Friday, November 15, 2024
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INX मीडिया केस: तिहाड़ से बाहर आएँगे चिदंबरम, 21 अगस्त को हुई थी गिरफ्तारी

आईएनएक्स मीडिया केस में सीबीआई ने पूर्व वित्तमंत्री चिदंबरम को 21 अगस्त को गिरफ्तार किया गया था। पूछताछ के बाद उन्हें 6 सितंबर को तिहाड़ जेल भेज दिया गया था। सीबीआई ने मई 2017 को चिदंबरम के खिलाफ एफआईआर दर्ज की थी।

सुप्रीम कोर्ट में जस्टिस आर बानुमति, जस्टिस एएस बोपन्ना और जस्टिस हृषिकेश रॉय की तीन जजों की बेंच ने आईएनएक्स मीडिया मनी लॉन्ड्रिंग मामले में प्रवर्तन निदेशालय (ED) द्वारा दर्ज मामले में पूर्व केंद्रीय वित्त मंत्री पी चिदंबरम को जमानत दे दी है। वे 106 दिन से हिरासत में थे। फिलहाल वे तिहाड़ जेल में हैं। इसी मामले में सीबीआई के केस में सुप्रीम कोर्ट से पहले ही चिदंबरम को जमानत मिल चुकी है।

अदालत ने फैसला सुनाते हुए कहा कि चिदंबरम जमानत पर छूटने के बाद गवाहों से संपर्क करने की कोशिश नहीं करेंगे और कोर्ट की इजाजत के बगैर विदेश नही जाएँगे। साथ ही केस के बारे में प्रेस ब्रीफ़िंग नहीं करेंगे। सुप्रीम कोर्ट ने अपने फैसले में कहा कि आर्थिक अपराध काफी गंभीर अपराध होते हैं, लेकिन जमानत का भी कानूनी प्रावधान हैं। कोर्ट ने कहा, “जमानत का फैसला केस की मेरिट पर निर्भर करता है। जमानत देना कानून के प्रावधान में है।” कोर्ट ने चिदंबरम को 2-2 लाख के श्योरटी और निजी मुचलके पर जमानत दी है।

इससे पहले दिल्ली हाई कोर्ट ने नवंबर में आईएनएक्स-मीडिया से जुड़े ED के मामले में पी चिदंबरम की जमानत याचिका खारिज कर दी थी। न्यायमूर्ति सुरेश कुमार कैत की अध्यक्षता वाली हाई कोर्ट की एकल पीठ ने राहत प्राप्त करने की चिदंबरम की याचिका खारिज करते हुए कहा था कि उनके खिलाफ आरोप गंभीर प्रकृति के हैं और यह मामला उन्हें जमानत देने के लिए सही नहीं है।

हाई कोर्ट के इसी आदेश को चिदंबरम ने सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दी थी। सुप्रीम कोर्ट ने पिछले हफ्ते इस पर सुनवाई की और अपना फैसला सुरक्षित रख लिया था। बुधवार (4 दिसंबर, 2019) को कोर्ट ने कई शर्तों के साथ उन्हें जमानत दे दी।

उल्लेखनीय है कि आईएनएक्स मीडिया केस में सीबीआई ने पूर्व वित्तमंत्री चिदंबरम को 21 अगस्त को गिरफ्तार किया गया था। पूछताछ के बाद उन्हें 6 सितंबर को तिहाड़ जेल भेज दिया गया था। सीबीआई ने मई 2017 को चिदंबरम के खिलाफ एफआईआर दर्ज की थी। उस समय पी चिदंबरम वित्त मंत्री थे। कॉन्ग्रेस नेता पर पद का दुरुपयोग और मनी लॉन्ड्रिंग का आरोप है।

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ऑपइंडिया स्टाफ़
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कार्यालय संवाददाता, ऑपइंडिया

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