शिवराज सिंह चौहान ने खुजनेर में हे सांप्रदायिक वारदात के बाद पीड़ित बच्चों से मिलने के लिए घटनास्थल पर जाने का ऐलान किया है। उन्होंने दोषियों पर कार्रवाई करने की माँग की।
जिन लोगों ने गणतंत्र दिवस के कार्यक्रम स्थल पर भगदड़ को रोकने में मदद की और बच्चों को बचाया, उनका कहना है कि पुलिस ने दबाव में आकर उन्हें भी इस मामले में आरोपी बना दिया है।
इस ख़बर पर मध्य प्रदेश सरकार की प्रतिक्रिया आई है कि दिल्ली पुलिस को 'मध्य प्रदेश के नागरिक' को गिरफ़्तार करने से पहले वहाँ की पुलिस को जानकारी देनी चाहिए थी।
लोग कर्ज माफ़ी को लेकर किसानों की दिक्कतों को बताने के लिए मंत्री से मिलने आए थे। लेकिन, जल्द ही मंत्री से मिलने पहुँचे लोगों और कॉन्ग्रेस कार्यकर्ताओं के बीच की बहस हाथापाई में बदल गई।
मध्य प्रदेश में 230 विधानसभा सीटें हैं। इनमें कॉन्ग्रेस के 114 विधायक हैं। कमलनाथ ने बसपा के 2, सपा के एक और 4 निर्दलीय विधायकों के समर्थन से राज्य में सरकार बनाई थी।
कॉन्ग्रेस ने किसानों की क़र्ज़माफ़ी के अपने चुनावी जुमले को जनता के बीच जमकर भुनाया था, अब इस प्रकार के प्रकरणों से किसान ऋणमाफ़ी मात्र एक कॉन्ग्रेस का चुनावी पैंतरा बनकर रह गया है।
कुलपति बनाए गए पी नरहरी राजीव गाँधी फाउंडेशन का प्रचार अपने सोशल मीडिया से कर चुके हैं। क्या उनकी सबसे बड़ी क़ाबिलियत फाउंडेशन का प्रचार करना है या इसके पीछे कॉन्ग्रेस की कुछ और ही मंशा है?