पैसों की कमी नहीं होती। देश-विदेश से क्रांति के नाम पर ख़ूब फ़ंडिग मिलती है इन्हें। इनसे लड़ने के लिए हमारे हाथ मज़बूत करें। जितना बन सके, सहयोग करें

ऑपइंडिया स्टाफ़
ऑपइंडिया स्टाफ़http://www.opindia.in
कार्यालय संवाददाता, ऑपइंडिया

संबंधित ख़बरें

ख़ास ख़बरें

जिनके पति का हुआ निधन, उनको कहा – मुस्लिम से निकाह करो, धर्मांतरण के लिए प्रोफेसर ने ही दी रेप की धमकी: जामिया में...

'कॉल फॉर जस्टिस' की रिपोर्ट में भेदभाव से जुड़े इन 27 मामलों में कई घटनाएँ गैर मुस्लिमों के धर्मांतरण या धर्मांतरण के लिए डाले गए दबाव से ही जुड़े हैं।

‘गालीबाज’ देवदत्त पटनायक का संस्कृति मंत्रालय वाला सेमिनार कैंसिल: पहले बनाया गया था मेहमान, विरोध के बाद पलटा फैसला

साहित्य अकादमी ने देवदत्त पटनायक को भारतीय पुराणों पर सेमिनार के उद्घाटन भाषण के लिए आमंत्रित किया था, जिसका महिलाओं को गालियाँ देने का लंबा अतीत रहा है।

प्रचलित ख़बरें

- विज्ञापन -