"अगर, कोई कोर्ट में हमारे ख़िलाफ़ याचिका दायर कर हम पर उन प्रदर्शनकारियों के ख़िलाफ़ कोई एक्शन न लेने का आरोप लगाता है, जिन्होंने उस दिन बैरीकेड तोड़े और मुख्यमंत्री के पास पहुँच गए, तो ये एफआईआर उन आरोपों में खारिज करने में मददगार होगी।"
जहाँ एक तरफ़ मुख्यमंत्री ममता बनर्जी पदयात्रा कर के लगातार इस क़ानून के विरोध में रैलियाँ कर रही हैं, सीएए के समर्थकों को रोकने के लिए कई इलाक़ों कर्फ्यू लगा दिया जा रहा है। रैली में शामिल होने वाले लोगों पर मुक़दमा भी दर्ज किया जा रहा है।
“भारत में दो करोड़ मुस्लिम घुसपैठिए हैं। अकेले पश्चिम बंगाल में एक करोड़ घुसपैठिए हैं। तुम यहाँ आते हो, हमारा खाना खाते हो, यहाँ रहते हो और सार्वजनिक संपत्ति को नुकसान पहुँचाते हो। क्या यह तुम्हारी जमींदारी है? हम तुम्हें लाठियों से मारेंगे, गोली मारेंगे और तुम्हें जेल में डाल देंगे।”
“पश्चिम बंगाल की, देश की भावना को नमन करते हुए मैं कोलकाता पोर्ट ट्रस्ट का नाम, औद्योगीकरण के प्रणेता, बंगाल के विकास का सपना लेकर जीने वाले और एक देश-एक विधान के लिए बलिदान देने वाले डॉक्टर श्यामा प्रसाद मुखर्जी के नाम पर करने की घोषणा करता हूँ।"
लोकसभा चुनाव से पहले विपक्ष का जमावड़ा लगाने वाली ममता अब उनसे कन्नी काटने लगी है। बंगाल में कॉन्ग्रेस ने विधायक दल का नेता अब्दुल मन्नान को बनाया जाना भी उन्हें रास नहीं आया। मन्नान राज्य के प्रमुख मुस्लिम नेता है। इसके अलावा ओवैसी की गतिविधियों से भी उनकी चिंता बढ़ी हुई है।
पुलिस ने बताया कि पीड़िता और इस अपराध के पीछे का मास्टमाइंड महबूर मियाँ खान पिछले एक साल से संबंध में थे। रविवार को लड़की अपने घर से बाजार जाने को कहकर निकली थी। लेकिन महबूर उसे अपने साथ बेलखोर इलाके में सुनसान जगह ले गया और...
ममता बनर्जी ने दिल्ली में होने वाली विपक्षी पार्टियों की बैठक का बहिष्कार कर दिया है। उन्होंने आरोप लगाया है कि कॉन्ग्रेस और वामदल पश्चिम बंगाल में गंदी राजनीति कर रहे हैं। वह अब अकेले नागरिकता संशोधन कानून और एनआरसी के खिलाफ लड़ाई लड़ेंगी।
उत्तर 24 परगना में हृदयपुर के पास रेलवे ट्रैक से पुलिस ने चार देसी बम बरामद किए। कूच बिहार में प्रदर्शनकारियों ने बस पर पथराव किया। राज्य में सीएए के विरोध के नाम पर भी जमकर हिंसा हुई थी।
मृतका के परिजन भाजपा से जुड़े हैं। उसका शव स्थानीय लोगों ने एक पुलिए के नीचे देखा। शव को जानवरों ने नोंच डाला था। रेप के बाद धारदार हथियार से हत्या कर शव जलाए जाने की आशंका जताई जा रही है।
यौन शोषण के आरोपित असदुल सलाम की मौत के बाद मजहबी भीड़ ने हिंदुओं के घरों और संपत्तियों को आग के हवाले कर दिया। रेल पटरी को जाम कर दिया। बावजूद बंगाल पुलिस तमाशबीन बनी रही। वह हरकत में तब आई जब उत्पातियों ने बम फेंके और पुलिस भी उसके निशाने पर आ गई।