‘इच्छाधारी प्रदर्शनकारी’ योगेंद्र यादव ने धमकी दी है कि यदि तथाकथित ‘किसान प्रदर्शनकारियों’ की माँग पूरी नहीं की जाती है तो वे गणतंत्र दिवस को निशाना बनाएँगे। क्रांतिकारी किसान यूनियन के अध्यक्ष दर्शन पाल ने भी शनिवार (जनवरी 02, 2021) को यही घोषणा की।
योगेंद्र यादव ने कहा, “अगर हमारी माँगें 26 जनवरी तक पूरी नहीं होती हैं, तो किसान दिल्ली में ‘किसान गणतंत्र परेड’ करेंगे। हम राष्ट्रीय राजधानी के निकटवर्ती क्षेत्रों के किसानों से अपील करते हैं कि वे तैयार रहें और देश के हर किसान परिवार से अनुरोध करें कि यदि संभव हो तो एक सदस्य को दिल्ली भेजें।”
If our demands are not met till Jan 26,then farmers will hold ‘Kisan Gantantra Parade’ in Delhi. We appeal to farmers from adjoining areas of national capital to be prepared & request every farmer family of country to send a member to Delhi if possible:Yogendra Yadav,Swaraj India https://t.co/k9UmCQUk1c pic.twitter.com/a1olrK32Ko
— ANI (@ANI) January 2, 2021
किसान आंदोलन की आगे की रणनीति के बारे में बात करते हुए क्रांतिकारी किसान यूनियन के अध्यक्ष दर्शन पाल ने कहा, “23 जनवरी को हम विभिन्न राज्यों में राज्यपालों के घरों की ओर मार्च निकालेंगे और अगर सरकार के साथ बैठक में कोई ठोस हल नहीं निकला तो आने वाली 26 जनवरी को दिल्ली में ‘ट्रैक्टर किसान परेड’ आयोजित की जाएगी।”
उल्लेखनीय है कि दर्शन पाल पीपुल्स डेमोक्रेटिक फ्रंट ऑफ़ इंडिया (PDFI) के संस्थापकों में से एक हैं। बता दें कि पीडीएफआई माओवादी आंदोलन का एक घटक है, जो देश में वामपंथी आतंकवाद का संरक्षक है।
हैदराबाद में डॉ. मैरी चन्ना रेड्डी ह्यूमन रिसोर्स डेवलपमेंट इंस्टीट्यूट द्वारा तैयार किए गए एक अध्ययन के अनुसार, पीडीएफआई माओवादियों द्वारा गठित सामरिक संयुक्त मोर्चा (टीयूएफ) का एक हिस्सा था। दर्शन पाल पीडीएफआई की 51 सदस्यीय कार्यकारी समिति के संयोजक थे।
दर्शन पाल के अलावा, PDFI के अन्य संस्थापक सदस्यों में वरवरा राव, कल्याण राव, मेधा पाटकर, नंदिता हक्सर, एसएआर गिलानी, बीडी सरमा आदि जैसे राष्ट्र-विरोधी और भाजपा-विरोधी नाम शामिल हैं।
इस बीच योगेंद्र यादव लगातार सरकार को धमकी देते रहे हैं। हालाँकि, यह स्पष्ट नहीं है कि वह कब किसान नेता बन गए। सरकार का कहना है कि वह किसान नहीं है और उन्हें सरकार और प्रदर्शनकारियों के बीच वार्ता में भाग लेने की अनुमति नहीं दी गई।
शुक्रवार (जनवरी 01, 2021) को ‘इछछाधारी प्रदर्शनकारी’ ने घोषणा की कि प्रदर्शनकारियों द्वारा 6 जनवरी को कुंडली-मानेसर-पलवल (केएमपी) में एक मार्च आयोजित किया जाएगा। उन्होंने यह भी कहा कि वे शीघ्र ही एक तारीख की घोषणा करेंगे जब वे शाहजहाँपुर सीमा की तरफ आगे बढ़ेंगे।