जीतू पटवारी ने एक विमान का फोटो शेयर करते हुए लिखा, “रेल बिक गई, चाय का क्या? अरे भाई! पीएम साहब चाय वाली पृष्ठभूमि से आते हैं तो क्या हुआ, हम जब उन्हें ज्यादा सुविधाएँ देंगे, तभी तो वो भारत को विश्वगुरु बनाएँगे। प्रधानमंत्री के विमान के अंदर के दर्शन।” साथ ही उन्होंने जिस विमान की तस्वीर शेयर की, उसमें अंदर सोफे-टेबल, टीवी और कई अन्य महँगी वस्तुएँ रखी दिख रही हैं।
इस ट्वीट के माध्यम से जीतू पटवारी का आरोप था कि देश की जनता के रुपयों से पीएम मोदी अपनी सुविधाएँ बढ़ा रहे हैं और वो भोग-विलास की वस्तुओं से लैस विमान में ही यात्रा करते हैं। हालाँकि, सोशल मीडिया में कई लोगों ने उनका झूठ पकड़ लिया। ‘स्ट्रेटेजिक स्पामिंदर भारती’ ने जीतू पटवारी के इन दावों की सबूतों के साथ पोल खोली। दरअसल, वो प्रधानमंत्री मोदी के विमान की तस्वीर थी ही नहीं।
दरअसल, जीतू पटवारी ने जिस 787 जेट की तस्वीर शेयर की, वो प्राइवेट है, पीएम मोदी की नहीं है। उसे दुनिया का पहला ‘787 ड्रीम जेट’ बताया गया है, जिसका प्रबंधन सितम्बर 2016 से ही डियर जेट नामक कम्पनी करती आ रही है। इस एयरक्राफ्ट को हॉन्गकॉन्ग स्थित डियर जेट के बड़े में शामिल किया गया है। इसका डिजाइन फ़्रांस के मशहूर इंटीरियर डिजाइनर जैक्स प्लेरेजियन ने किया है।
Congress @INCIndia leader @jitupatwari tries to pass off a photo of a privately owned 787 as PM’s new aircraft. pic.twitter.com/c3K1zGzoCq
— Strategic Spaminder Bharti (@attomeybharti) August 1, 2020
उन्होंने एयरक्राफ्ट कंप्लीशन सेंटर के साथ मिल कर 2.5 साल में क्राफ्टिंग के इस नमूने को तैयार किया, जो ऐरोस्पेस में अलग ही स्थान रखता है। यह जेट 17 घंटे बिना रुके उड़ान भर सकता है। ये एक सात सितारा प्राइवेट जेट है, जिसमें सारी सुख-सुविधाएँ तो उपलब्ध है ही, साथ ही इसे चलाने के लिए पायलट्स का भी चुनाव अलग तरीके से होता है। ये जेट भारत की है ही नहीं। इसीलिए इसका पीएम मोदी का होने का तो सवाल ही नहीं उठता।
इससे पहले जीतू पटवारी ने नरेंद्र मोदी की केंद्र सरकार पर ये कहते हुए निशाना साधा था कि केंद्र का प्रयास था कि एक बेटा यानी ‘विकास’ हो। लेकिन उसके बदले 5 बेटियाँ यानी ‘नोटबंदी’, ‘जीएसटी’, ‘महंगाई’, ‘बेरोजगारी’ और ‘मंदी’ पैदा हो गई। राष्ट्रीय महिला आयोग की अध्यक्ष रेखा शर्मा ने भी संबित पात्रा की शिकायत पर जीतू के ट्वीट पे संज्ञान लिया था। भाजपा नेता शिवराज सिंह चौहान ने इसे कॉन्ग्रेस की निकृष्टतम विचारधारा करार दिया था।