Monday, May 19, 2025
Homeदेश-समाजशाहीन बाग में फिर इकट्ठा हुई 'जाहिलों' की भीड़, लोगों ने कहा- 'तंबू उखाड़ना...

शाहीन बाग में फिर इकट्ठा हुई ‘जाहिलों’ की भीड़, लोगों ने कहा- ‘तंबू उखाड़ना काफी नहीं, इन्हें बंबू भी चाहिए’

“देश हमेशा याद रखेगा, जब देश सबसे मुश्किल घड़ी से गुजर रहा था तब जाहिलों ने देश को धोखा दिया। यह सही में गद्दार है और धोखेबाज हैं।”

दिल्ली के शाहीन बाग इलाके से प्रदर्शन स्थल का तंबू उखड़ने के बाद वहाँ की एक तस्वीर सामने आई है। ये तस्वीर वहाँ के स्थानीय लोगों की है, जो कोरोना के फैलते प्रभाव को जानते-समझते हुए सड़क पर इकट्ठा हुए हैं।

जानकारी के मुताबिक, शाहीन बाग पर पुलिस की कार्रवाई के बाद ये भीड़ जुटी और देखते ही देखते इनकी तादाद बढ़ती गई। हालाँकि, चिंता की बात नहीं है क्योंकि स्थिति को समझते हुए वहाँ पहले ही भारी संख्या में पुलिस बल मौजूद है।

गौरतलब है कि एक ओर जहाँ सरकार विज्ञापनों, संदेशों, सोशल मीडिया के जरिए लोगों से अपने-अपने घरों में रहने की गुहार लगा रही है। वहीं ये तस्वीर इलाके में मौजूद लोगों की नासमझी, लापरवाही और समाज के प्रति गैर-जिम्मेदार रवैये को दर्शाती है।

सोशल मीडिया पर तो यूजर्स इस भीड़ को जाहिल, मानवता के दुश्मन और आतंकवादी तक कह रहे हैं। लोगों का कहना है, “देश हमेशा याद रखेगा, जब देश सबसे मुश्किल घड़ी से गुजर रहा था तब जाहिलों ने देश को धोखा दिया। यह सही में गद्दार है और धोखेबाज हैं।” 

वहीं, राष्ट्रीय सुरक्षा मामलों के जानकार दिव्य कुमार सोती ने भी इस पर प्रतिक्रिया दी है। उन्होंने कहा है कि इन लोगों के लिए तंबू उखाड़ना काफी नहीं है। इन्हें बंबू भी चाहिए।

एएनआई द्वारा दी इस जानकारी पर एक शमीला नामक यूजर ने भी प्रतिक्रिया दी है। महिला का कहना है कि एएनआई कोरोना वायरस को मुस्लिमों की छवि भयावह बना रही है। शमीला के अनुसार, ये कोरोना वायरस 2 और 3 महीनों में मर जाएगा। लेकिन लोगों की नफरत भरी प्रतिक्रिया कभी खत्म नहीं होगी।

बता दें कि शाहीन बाग में मुस्लिमों की भीड़ की इस हरकत को धिक्कारा जा रहा है। लोगों का कहना है कि बॉलीवुड के सेकुलर और पत्तलकारों को आकर इन्हें समझाने की आवश्यकता है।

Join OpIndia's official WhatsApp channel

  सहयोग करें  

'द वायर' जैसे राष्ट्रवादी विचारधारा के विरोधी वेबसाइट्स को कभी पैसों की कमी नहीं होती। देश-विदेश से क्रांति के नाम पर ख़ूब फ़ंडिग मिलती है इन्हें। इनसे लड़ने के लिए हमारे हाथ मज़बूत करें। जितना बन सके, सहयोग करें

ऑपइंडिया स्टाफ़
ऑपइंडिया स्टाफ़http://www.opindia.in
कार्यालय संवाददाता, ऑपइंडिया

संबंधित ख़बरें

ख़ास ख़बरें

अगर ज्योति मल्होत्रा मुसलमान होती… आज शोर मचाने वाले ‘इकोसिस्टम’ ही डाल रहा होता पर्दा, खेल रहा होता विक्टिम कार्ड

वामपंथी और इस्लामी कट्टरपंथी ज्योति के नाम की आड़ में प्रोपेगेंडा चला रहे हैं, दावा कर रहे हैं कि अगर ज्योति मुस्लिम होती तो नरेटिव अलग होता।

चीन से सटकर उछल रहा था बांग्लादेश, भारत ने दे दिया ₹6415 करोड़ का झटका: जानिए यूनुस सरकार की नीतियों से कारोबारी संबंधों को...

बांग्लादेश से आने वाले कई उत्पादों पर भारत ने पाबंदियाँ लगाई है। इससे बांग्लादेश को करीब 6415 करोड़ रुपए का आर्थिक नुकसान हो सकता है।
- विज्ञापन -