कॉन्ग्रेस पार्टी ने लोकसभा चुनाव 2024 के लिए अपने घोषणापत्र में कई अव्यावहारिक वादे किए हैं, हालाँकि उसका सबसे बड़ा वादा किसानों को एमएसपी की कानूनी गारंटी देना है, खासकर उन 23 फसकों पर एमएमसी की गारंटी, जिनकी माँग किसान आंदोलन के दौरान की जा रही थी। लेकिन कॉन्ग्रेस इन गारंटियों को लेकर कितनी गंभीर है और इन गारंटियों को लेकर उसने कितने गंभीर तरीके से काम किया है, इसकी पोल तब खुल गई, जब कॉन्ग्रेस के ‘डाटा एनलिस्ट डिपार्टमेंट’ के हेड प्रवीण चक्रवर्ती ‘द वायर’ के साथ एक इंटरव्यू में शामिल हुए। वो राहुल गाँधी द्वारा स्वामीनाथन आयोग की सिफारिशों के हिसाब से 23 फसलों की एमएसपी की गारंटी की बात से पीछे हटते दिखे।
द वायर के ‘पत्रकार’ करन थापर के इंटरव्यू में पहुँचे प्रवीण चक्रवर्ती के पास प्रदर्शनकारी किसानों की माँगों को लेकर किए गए कॉन्ग्रेस की गारंटी के वादे पर कोई जवाब नहीं था। किसान सरकार से 23 फसकों पर एमएसपी पर कानूनी गारंटी माँग रहे हैं। वो भी स्वामीनाथन आयोग की सिफारियों (C2+50% फॉर्मूला) के आधार पर। प्रवीण चक्रवर्ती ने बड़ी बेशर्मी से कह दिया कि कॉन्ग्रेस पार्टी ने ऐसा कोई वादा अपने घोषणा पत्र में नहीं किया है। यही नहीं, वो ये भी नहीं बता पाए कि अगर कॉन्ग्रेस सत्ता में आती है, तो वो किन खास फसलों पर एमएसपी की कानूनी गारंटी देगी।
राहुल गाँधी द्वारा स्वामीनाथन आयोग (जो एमएसपी के फार्मूले के रूप में सी2+50% का हवाला देता है) को लागू करने की गारंटी लेने के बावजूद प्रवीण चक्रवर्ती ने किसानों की इनपुट लागत का 1.5 गुना न्यूनतम समर्थन मूल्य से पल्ला झाड़ लिया। उन्होंने कॉन्ग्रेस के घोषणापत्र (पेज 17) का हवाला देते हुए साफ कहा कि फसलों की एमएसपी पर कानूनी गारंटी के बारे में विस्तार से घोषणापत्र में जानकारी नहीं दी गई है। उन्होंने इतना लिखा है कि “कांग्रेस स्वामीनाथन आयोग की सिफारिश के अनुसार, हर साल सरकार द्वारा घोषित न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) को कानूनी गारंटी देगी।”
Must Watch!
— Ankur Singh (Modi Ka Parivar) (@iAnkurSingh) April 11, 2024
Praveen Chakravarty, who prepared Congress Manifesto, says they have no idea about how many people will get benefit from their promise and what will it cost.
