Friday, May 16, 2025
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पाकिस्तान के लिए जासूसी करने वाला कॉन्स्टेबल गिरफ्तार, सेना से रिटायर होने के बाद पुलिस में हुआ था भर्ती

आरोपित पहले सेना में ही था और 2018 में रिटायर होने के बाद एक्स सर्विसमैन कोटे से हरियाणा पुलिस में भर्ती हुआ था।

पाकिस्तान की खुफिया एजेंसी आईएसआईए (ISI) के लिए जासूसी करने के आरोप में हबीब खान की गिरफ्तारी के बाद अब हरियाणा की पलवल पुलिस ने एक कॉन्स्टेबल को आईएसआई के लिए जासूसी के आरोप में गिरफ्तार किया है। आरोपित पहले सेना में ही था और 2018 में रिटायर होने के बाद एक्स सर्विसमैन कोटे से हरियाणा पुलिस में भर्ती हुआ था।

आरोपित कॉन्स्टेबल की पहचान अंबाला जिले के सुरेंद्र के रूप में हुई है। वह बोह गाँव का रहने वाला है और जिला पुलिस कार्यालय में गार्ड की ड्यूटी पर तैनात था। पुलिस ने उसके पास से दो मोबाइल फोन जब्त किया है। वह व्हाट्सएप के जरिए भारतीय सेना से संबंधित खुफिया सूचनाएँ पाकिस्तानी खुफिया एजेंसी आईएसआई को देता था।

बताया जाता है कि आरोपित सुरेंद्र फेसबुक के जरिए पाकिस्तान की किसी लड़की के संपर्क में था। रिपोर्ट के मुताबिक, पूछताछ में पता चला है कि आरोपित सुरेंद्र 2018 से ही सेना के सीक्रेट्स को दुश्मन देश को बेच रहा था। इसके एवज में आईएसआई ने उसे अब तक 70,000 रुपए दिए हैं। फिलहाल, पुलिस ने आरोपित कॉन्स्टेबल के जब्त किए गए फोन को साइबर टीम के पास भेज दिया है, ताकि पाकिस्तानी महिला के साथ की गई बातचीत का पता लगाया जा सके और अन्य डेटा को रिकवर किया जा सके।

इस मामले में पलवल जिले के एसपी दीपक गहलावत ने कहा है कि मामले की गहनता से जाँच की जा रही है। उन्होंने बताया कि पूछताछ के बाद ये पता चलेगा कि आरोपी ने अभी तक कितनी और किस तरह सूचनाएँ पाकिस्तान को दे चुका है और भविष्य की क्या योजनाएँ थीं?

एसपी गहलावत ने बताया कि आरोपी सुरेंद्र को भारतीय सेना के हवाले करने संबंधी उन्हें अभी तक कोई आदेश नहीं मिला है और अगर भविष्य में इस तरह का आदेश मिलता है तो उसका पालन किया जाएगा।

गौरतलब है कि इससे पहले बीते मंगलवार (13 जुलाई 2021) को दिल्ली पुलिस ने हबीब खान नाम के जासूस को राजस्थान के पोखरण से गिरफ्तार किया था। आरोपित हबीब सेना को कई वर्षों से सब्जी की सप्लाई करता था और इसी की आड़ में वो गोपनीय दस्तावेजों को हासिल कर उन्हें पाकिस्तान भेज देता था। पूछताछ के दौरान उसने ये कबूल किया था कि आगरा कैंट में तैनात जवान परमजीत कौर से उसे सेना की खुफिया जानकारियाँ मिलती थीं।

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ऑपइंडिया स्टाफ़
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कार्यालय संवाददाता, ऑपइंडिया

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