दिल्ली के बेगमपुर थानांतर्गत कैलाश विहार पंसारी के एक मंदिर में तोड़फोड़ का मामला सामने आया है। घटना को अंजाम देने वाले विधर्मी ने हिंदू देवी-देवताओं की दर्जन भर मूर्तियों पर हमला करके उन्हें खंडित किया। तस्वीरों को यदि देखें तो यह साफ पता चलता है कि उसने मुख्य रूप से मंदिर में स्थापित मूर्तियों के सिर को धड़ से अलग किया है जैसे उसकी नियत ही सिर कलम करने की रही हो।
ऑपइंडिया के संज्ञान में जब यह मामला आया तो हमने मंदिर के ट्रस्टी विभूति शर्मा से बात की। उनका घर मंदिर से 500 मीटर की दूरी पर है। उन्होंने इस मामले की पुष्टि करते हुए यह बताया कि वह शिवशक्ति मंदिर के ट्रस्टी हैं। उन्हें कल यानी 25 नवंबर 2020 को सुबह करीब 7 बजे इस घटना की जानकारी मिली थी। मंदिर में साफ सफाई करने वाली महिला ने उन्हें इस बारे में घर आकर बताया था और फिर उन्होंने खुद जाकर देखा तो वाकई वहाँ हर मूर्ति का सिर अलग हो रखा था।
कैलाश विहार के ए ब्लॉक के शिवशक्ति मंदिर में लक्ष्मी नारायण की मूर्ति, कृष्ण-राधिका की मूर्ति, दुर्गा माता की मूर्ति, बगलामुखी माता की मूर्ति और पूरे शिव परिवार की मूर्तियाँ थी। विभूति शर्मा के अनुसार, “मंदिर में साफ-सफाई के लिए लगाई एक महिला सफाई कर्मी ने मुझे घर आकर बताया, ‘भैया किसी ने मूर्तियाँ तोड़ दी हैं।’ मैंने जाकर देखा तो सारी मूर्तियाँ क्षत-विक्षत हो रखी थीं। मैंने तुरंत पुलिस को फोन किया और कुछ देर में प्रशासन की टीम भी वहाँ पहुँची।”
दिल्ली के बेगमपुर के कैलाश बिहार पंसाली का शिव शक्ति मंदिर तो है किंतु अंदर भगवान नहीं?? दुःख तो यह कि शैतानों का अभी तक कोई अतापता भी नहीं। सोचिए! ये देश की राजधानी है!!#BhagwanBeheaded pic.twitter.com/ssb9tZOfwJ
— विनोद बंसल (@vinod_bansal) November 26, 2020
मंदिर के ट्रस्टी के मुताबिक प्रशासन ने उन्हें आश्वासन दिया है कि वह उन्हें मंदिर में स्थापित करने के लिए नई मूर्तियाँ देंगे। उनके मुताबिक, खंडित की गई मूर्तियों का कल विसर्जन हो चुका है, लेकिन प्रशासन ने उन्हें अभी (खबर लिखने तक) नई मूर्तियाँ नहीं दी हैं।
सीसीटीवी आदि के बारे में पूछे जाने पर विभूति कहते हैं कि आम आदमी पार्टी की ओर से गली में सीसीटीवी लगा तो था, लेकिन जब घटना हुई और उसे चेक करने की बात उठी, तब पता चला कि उसका डीवीआर कोई 3-4 दिन पहले तोड़ चुका था।
उनके अनुसार, स्थानीयों ने 24 की रात एक लड़के को इलाके में भागते देखा था जो चिल्ला रहा था, “सिर काट दिया, सिर काट दिया।” मगर कोई उस लड़के का चेहरा नहीं देख पाया। ट्रस्टी के अनुसार, मंदिर का दरवाजा बंद रहता है लेकिन परसों किसी ने जब ध्यान नहीं दिया तो दरवाजा खुला रह गया और यह घटना हुई।
इस मामले में विभूति शर्मा ने पुलिस में एफआईआर दर्ज करवाई है और धार्मिक भावनाओं को आहत करने के लिए अज्ञात आरोपित के ख़िलाफ़ कानूनी कार्रवाई की माँग की है। इस मामले को पुलिस ने आईपीसी की धारा 457 और 295 के तहत दर्ज किया है। बेगमपुर थाने की पुलिस का इस संबंध में कहना है कि वो इस मामले में अभी पड़ताल कर रहे हैं। बाकी इलाके में शांति हैं। आगे की कोई जानकारी पड़ताल होने के बाद ही दी जाएगी।
VHP ने उठाया मंदिर में तोड़फोड़ का मामला
मंदिर में हुई इस निंदनीय घटना को विश्व हिंदू परिषद ने भी उठाया है। विहिप के राष्ट्रीय प्रवक्ता विनोद बंसल लिखते हैं, “दिल्ली के बेगमपुर थानांतर्गत कैलाश विहार पंसाली में शिव शक्ति मंदिर में लगभग दर्जन भर देवी-देवताओं का सर कलम करने वाले विधर्मी दुष्ट का दूसरे दिन भी कोई अता-पता नहीं। हिंदुओं की सहिष्णुता की कृपया और परीक्षा ना लें।”
दिल्ली के बेगमपुर थानांतर्गत कैलाश बिहार पंसाली में शिव शक्ति मंदिर में लगभग दर्जन भर देवी-देवताओं का सर कलम करने वाले विधर्मी दुष्ट का दूसरे दिन भी कोई अतापता नहीं। हिंदुओं की सहिष्णुता की कृपया और परीक्षा ना ले @DelhiPolice @LtGovDelhi @ArvindKejriwal जी।#BhagwanBeheaded pic.twitter.com/ItC3WFq1oD
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आगे उन्होंने बताया कि इस मामले में एफआईआर हुई है लेकिन बहुत सीमित धाराओं के साथ। भगवान का सिर कलम करने के लिए अभी तक कोई गिरफ्तारी भी नहीं हुई है।
An FIR No. 400/20 was registered by @DelhiPolice yesterday but covering very limited sections of IPC. No arrest hv yet been made for #BhagwanBeheaded ?? https://t.co/nZWEJDGUFu pic.twitter.com/moXE77VUpJ
— विनोद बंसल (@vinod_bansal) November 26, 2020
मेवात में भी उखाड़ी गई थी माता की मूर्ति
इस घटना से पूर्व नवरात्रि के अवसर पर हरियाणा के मेवात में हिंदुओं की भावनाओं को ठेस पहुँचाने का प्रयास हुआ था। वहाँ मेवात के नगीना खंड के माँडीखेड़ा गाँव में दुर्गा माता की मूर्ति की प्राण प्रतिष्ठा की गई थी लेकिन मात्र दो ही दिन में मंदिर की मूर्ति को पूरी तरह तोड़ दिया गया। दुर्गा माँ के मंदिर में इस घटना के बाद मूर्ति की जगह सिर्फ़ शेर के पंजे बचे थे। स्थानीय लोगों ने घटना का आरोप मंदिर के पास बने मदरसे के मुफ्ती पर लगाया था। उन्होंने कहा था कि वही यह सब काम करवाता है।