Later says total cost will be '1 lakh crore per year'
Congress has promised:
1. 1 lakh per year to… pic.twitter.com/jnbhs1IIFg
इस दौरान जब करन थापन ने प्रवीण चक्रवर्ती से कहा कि अगर सरकार सभी 23 फसलों पर एमएसपी की कानूनी गारंटी देती है, तो इससे खाद्य महंगाई 25-30% पढ़ जाएगी। इस बात पर कॉन्ग्रेस के डाटा एनलिस्ट डिपार्टमेंट के हेड ने कहा, “आपका दावा काल्पनिक है, क्योंकि मेनिफेस्टों में 23 गिनती का कोई जिक्र नहीं है। न ही स्वामीनाथन आयोग या किसी फॉर्मूले का जिक्र है।”
इस दौरान जब करन थापर ने पूछा कि ”कॉन्ग्रेस कितनी फसलों पर एमएसपी की गारंटी देगी अगर सभी 23 पर नहीं देगी तो?” इस पर प्रवीण चक्रवर्ती ने कोई जवाब नहीं दिया। उन्होंने कहा कि ‘इस पर विस्तार से बहस की जरूरत है।’ थापर ने इस दौरान चक्रवर्ती को ‘प्रदर्शनकारी किसानों’ की माँग पर पार्टी के आश्वासन को याद दिलाया तो चक्रवर्ती उखड़ पड़े। उन्होंने कहा, “किसान एमएसपी पर कानूनी गारंटी चाहते थे, उन्हें कानूनी गारंटी दी गई है। कौन सी फसले होंगी, कौन सा फॉर्मूला होगा, कौन सी नई फसलों को उस लिस्ट में शामिल किया जाएगा और कौन सी मौजूदा फसलों को हटाया जाएगा, इस पर फैसला अभी लिया जाना बाकी है।”
No home work. No understanding of issues. No planning. No Co-ordinated narrative. And INC want to govern this nation. With Pappu as PM of India. https://t.co/WkmhtHhf4N
— Sthanunath Iyer (@seeking_shambho) April 11, 2024
थापन ने जोर देकर कहा, “एक घोषणापत्र विशिष्ट और सटीक होना चाहिए। आपने पहले तर्क दिया कि आप लागत निर्धारण नहीं कर सकते, हमने समझाया है कि लागत निर्धारण क्यों आवश्यक था। आपको जानकारियों का अभाव है। आप को ये नहीं पता है कि कितनी फसलों को एमएसपी में शामिल किया जाएगा, अब आप फॉर्मूले पर भी गोलमोल जवाब दे रहे हैं कि सी2+50% फॉर्मूला नहीं, कोई और फॉर्मूला हो सकता है।”
सवाल का जवाब देने के बजाय, प्रवीण चक्रवर्ती ने भाजपा पर अपने घोषणापत्र में विशिष्ट बातें नहीं होने का आरोप लगाया। उन्होंने कहा, “हमारे लोग (कॉन्ग्रेस) बजट नहीं बना रहे हैं। हमारे पास बहुत सारी जानकारी है ही नहीं।
करण थापर ने जोर देकर कहा, “मैं आपसे पूछ रहा हूँ कि क्या आप सभी 23 फसलों पर एमएसपी की गारंटी देंगे, आपका जवाब था कि हम ऐसा कर सकते हैं, फिर आप बोल रहे हैं कि शायद हम नहीं कर सकते। आपने ही कहा कि एमएमसपी का फॉर्मूला C2+50% नहीं हो सकता। आप एमएसपी पर गारंटी को लेकर दो तरह की बातें कर रहे हैं।”
राहुल गाँधी ने फरवरी में दी थी गारंटी
बता दें कि इस साल फरवरी में कॉन्ग्रेस नेता राहुल गाँधी ने एक ट्वीट में लिखा था, “किसान भाइयों आज ऐतिहासिक दिन है! कॉन्ग्रेस ने हर किसान को फसल पर स्वामीनाथन कमीशन के अनुसार MSP की कानूनी गारंटी देने का फैसला लिया है। यह कदम 15 करोड़ किसान परिवारों की समृद्धि सुनिश्चित कर उनका जीवन बदल देगा। न्याय के पथ पर यह कॉन्ग्रेस की पहली गारंटी है।”
किसान भाइयों आज ऐतिहासिक दिन है!
— Rahul Gandhi (@RahulGandhi) February 13, 2024
कांग्रेस ने हर किसान को फसल पर स्वामीनाथन कमीशन के अनुसार MSP की कानूनी गारंटी देने का फैसला लिया है।
यह कदम 15 करोड़ किसान परिवारों की समृद्धि सुनिश्चित कर उनका जीवन बदल देगा।
न्याय के पथ पर यह कांग्रेस की पहली गारंटी है।#KisaanNYAYGuarantee
कॉन्ग्रेस के ‘डेटा एनालिटिक्स डिपार्टमेंट’ के हेड द्वारा एमएसपी वादों पर कोई ठोस जवाब नहीं देने का फैसला दर्शाता है कि कॉन्ग्रेस अपने ही वादों और योजनाओं को वास्तविक रूप से लागू करने को लेकर कितनी गंभीर है। वो भी तब, जब उसके नेता राहुल गाँधी अपनी गारंटियों में स्वामीनाथन आयोग की सिफारिशों के आधार पर एमएसपी को कानूनी गारंटी देने की बात कह रहे हैं।
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