Thursday, June 19, 2025
Homeदेश-समाजमहाराष्ट्र में कोरोना शवों के साथ हो रहा मरीजों का इलाज, BJP विधायक ने...

महाराष्ट्र में कोरोना शवों के साथ हो रहा मरीजों का इलाज, BJP विधायक ने वीडियो ट्वीट कर शिवसेना के दावों की खोली पोल

"आज सुबह 7 बजे केईएम अस्पताल! मुझे लगता है बीएमसी चाहता है कि उपचार के दौरान हमें अपने आस-पास शवों को देखने की आदत हो जाए, क्योंकि वो इसमें सुधार नहीं करना चाहते हैं! स्वास्थ्य कर्मी भी बुरा महसूस करें जो ऐसी परिस्थितियों में काम कर रहे हैं। क्या कोई उम्मीद है?"

महाराष्ट्र में कोरोना संक्रमण तेजी से फैल रहा है। देश में महाराष्ट्र कोरोना संक्रमितों के लिहाज से सबसे आगे खड़ा है। यहाँ अन्य राज्यों की तुलना में सबसे ज्यादा मरीज है। ऐसे में राज्य में कोरोना के मरीजों के साथ लापरवाही की बातें सामने आ रही हैं। इसी बीच महाराष्ट्र के भाजपा विधायक ने एक और वीडियो ट्वीट किया है। जिसमें भी कोरोना मरीजों के साथ लापरवाही बरती गई है।

महाराष्ट्र भाजपा विधायक नीतेश राणे ने ट्वीट किया है कि मुंबई के केईएम अस्पताल में कोरोना मरीजों को कोरोना पॉजिटिव शवों के साथ लिटाया जा रहा है। जिस वार्ड में मरीजों का इलाज चल रहा है वहीं बगल में कोरोना पॉजिटिव शव भी रखे गए हैं। अस्पताल में मरीजों के पास बॉडी बैग्स रखे हुए दिखाई दे रहे हैं।

राणे ने ट्वीट में बीएमसी को टैग करते हुए लिखा है, “आज सुबह 7 बजे केईएम अस्पताल! मुझे लगता है बीएमसी चाहता है कि उपचार के दौरान हमें अपने आस-पास शवों को देखने की आदत हो जाए, क्योंकि वो इसमें सुधार नहीं करना चाहते हैं! स्वास्थ्य कर्मी भी बुरा महसूस करें जो ऐसी परिस्थितियों में काम कर रहे हैं। क्या कोई उम्मीद है?”

इस पूरी घटना पर अभी तक अस्पताल प्रशासन की तरफ से कोई जवाब नहीं आया है। हालाँकि, इस पर शिवसेना नेता अनिल देसाई ने सफाई दी है।

उन्होंने कहा कि मरीजों की काफी अच्छी तरह से देखभाल की जा रही है। अगर इस तरह का कोई भी वीडियो (केईएम अस्पताल) सोशल मीडिया पर वायरल होता है, तो यह उसी क्षण हुआ होगा लेकिन सुधारात्मक उपाय तुरंत किए गए होंगे। सभी अधिकारी कुशलता से काम कर रहे हैं। किसी को बदनाम करने की जरूरत नहीं है।

गौरतलब है कि ये पहली बार नहीं है, जब मुंबई में इस तरह की लापरवाही सामने आई है। इससे पहले भी मुंबई के सायन अस्पताल में कोरोना के मरीजों के मामले में एक बड़ी लापरवाही सामने आई थी। यहाँ के इमरजेंसी वॉर्ड में मरीजों के पास संक्रमण में मारे गए लोगों के शव भी रखे जा रहे थे।

मरीज और उनके परिजनों ने अस्पताल प्रबंधन से शिकायत भी की, लेकिन इस मामले ने तब तूल पकड़ा था, जब वीडियो वायरल हो गया। नीतेश राणे ने भी वीडियो ट्वीट करते हुए लिखा था, “सायन अस्पताल में शवों के बीच मरीज भी सो रहे हैं। यह शर्मनाक है।”

महाराष्ट्र के स्वास्थ्य मंत्री राजेश टोपे ने इस पर कहा था कि मृतकों के परिजन 30 मिनट के भीतर बॉडी ले जाते हैं। लेकिन, कई बार वे हिचकिचाते हैं। इसके बाद शव मॉर्चुरी में भेज दिया जाता है। सभी प्रोसीजर पूरे करने में वक्त लगता है। 

वायरल वीडियो में दिख रहा था कि अस्पताल के वॉर्ड में कई मरीज बेड पर लेटे हैं। मरीजों के बीच में काले प्लास्टिक के बैगों में कोरोना से जान गँवाने वाले लोगों के शव भी बेड पर रखे हैं। कुछ शवों को कपड़ों से तो कुछ को कंबल से ढका गया था। पिछले दिनों इसी अस्पताल से एक कोरोना पॉजिटिव ने भागने की कोशिश की थी।

Join OpIndia's official WhatsApp channel

  सहयोग करें  

'द वायर' जैसे राष्ट्रवादी विचारधारा के विरोधी वेबसाइट्स को कभी पैसों की कमी नहीं होती। देश-विदेश से क्रांति के नाम पर ख़ूब फ़ंडिग मिलती है इन्हें। इनसे लड़ने के लिए हमारे हाथ मज़बूत करें। जितना बन सके, सहयोग करें

ऑपइंडिया स्टाफ़
ऑपइंडिया स्टाफ़http://www.opindia.in
कार्यालय संवाददाता, ऑपइंडिया

संबंधित ख़बरें

ख़ास ख़बरें

हवाई जहाज, मिर्च और तलवों पर मोमबत्तियाँ: जिन छात्रों के आज हितैषी बनते हैं राहुल गाँधी, उन्हीं को इमरजेंसी में बर्बरता से दबा रही...

आपातकाल के दौरान इंदिरा गाँधी ने हजारों छात्रों को जेल में डाला, प्रताड़ित किया और कई की मौत हुई, अब राहुल गाँधी छात्रहित की बात करते हैं।

महिला नहीं, न्याय का सशक्तिकरण है जरूरी… जेंडर न्यूट्रल क़ानून है आज के समय की माँग: पुरुष बन चुका है सबसे कमजोर कड़ी

हाल ही में उत्तर प्रदेश में एक के बाद एक ऐसी घटना सामने आई हैं, जो न केवल विवाह संस्था को हिला रही हैं। पुरुषों की सुरक्षा और सामाजिक नैतिकता पर गंभीर सवाल उठा रही हैं।
- विज्ञापन -