Saturday, May 17, 2025
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‘सुपरमार्केट और किराना की दुकानों में शराब बिक्री का फैसला दुर्भाग्‍यपूर्ण’: अन्ना हजारे ने ठाकरे सरकार को आड़े हाथों लिया

राज्य के लोग जहाँ सरकार के फैसले का विरोध कर रहे हैं, वहीं सरकार के लोग इसका समर्थन कर रहे हैं। यह राज्य के लोगों के लिए दुर्भाग्यपूर्ण है कि महाराष्ट्र की सरकार ने केवल राजस्व के लिए शराब की बिक्री को इस तरह से प्राथमिकता दी है।

सामाजिक कार्यकर्ता अन्ना हजारे (Anna Hazare) ने सोमवार (31 जनवरी 2022) को महाराष्ट्र सरकार को आड़े हाथों लेते हुए उनके सुपरमार्केट और किराना की दुकानों में शराब बिक्री के (Maharashtra Government) फैसले को दुर्भाग्‍यपूर्ण बताया। हजारे ने उद्धव ठाकरे सरकार का विरोध करते हुए कहा, “नशामुक्ति की दिशा में काम करना सरकार का कर्तव्य है, लेकिन मुझे यह देखकर दुख होता है कि वित्तीय लाभ के लिए सरकार ऐसे निर्णय ले रही है, जिसके परिणामस्‍वरूप लोगों को शराब की लत लगेगी।”

उन्होंने आगे कहा कि राज्य के लोग जहाँ सरकार के फैसले का विरोध कर रहे हैं, वहीं सरकार के लोग इसका समर्थन कर रहे हैं। यह राज्य के लोगों के लिए दुर्भाग्यपूर्ण है कि महाराष्ट्र की सरकार ने केवल राजस्व के लिए शराब की बिक्री को इस तरह से प्राथमिकता दी है।

बता दें कि महाराष्ट्र सरकार ने 27 जनवरी को कैबिनेट की बैठक में किराना दुकानों और सुपर मार्केट में शराब की बिक्री का निर्णय लिया था। उन्होंने यह फैसला शराब की बिक्री से होने वाले राजस्व को बढ़ाने के लिए लिया है, जिसका भाजपा पुरजोर विरोध कर रही है।

इसके लिए राज्‍य सरकार 1000 वर्ग फुट से अधिक के सुपरमार्केट और किराना दुकानों में अलग काउंटर बनाकर शराब की बिक्री की अनुमति देगी। राकांपा प्रवक्ता और राज्य सरकार में मंत्री नवाब मलिक ने इस फैसले पर सहमति जताते हुए कहा था कि राज्य में शराब बनाने की कई फैक्ट्रियाँ हैं। यह फैसला शराब उत्पादकों की मदद के लिए ही लिया है।

वहीं, विपक्ष के नेता देवेंद्र फडणवीस ने विरोध जताते हुए कहा था कि राज्‍य की महाविकास अघाड़ी सरकार ने कोरोना काल में किसानों, गरीब और छोटे व्यापारियों के हित में एक भी फैसला नहीं लिया है। सरकार की प्राथमिकता तो सिर्फ शराब है। सत्ता के नशे में चूर सरकार को भी गरीबों की थोड़ी मदद करनी चाहिए।

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ऑपइंडिया स्टाफ़
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कार्यालय संवाददाता, ऑपइंडिया

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