Saturday, April 20, 2024
224 कुल लेख

अजीत झा

देसिल बयना सब जन मिट्ठा

ममता बनर्जी के पैर देखे तो इंदिरा गाँधी की नाक याद आ गई, बंगाल में दीदी की ‘नाक’ बचेगी क्या?

बंगाल की चुनावी पिच अभी कई टर्न लेगी। लेकिन ममता बनर्जी के पैरों को शायद एहसास हो चुका है कि हैट्रिक की डगर बेहद मुश्किल है!

सलमान खुर्शीद ने दिखाई जुनैद की तस्वीर, फूट-फूट कर रोईं सोनिया गाँधी; पालतू मीडिया गिरते-पड़ते पहुँची!

पूर्व केंद्रीय मंत्री सलमान खुर्शीद के एक तस्वीर लेकर 10 जनपथ पहुँचने की वजह से सारा बखेड़ा खड़ा हुआ है।

मंगोलपुरी से मंगलदोई तक हिंदुओ कहना ही होगा- 21 की दिशा ही नहीं, फिदायीन मोहम्मद आदिल डार भी था

उनका लक्ष्य स्पष्ट है। वे पूरे असम को मंगलदोई बनाना चाहते हैं। तय आपको करना है। बोलेंगे या शुतुरमुर्ग की तरह जमीन में सिर गड़ाए बैठे रहेंगे।

केरल के ‘कोरोना मॉडल’ पर इतनी बातें, ड्रग्स, पॉलिटिकल मर्डर और लव जिहाद पर कब बात करेंगे कॉमरेड राहुल

'हम दो हमारे दो' का ढोल पीटने वाले राहुल गॉंधी उस केरल की बात कब करेंगे जो ड्रग्स के दलदल में है। लव जिहाद से हलकान है। पॉलिटिकल किलिंग से लाल है।

जो राम मंदिर भारत की संस्कृति का प्रतीक है, उससे हिंदुओं को नीचा क्यों दिखा रही कॉन्ग्रेस?

अयोध्या में भूमि पूजन हो चुका है। निधि समर्पण अभियान चल रहा है। ऐसे में सहज जिज्ञासा हो सकती है कि इस सवाल का क्या तुक है? वजहें ठोस है और हर हिंदू के लिए जानना जरूरी है।

KHAM, यानी हिंदुओं को बाँटो-मुस्लिमों को पालोः माधव सिंह सोलंकी ने जो बोया, कॉन्ग्रेस को गुजरात में उसी ने चाटा

माधव सिंह सोलंकी का 9 जनवरी को निधन हो गया। इसके साथ ही उनके 'खाम' फॉर्मूले का यशोगान शुरू हो गया है। जानिए, क्या था KHAM और कैसे था हिंदू विरोधी?

दलित और सिख उनके लिए हथियार भी, शिकार भी

जय भीम-जय मीम और मजहब के नाम पर दलितों का नरसंहार साथ-साथ चलता है। हर दौर में सिखों के साथ भी मजहब के नाम पर वैसी ही क्रूरता की गई है।

चले गए चंदा बाबू, तीन बेटों का बलिदान देकर जंगलराज से लड़े

"कहते हैं कि अर्थी जितनी छोटी होती है उसका बोझ उतना ही बड़ा होता है। चंदा बाबू के एक नहीं तीन-तीन जवान बेटे बलिदान हुए थे उस युद्ध में।"

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