मुंबई में छात्रों को सड़कों पर उतर कर विरोध प्रदर्शन के लिए उकसाने के मामले में गिरफ्तार ‘हिंदुस्तानी भाऊ’ के नाम से सोशल मीडिया पर मशहूर विकास पाठक ने बुधवार (2 फरवरी 2022) को कोर्ट में बिना शर्त माफी माँग ली। इस बात की जानकारी पाठक के वकील महेश मुल्या ने दी है। उन्होंने कहा कि कारण सही था, लेकिन इसका दुरुपयोग करते हुए प्रदर्शन को दंगे में बदल दिया गया।
हिंदुस्तानी भाऊ और इकरार खान को कक्षा 10 और 12 के छात्रों को ऑनलाइन परीक्षा की माँग करने के लिए भड़काने पर मंगलवार (1 फरवरी) को गिरफ्तार किया गया था। इन दोनों के आह्वान पर मुंबई के धारावी में छात्रों की बड़ी सभा हुई थी और इस जगह ये लोग भी मौजदू थे। बाद में छात्र शिक्षा मंत्री वर्षा गायकवाड़ के घर के बाहर जमा हो गए। नागपुर में भी ऐसी ही भीड़ ने दो बसों में तोड़फोड़ की।
पाठक ने 24 जनवरी को अपलोड किए गए अपने वीडियो में कहा था, “इन दो वर्षों में कई लोगों की मौत कोविड के कारण हुई। अब तक, परिवार सदमे से उबर रहे हैं। और अब ओमाइक्रोन का नया नाटक शुरू हो गया है। यह क्या है? सरकार लोगों से घर के अंदर रहने का आग्रह कर रही है, फिर वह छात्रों की परीक्षा ऑफलाइन क्यों ले रही है?” पाठक ने यूट्यूब पर इस वीडियो को ‘परीक्षा रद्द करो। बच्चों के जान के साथ मत खेलो वर्ना होगा फिर से आंदोलन’ के नाम से साझा किया था। वीडियो को बुधवार तक करीब 4.15 लाख से अधिक बार देखा जा चुका है।
बता दें कि पाठक ने छात्रों को सलाह दी थी कि अगर महाराष्ट्र सरकार ऑनलाइन परीक्षा के लिए नहीं मानती है तो वे सड़क पर उतर कर विरोध प्रदर्शन करें। उन्होंने खुद लाखों छात्रों के साथ शिक्षा मंत्री के घर के बाहर विरोध प्रदर्शन की बात कही थी। बीड़ में भी जिलाधिकारी को ज्ञापन सौंप कर छात्रों ने ऑनलाइन परीक्षाएँ आयोजित करने की माँग की थी।
विरोध प्रदर्शन के दंगे का रूप धारण करते ही मुंबई पुलिस ने पाठक के खिलाफ कार्रवाई की बात कही थी। इसके बाद छात्रों के विरोध प्रदर्शन के बीच मुंबई की धारावी पुलिस ने विकास पाठक को गिरफ्तार लिया था। उन पर आईपीसी की कई धाराओं में मुकदमा दर्ज करते हुए गिरफ्तार कर लिया गया था।