भारत के दिग्गज गेंदबाज रविचंद्रन अश्विन (Ravichandran Ashwin) ने हाल ही में एक इंटरव्यू में चौंकाने वाले खुलासे किए थे। बताया था कि कैसे वे संन्यास के बारे में सोचने लगे थे और उन्हें कोई सपोर्ट नहीं कर रहा था। यह भी बताया था कि तत्कालीन कोच रवि शास्त्री (Ravi Shastri) ने जिस तरीके से कुलदीप यादव को प्रमोट किया था, उसने भी उन्हें तोड़ दिया था। अब इस पर शास्त्री की प्रतिक्रिया आई है।
शास्त्री ने कहा है, “अश्विन सिडनी टेस्ट नहीं खेल पाए और तब कुलदीप ने अच्छी गेंदबाजी की। इसलिए यह उचित था कि मैं कुलदीप को मौका दूँ। अगर इससे अश्विन को ठेस पहुँची या उन्हें बुरा लगा तो मैं इससे बहुत खुश हूँ। इसने उन्हें कुछ अलग करने के लिए प्रेरित किया। मेरा काम हर किसी के टोस्ट पर मक्खन लगाना नहीं है। मेरा काम बिना एजेंडे के तथ्यों को बताना है।”
रवि शास्त्री ने कहा, “यदि आपका कोच आपको चुनौती देता है, तो आप क्या करेंगे? रोते हुए घर जाओ और कहो कि मैं वापस नहीं आऊँगा। मैं कोच को गलत साबित करने के लिए एक खिलाड़ी के रूप में इसे एक चैलेंज समझूँगा। अगर कुलदीप पर मेरे बयान से अश्विन को ठेस पहुँची है, तो मुझे खुशी है कि मैंने यह बयान दिया। इसने उन्हें कुछ अलग करने के लिए प्रेरित किया, क्योंकि तब के अश्विन और आज के अश्विन में जमीन-आसमान का अंतर है।”
उल्लेखनीय है कि इंटरव्यू के दौरान अश्विन से पूछा गया था कि जब कुलदीप यादव ने सिडनी में पाँच विकेट झटके थे, उस समय रवि शास्त्री ने उनकी तारीफ करते हुए उन्हें भारत का नंबर 1 विदेशी स्पिनर बताया था। इसको लेकर आप पर कोई प्रभाव पड़ा? इस सवाल के जवाब में अश्चिन ने कहा था, “हर किसी का समय आता है। उस समय मुझे यही लगा कि किसी और का समय आ गया और मेरा चला गया।” उन्होंने कहा, “मैं रवि भाई का बहुत सम्मान करता हूँ। हम सब करते हैं। मैं समझता हूँ कि वह हमें कुछ भी कह सकते हैं, लेकिन उस समय मुझे बहुत दुख पहुँचा। मैं बेहद छोटा महसूस कर रहा था। आप मुझे कुछ भी कह सकते हैं या आप मुझे बाहर निकाल सकते हैं, जो की ठीक है, लेकिन आप मेरे इरादे या मेरे संघर्ष पर संदेह नहीं कर सकते हैं। यह सब मेरे लिए पीड़ादायक था। हम सभी के लिए अपने साथियों की सफलता मायने रखती है। मैं कुलदीप के लिए बहुत खुश था, क्योंकि मैं पाँच विकेट हासिल नहीं कर पाया था, लेकिन ऑस्ट्रेलिया में उसका पाँच विकेट लेना काफी शानदार था। मैं अच्छी गेंदबाजी के बावजूद 5 विकेट झटकने में नाकामयाब रहा। इसलिए मैं वास्तव में उसके लिए खुश था।”
शास्त्री ने विराट कोहली और भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड (BCCI) के बीच कप्तानी को लेकर हुए विवाद पर भी नाखुशी जताई है। शास्त्री ने गुरुवार (23 दिसंबर 2021) को कहा कि बीसीसीआई और विराट कोहली के बीच बातचीत से कप्तानी में पूरे बदलाव को बेहतर तरीके से सँभाला जा सकता था। उन्होंने कप्तानी विवाद पर प्रतिक्रिया देते हुए कहा है कि इस मामले पर एक बेहतर बातचीत की आवश्यकता थी। इंडियन एक्सप्रेस ई-अड्डा में शास्त्री ने कहा, “मैं कई सालों से बोर्ड का हिस्सा रहा हूँ। पिछले सात सालों से इस टीम का हिस्सा था। इस मामले को सार्वजनिक होने से पहले बेहतर बातचीत के साथ सँभाला जा सकता था।”
उन्होंने कहा, “विराट ने मामले में अपना पक्ष रखा है। अब बोर्ड अध्यक्ष (सौरव गांगुली) सामने आए और मामले का अपना पक्ष रखें। जो कुछ भी हुआ है उस पर स्पष्टीकरण दें। बस इतना ही काफी है।” शास्त्री ने कहा कि वे इस बारे में बात नहीं कर रहे हैं कि कोहली झूठ बोल रहे हैं या गांगुली। उन्होंने कहा, “यह सवाल नहीं है कि यहाँ कौन झूठ बोल रहा है। सवाल यह है कि सच्चाई क्या है? आप सच्चाई जानना चाहते हैं और यह केवल बातचीत से ही सामने आ सकता है।”