देश में वामपंथियों का बचा एकमात्र गढ़ केरल महिलाओं के खिलाफ बढ़ते खतरे को लेकर चर्चा में है। ट्विटर पर #JusticeforKeralagirls ट्रेंड कर रहा है। लोग एक 6 साल की बच्ची के साथ हुई बर्बरता से आहत हैं। अपनी बच्चियों को, घर की महिलाओं को को वामपंथ के घोले जहर और इस्लामी कट्टरता से बचाना चाहते हैं।
पिछले दिनों वेंदीपेरियार में एक 6 साल की मासूम की रेप के बाद हत्या कर दी गई। मामला खुला तो वर्तमान विधायक उसकी पोस्टमॉर्टम का विरोध करने लगे। तमाम अवरोध के बाद भी जब जाँच आगे बढ़ी तो पता चला घिनौने काम को अंजाम देने वाला कोई और नहीं, बल्कि माकपा का ही कार्यकर्ता था जिसने बच्ची का शोषण किया और बाद में उसे नरकीय प्रताड़ना देते हुए मारा। आज उसी बच्ची के साथ हुई निर्ममता का गुस्सा था कि ग्रामीणों ने पुलिस से भिड़कर आरोपित को पीटा।
यह हालिया घटना केवल एक मामला नहीं है जिसके आधार पर लोग वामपंथ के केरल मॉडल को कोस रहे हैं। इंटरनेट पर यदि सर्च करने जाएँ तो ऐसे तमाम मामले हैं जिनसे स्पष्ट है कि राज्य में महिलाएँ कई तरह के खतरों से जूझ रही हैं। केरल पुलिस की आधिकारिक साइट के अनुसार मई 2021 तक राज्य में 886 रेप के मामले, 1437 मोलेस्टेशन के केस, किडनैपिंग के 75, छेड़छाड़ के 149, घरेलू हिंसा के 1159, और अन्य अपराधों की सूची में 1502 मामले दर्ज हुए थे। कुल मिलाकर केवल 2021 के शुरुआती 5 महीनों में दर्ज हुए अपराधों की संख्या 5208 है। पिछले साल केरल में महिलाओं के ख़़िलाफ़ हुए अपराधों के 12,659 मामले प्रकाश में आए थे।
भाजपा के आईटी सेल प्रमुख अमित मालवीय ने ट्वीट कर कहा है, “सीपीआईएम के केरल मॉडल ने महिलाओं और लड़कियों के लिए राज्य को असुरक्षित कर दिया है। संख्या आप को चौंका देगी।” उनके अनुसार वामपंथ के केरल मॉडल में दलित महिलाओं को निशाना बनाना आसान है।
CPIM’s #KeralaModel has made the State unsafe for women and young girls. The numbers will shock you.
— Amit Malviya (@amitmalviya) July 12, 2021
– 23,002 Molestation
– 10,433 Rapes
– 6,220 Child rapes
– 75,180 Cognizable crimes against women and 20,497 against children
Dalit women are easy target.#JusticeForKeralaGirls pic.twitter.com/Wuh7Eb3g8k
बता दें कि 6 वर्ष की बच्ची के साथ हुआ दुष्कर्म पहला ऐसा मामला नहीं है जहाँ माकपा के कार्यकर्ता आरोपित मिले हों। अभी पिछले महीने ही केरल के कोझीकोड जिले में पुलिस ने सीपीएम के दो नेताओं के खिलाफ दुष्कर्म का मामला दर्ज किया गया था। आरोप लगाने वाली महिला पार्टी की ब्रांच कमिटी मेंबर थी। इस मामले में पहले आरोपित की पहचान पुलुल्ला परमबथ बाबुराज सीपीएम मुल्लियेरी ब्रांच के सचिव के तौर पर हुई थी, जबकि दूसरा आरोपित टीपी लिजीश पार्टी के यूथ विंग डीवाईएफआई (DYFI) का पथियाराक्कारा क्षेत्र का सचिव था।
इसके अलावा साल 2019 में सत्तारूढ़ मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी (माकपा/CPM) नेता कोदियेरी बालाकृष्णन के बड़े बेटे बिनॉय कोदियेरी के खिलाफ मुंबई की एक महिला ने बलात्कार का मामला दर्ज किया था। इसी तरह उसी साल एक 20 साल की लड़की ने बताया था कि केरल के पलक्कड़ जिले में माकपा के क्षेत्रीय समिति कार्यालय में उसके साथ बलात्कार किया गया था।
केरल से रिपोर्ट होने वाले ऐसे रेप, शोषण और अत्याचार के मामलों की सूची बहुत लंबी है। सिर्फ सीपीएम सदस्य ही नहीं बल्कि केरल से चर्च में महिलाओं के साथ शोषण के मामले लगातार आते रहे हैं। लव जिहाद की घटना भी धड़ल्ले से हो रही है। केरल के पूर्व कॉन्ग्रेसी नेता पीसी जॉर्ज का दावा है कि अकेले उनके निर्वाचन क्षेत्र में 47 लड़कियाँ लव जिहाद का शिकार हुईं थी। वलसाड जिले के भाजपा उपाध्यक्ष विवेक राय का कहना है कि केरल में 5 माह में 1513 रेप की घटनाएँ हुई है और 15 बच्चों ने अपनी जान गँवाई है।
Shocking sexual assault cases in Kerala;
— Vivek Rai BJP🇮🇳 (@Vivekra0043) July 12, 2021
1513 rape cases in 5 months,
15 children lost their lives .#justiceforkeralagirls pic.twitter.com/T8oLSy9txD