खुद को देवी का रूप बताने वाली सुभद्रा यादव लॉकडाउन के बावजूद अपने घर में लोगों को इकट्ठा कर झाड़-फूँक कर रही थी। पुलिस जब मौके पर पहुॅंची तो उसने तलवार निकाल कर कार्रवाई का विरोध किया।
उत्तर प्रदेश में पुलिस ने एक ट्वीट के द्वारा बताया कि उन्होंने व्हाट्सएप के जरिए बुजुर्ग की दवा मँगवाकर उनके घर तक पहुँचाई। इसी के साथ जरूरतमंद लोगों के घरों तक किचन से सम्बंधित खाने की वस्तुएँ भी उपलब्ध करवा रही है।
जिले में घोषित लॉकडाउन के बाद भी एक मौलवी द्वारा मदरसे में बच्चों को पढ़ाया जा रहा था। इसकी जानकारी जब जिला प्रशासन को हुई तो उसने तत्काल कार्रवाई करते हुए मदरसा संचालक को हिरासत में ले लिया।
गाड़ी से उतरे व्यक्ति को मास्क और ग्लब्स दिए जाते हैं और उन्हें पहनने को कहा जाता है। इसके बाद मामला संदिग्ध पाया जाने पर पुलिस उन्हें लेकर हॉस्पिटल जाती हैं। लेकिन हाँ, हॉस्पिटल ले जाने से पहले पुलिस स्प्रे मार कर गाड़ी को सैनिटाइज करना नहीं भूलती। ये है यूपी पुलिस।
पीलीभीत निवासी पीड़ित युवक की माँ 25 फरवरी को 37 लोगों के एक ग्रुप के साथ सऊदी अरब की यात्रा पर गई थी। 20 मार्च को ये लोग लौट आए थे। जाँच में युवक की माँ को कोरोना पॉजीटिव पाया गया था।
तड़के 3 बजे रामलला की मूर्ति को गोद में लेकर सीएम योगी अस्थायी मंदिर की ओर चले। 9.5 किलो चाँदी के सिंहासन पर पूरी मंत्रोच्चार के साथ उन्हें विराजमान किया। अब भव्य राम मंदिर का निर्माण मूल 'गर्भगृह' में किया जाएगा।
कोरोना वायरस का संक्रमण रोकने के लिए केंद्र सरकार ने पूरे देश में 21 दिनों के लॉकडाउन का फैसला किया है। यूपी सरकार ने इस दौरान सब्जी, फल, दूध, दवा और अन्य आवश्यक वस्तुएँ लोगों के घर तक पहुॅंचाने की व्यवस्था का ऐलान किया है।
पुलिस ने माईक लेकर पूरे शहर के लोगों से घरों के अंदर रहने का आह्वान किया साथ ही मस्जिदों के मौलवियों से अपील की कि वह अपने लोगों से कहें कि कुछ दिनों तक सभी लोग मस्जिद में न आकर अपने घर पर ही नमाज पढ़ें। इसके बाद ही मामला शांत हुआ।
जिस समय ये वारदात घटी उस समय बच्ची अपने घर में अकेली थी। उसके माता-पिता व बहन खेतों पर फसल की कटाई करने गए थे। देर शाम जब परिजन घर पहुँचे तो वहाँ का नजारा देख उनके होश उड़ गए। घर में बिटिया का शव नग्न अवस्था में मिला।
आयोजकों ने एक साजिश के तहत 21 मार्च की रात से ही मैसेज वायरल कर हजारों लोगों को इकट्ठा किया। इसके बाद रविवार सुबह जहाँ पूरा शहर कोरोनावायरस से लड़ने के लिए घरों में कैद था, वहीं ईदगाह मैदान में प्रदर्शनकारी धरने पर थे। इन सभी लोगों पर दूसरों की जान से खिलवाड़ करने के आरोप में FIR दर्ज किया गया है।