Saturday, November 2, 2024
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31 जुलाई तक ‘वन नेशन वन राशन कार्ड’ स्कीम लागू करें सभी राज्य: प्रवासी मजदूरों के हित में सुप्रीम कोर्ट का बड़ा फैसला

केंद्र सरकार को सुप्रीम कोर्ट ने ये भी निर्देश दिया है कि वह प्रवासी मजदूरों के अनाज की आपूर्ति के लिए राज्यों के डिमांड के आधार पर उन्हें अनाज मुहैया कराए। साथ ही राज्यों को कहा है कि वह मजदूरों को जब तक कोरोना महामारी की स्थिति बनी हुई है ड्राई राशन मुहैया कराता रहे।

वन नेशन वन राशन कार्ड स्कीम को लेकर सुप्रीम कोर्ट ने राज्य सरकारों को बड़ा आदेश दिया है। सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि तमाम राज्य वन नेशन वन राशन कार्ड की स्कीम 31 जुलाई तक लागू करें। सुप्रीम कोर्ट के जस्टिस अशोक भूषण की अगुवाई वाली बेंच ने मंगलवार (जून 29, 2021) को यह महत्वपूर्ण फैसला सुनाया है। कोर्ट ने कहा कि हर राज्य अनिवार्य तौर पर वन नेशन वन राशन कार्ड की स्कीम लागू करें। ताकि प्रवासी मजदूरों को देश के किसी भी हिस्से में राशन कार्ड पर सरकारी स्कीम फायदा मिल सके।

साथ ही सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि राज्य और केंद्रशासित प्रदेश कोरोना की महामारी जब तक है, तब तक वो प्रवासी मजदूरों के लिए सामुदायिक रसोई संचालित करें। शीर्ष अदालत ने राज्यों को 1979 के कानून के तहत सभी ठेकेदारों को रजिस्टर करने का भी निर्देश दिया। सुप्रीम कोर्ट ने प्रवासी मजदूरों के वेलफेयर के लिए अन्य निर्देश भी जारी किए हैं। सुप्रीम कोर्ट ने केंद्र सरकार से कहा है कि वह एनआईसी से संपर्क करे सभी असंगठित मजदूरों और प्रवासी मजदूरों के रजिस्ट्रेशन के लिए पोर्टल तैयार करे। ये प्रक्रिया 31 जुलाई तक शुरू हो जानी चाहिए।

राज्‍यों को डिमांड के आधार पर अनाज मुहैया कराए केंद्र

केंद्र सरकार को सुप्रीम कोर्ट ने ये भी निर्देश दिया है कि वह प्रवासी मजदूरों के अनाज की आपूर्ति के लिए राज्यों के डिमांड के आधार पर उन्हें अनाज मुहैया कराए। साथ ही राज्यों को कहा है कि वह मजदूरों को जब तक कोरोना महामारी की स्थिति बनी हुई है ड्राई राशन मुहैया कराता रहे। साथ ही राज्यों को कहा है कि वह कम्युनिटी किचन चलाता रहे और जब तक कोरोना महामारी की स्थिति है कम्युनिटी किचन चले ताकि प्रवासी मजदूरों को उसका लाभ मिल सके। सुप्रीम कोर्ट ने राज्यों को कहा है कि तमाम संबंधित संस्थान और कॉन्ट्रैक्टर को इंटर स्टेट माइग्रेंट वर्कर्स एक्ट 1979 के तहत रजिस्टर्ड किया जाए।

मजदूरों की रजिस्‍ट्रेशन प्रक्रिया तेज की जाए

सुप्रीम कोर्ट ने पिछले आदेश में कहा था कि प्रवासी मजदूरों की रजिस्ट्रेशन प्रक्रिया काफी धीमी है। रजिस्ट्रेशन प्रक्रिया निश्चित तौर पर तेज किया जाए ताकि कोविड के समय इन प्रवासी मजदूरों को बेनिफिट वाली योजनाओं का लाभ मिल सके। अदालत ने कहा कि प्रवासी मजदूरों और गैर संगठित क्षेत्रों के मजदूरों के रजिस्ट्रेशन प्रक्रिया तेज की जाए। रजिस्ट्रेशन के बाद ही अथॉरिटी से उनकी पहचान सुनिश्चित होगी और उन्हें तमाम बेनिफिट योजनाओं का लाभ मिल सकेगा। सुप्रीम कोर्ट ने कोविड के मद्देनजर प्रवासी मजदूरों को होने वाली परेशानी के मद्देनजर संज्ञान लिया था और उस मामले की सुनवाई के दौरान उक्त आदेश पारित किए गए हैं।

क्या है वन नेशन वन राशन कार्ड

वन नेशन-वन राशन कार्ड हर राज्य में लागू होगी। प्रवासी किसी भी राज्य के राशन डिपो से इस कार्ड की मदद से राशन ले सकता है। अगस्त 2020 तक यह व्यवस्था पूरे देश में लागू होगी। वन नेशन, वन राशन कार्ड योजना में देश में रहने वाली किसी भी नागरिक का एक ही राशन कार्ड होगा। वह कहीं से भी राशन ले सकेगा। इस स्कीम का फायदा उन लोगों को मिलेगा, जिसके पास राशन कार्ड होगा। राशनकार्ड धारक देश के किसी भी हिस्से की सरकारी राशन दुकान से कम कीमत पर अनाज खरीद सकेंगे।

स्कीम से क्या-क्या होगा फायदा

इस स्कीम का सबसे बड़ा फायदा गरीबों को मिलेगा। एक जगह से दूसरी जगह शिफ्ट होने वालों को फायदा मिलेगा। फर्जी राशन कार्ड पर रोक लगाने में भी मदद मिलेगी। सभी राशन कार्डों को आधार कार्ड से जोड़ने और प्वाइंट ऑफ सेल मशीन के जरिए अनाज बाँटने की व्‍यवस्‍था जल्द शुरू होगी।

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ऑपइंडिया स्टाफ़
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कार्यालय संवाददाता, ऑपइंडिया

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