Sunday, September 1, 2024
Homeदेश-समाजArticle 370: SC पहुॅंचा कश्मीरी पंडितों का संगठन, कहा- फैसले से पहले हमारी भी...

Article 370: SC पहुॅंचा कश्मीरी पंडितों का संगठन, कहा- फैसले से पहले हमारी भी सुन लीजिएगा

जम्मू-कश्मीर के पुनर्गठन और अनुच्छेद 370 के प्रावधानों को निष्प्रभावी करने के फैसले के ख़िलाफ़ 6 लोगों ने सर्वोच्च न्यायालय में याचिका दायर की थी। इनमें पूर्व एयर वाइस मार्शल कपिल काक भी शामिल थे।

आर्टिकल 370 पर केंद्र सरकार के फैसले को चुनौती देने वाली याचिका के ख़िलाफ़ कश्मीरी पंडितों के एक संगठन ने सुप्रीम कोर्ट में केविएट दायर की है। रूट्स इन कश्मीर (RIK) की ओर से केविएट वकील बिमल रॉय ने दायर की है।

इसके माध्यम से शीर्ष अदालत से अपील की गई है कि उनका पक्ष सुने बिना आर्टिकल 370 पर लिए फैसला को चुनौती देने वाली याचिका पर किसी तरह का निर्देश जारी नहीं किया जाए।

गौरतलब है कि कुछ दिन पहले जम्मू-कश्मीर के पुनर्गठन और अनुच्छेद 370 के प्रावधानों को निष्प्रभावी करने के फैसले के ख़िलाफ़ 6 लोगों ने सर्वोच्च न्यायालय में याचिका दायर की थी। इन लोगों में पूर्व एयर वाइस मार्शल कपिल काक और रिटॉयर्ड मेजर अशोक मेहता शामिल थे। इनके अलावा मनमोहन सरकार में कश्मीर पर वार्ताकार रहीं राधा कुमार, जम्मू और कश्मीर कैडर से संबंधित पूर्व आईएएस अधिकारी हिंडल हैदर तैयबजी, पंजाब कैडर के पूर्व आईएएस अभिताभ पांडे के भी इस याचिका पर हस्ताक्षर थे।

कश्मीरी पंडितों के संगठन RIK का मानना है कि आर्टिकल 370 और आर्टिकल 35ए के तहत एक मुस्लिम बहुल राज्य को मिले विशेष प्रावधान का जम्मू-कश्मीर को इस्लामिक स्टेट बनाने के लिए दुरुपयोग किया जा रहा था। ये अनुच्छेद न केवल पंडितों की कश्मीर में वापसी में बाधा थे, बल्कि उन हजारों लोगों को न्याय दिलाने में भी बाधक थे, जो आतंकवाद का शिकार हुए हैं।

केविएट दायर करने वाले संगठन की मानें तो इन अनुच्छेदों के निष्प्रभावी होने से अब अल्पसंख्यकों, महिलाओं और वंचित समुदायों को नई व्यवस्था के अनुरूप बराबरी का अधिकार मिल पाएगा। साथ ही जम्मू-कश्मीर, भारत की बढ़ती अर्थव्यवस्था और समृद्धि का हिस्सा बन पाएगा।

कश्मीरी पंडितों का यह संगठन अरसे से अनुच्छेद 370 और अनुच्छेद 35ए के दुष्परिणामों को लेकर जागरुकता अभियान चला रहा था।

Join OpIndia's official WhatsApp channel

  सहयोग करें  

एनडीटीवी हो या 'द वायर', इन्हें कभी पैसों की कमी नहीं होती। देश-विदेश से क्रांति के नाम पर ख़ूब फ़ंडिग मिलती है इन्हें। इनसे लड़ने के लिए हमारे हाथ मज़बूत करें। जितना बन सके, सहयोग करें

ऑपइंडिया स्टाफ़
ऑपइंडिया स्टाफ़http://www.opindia.in
कार्यालय संवाददाता, ऑपइंडिया

संबंधित ख़बरें

ख़ास ख़बरें

जनता की समस्याएँ सुन रहे थे गिरिराज सिंह, AAP पार्षद शहज़ादुम्मा सैफी ने कर दिया हमला: दाढ़ी-टोपी का नाम ले बोले केंद्रीय मंत्री –...

शहजादुम्मा मूल रूप से बेगूसराय के लखमिनिया का रहने वाला है। वह आम आदमी पार्टी का कार्यकर्ता है जो वर्तमान में लखमिनिया से वार्ड पार्षद भी है।

चुनाव आयोग ने मानी बिश्नोई समाज की माँग, आगे बढ़ाई मतदान और काउंटिंग की तारीखें: जानिए क्यों राजस्थान में हर वर्ष जमा होते हैं...

बिश्नोई समाज के लोग हर वर्ष गुरु जम्भेश्वर को याद करते हुए आसोज अमावस्या मनाते है। राजस्थान के बीकानेर में वार्षिक उत्सव में भाग लेते हैं।

प्रचलित ख़बरें

- विज्ञापन -