फेसबुक पर हेट स्पीच को लेकर चल रहे विवाद में केंद्रीय मंत्री रविशंकर प्रसाद ने कॉन्ग्रेस के गाँधी परिवार पर आरोप लगाते हुए पूछा है कि क्या सोनिया गाँधी और राहुल गाँधी के भाषण हेट स्पीच के अंतर्गत नहीं आते? उन्होंने आरोप लगाया कि पिछले कई मौकों पर सोनिया और राहुल ने हेट स्पीच दिया है। उन्होंने कहा कि सोनिया गाँधी ने अपने भाषण में ‘आर-पार की लड़ाई’ की बात करते हुए हेट स्पीच को बढ़ावा दिया था।
साथ ही उन्होंने ये भी आरोप लगाया कि राहुल गाँधी ने कहा था कि जनता पीएम मोदी को डंडे से पीटेगी। ज्ञात हो कि फ़रवरी 2020 में एक चुनावी रैली में राहुल ने कहा था कि इस देश का युवा मोदी की 6 महीने बाद डंडों से पिटाई करेगा और उन्हें इस देश से बाहर फेंक देगा। वहीं पीएम मोदी ने बजट सेशन में इसका जवाब देते हुए कहा था कि वो सूर्य नमस्कार कर के अपनी पीठ मजबूत करेंगे।
रविशंकर प्रसाद ने इन बयानों की याद दिलाते हुए गाँधी परिवार से पूछा कि इसका अर्थ क्या है? उन्होंने आरोप लगाया कि दिल्ली विधानसभा चुनाव के दौरान कॉन्ग्रेस नेताओं ने जम कर हेट स्पीच दिए थे। उन्होंने कहा कि राहुल गाँधी की समस्या ये है कि वो सोचते हैं कि जो भी उनसे सहमति नहीं रखता है वो भाजपा-आरएसएस के दबाव में ऐसा कर रहा है। उन्होंने आरोप लगाया कि जिन लोगों का राजनीतिक दायरा गिर कर इतना नीचे आ पहुँचा है, वो लोग अब सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म्स पर प्रभाव रखने के लिए ये हंगामा कर रहे हैं।
अगर कोई प्लेटफार्म पब्लिक प्लेटफार्म है, तो हर विचार के लोगों को अपनी बात रखने का हक़ है। कुछ लोग समझते हैं, कि पब्लिक प्लेटफार्म पर उनकी मोनोपोली होनी चाहिए, भले ही उनका राजनितिक वजूद खत्म हो गया है। pic.twitter.com/mfMsR1Ebqm
— Ravi Shankar Prasad (@rsprasad) August 18, 2020
रविशंकर प्रसाद ने कहा कि कोई किसी भी विचारधारा का है, उसे इन प्लेटफॉर्म्स पर अपनी बात रखने की इजाजत है। उन्होंने कहा कि जिनका सियासी वजूद ही ख़त्म हो गया है, वो लोग फेसबुक पर एकाधिकार के लिए ये सब कर रहे हैं। इस दौरान उन्होंने कोरोना पर भी कॉन्ग्रेस के आरोप का जवाब देते हुए बताया कि पीएम केअर फण्ड से 3100 करोड़ रुपए ट्रांसफर हुए, जिनमें से 2000 करोड़ रुपए सिर्फ वेंटिलेटर के लिए खर्च किए गए, जबकि 50,000 वेंटिलेटर खरीदने के लिए 1000 करोड़ रुपए राज्यों को दिए गए।
उन्होंने राहुल गाँधी पर कोरोना के खिलाफ जंग को कमजोर करने का आरोप लगाते हुए कहा कि वो पहले दिन से ही ऐसा कर रहे हैं। साथ ही उन्होंने राजीव गाँधी फाउंडेशन में चीन से फंड आने पर भी सवाल किया। उन्होंने पूछा कि उसके स्पेशल स्टडी में ये कैसे कह दिया गया कि भारतीय बाजार चीनी माल के लिए खोल दिया जाए? उन्होंने पूछा कि इस चीज के रिकमेन्डेशन किसे दिया था?
अगर Hate Speech की बात करें, तो मैं दो उदाहरण देना चाहूंगा, पहला सोनिया गांधी ने कहा था अब आर-पार की लड़ाई होगी, दूसरा राहुल गांधी ने दिल्ली में पब्लिक मीटिंग में कहा था, कि देश के लोग प्रधानमंत्री को डंडे मारेंगे, यह हेट स्पीच है या नहीं? pic.twitter.com/qwLFF2vCnY
— Ravi Shankar Prasad (@rsprasad) August 18, 2020
बता दें कि वाल स्ट्रीट जर्नल द्वारा फेसबुक पर आरोप लगाया गया है कि वह भाजपा का समर्थन करता है और हेट स्पीच के मामले में उचित कार्रवाई करने से बचता है। अमेरिकी अखबार ‘वाल स्ट्रीट जर्नल’ की इस रिपोर्ट के बाद यह बहस बड़े स्तर पर विवाद का विषय बन चुकी है। इस पूरे विवाद के बीच ‘वाल स्ट्रीट जर्नल’ अपनी इस रिपोर्ट का पेड प्रोमोशन करते हुए देखा जा रहा है, जिससे यह सवाल पैदा हो रहे हैं कि वाल स्ट्रीट जर्नल के इस कारनामे से अंततः किसे फायदा पहुँचने वाला है।